Dumri By-Poll: लाल आतंक के गढ़ में बंपर वोटिंग, बुलेट पर बैलेट पड़ रहा भारी, बूथों पर सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम
डुमरी विधानसभा क्षेत्र के कई पंचायत नक्सल प्रभावित और अतिनक्सल प्रभावित हैं, जंहा पहले लोग नक्सलियों के खौफ से वोट डालने के लिए अपने घरों से बाहर तक नहीं निकलते थे, लेकिन अब नक्सलियों के गढ़ में जबरदस्त वोटिंग हो रही है.
डुमरी (गिरिडीह), मृणाल सिन्हा. डुमरी में हो रहे विधानसभा उपचुनाव में मतदाताओं में खासा उत्साह देखने को मिल रहा है. सबसे अधिक महिला मतदाताओं में वोटिंग करने को लेकर उत्सुकता देखी जा रही है. सुबह 7 बजे से सभी बूथों पर कड़ी सुरक्षा के बीच वोटिंग शुरू हो गयी है. बता दें कि डुमरी विधानसभा क्षेत्र के कई पंचायत नक्सल प्रभावित और अतिनक्सल प्रभावित हैं, जंहा पहले लोग नक्सलियों के खौफ से वोट डालने के लिए अपने घरों से बाहर तक नहीं निकलते थे, लेकिन अब नक्सलियों के गढ़ में जबरदस्त वोटिंग हो रही है.
नक्सल प्रभावित छछंदो, दलानचलकरी, जोभी, मोहनपुर, बरियारपुर, बरमसिया, अटकी, फतेहपुर, मतियोबेरा, धावाटांड़, आतंकी, जरीडीह, भवानंद, चूतरूम बेड़ा, टेसाफुली, अमरा, निमियाघाट, नागाबाद, ससरखो, नुरंगो, चिनीकीरो आदि में जमकर वोटिंग हो रही है. नक्सली संगठन भाकपा माओवादी के सबसे सेफ जोन पारसनाथ की तराई के अलावा एक करोड़ के इनामी नक्सली गोपाल उर्फ अनल उर्फ पतिराम मांझी के गांव से सटे इलाके में भी जमकर पोलिंग हो रही है. वहीं, कुख्यात नक्सली अजय महतो के गांव से सटे डुमरी के इलाके में भी खूब मतदान हुआ.
झरहा से सटे गांव में निकले मतदाता
प्रभात खबर ने उन बूथों का जायजा लिया जो बूथ एक करोड़ के इनामी नक्सली अनल के गांव से सटा हुआ है. अनल के गांव झरहा से सटा हुआ डुमरी का अकबकीटांड, खुद्दीसार, मंझलाडीह गांव है. इन गांवों में सुबह से मतदाता घरों से निकले. यहां एक बात और बता दें कि चार वर्ष पूर्व यहीं के अकबकीटांड़ में पुलिस ने एक साथ 15 नक्सलियों को पकड़ा था.
सुरक्षा को लेकर पुलिस-प्रसाशन अलर्ट, चप्पे-चप्पे पर जवान तैनात
डुमरी के इलाके में शांतिपूर्ण मतदान हो इसके लिए जिला पुलिस व सीआरपीएफ के अधिकारी और जवान सुबह से तैनात हैं. सुरक्षा बल के जवान डुमरी के हर अतिसंवेदनशील बूथ का जायजा ले रहे है. जबकि एसपी दीपक कुमार शर्मा झरहा से सटे अकबकीटांड बूथ के अलावा कई बूथों पर पहुंचे. वंही अकबकीटांड, नागाबाद के इलाके में एएसपी अभियान गुलशन तिर्की भी लगातार कैम्प किये हुए है. एएसपी ने यहां मतदाताओं के अलावा पोलिंग पार्टी से बात की. दूसरी तरफ सदर एसडीपीओ अनिल कुमार सिंह, डीएसपी मुख्यालय संजय कुमार राणा, डुमरी एसडीपीओ सुमित प्रसाद, सरिया बगोदर एसडीपीओ नोशाद आलम, खोरीमहुआ एसडीपीओ मुकेश कुमार महतो के अलावा तमाम पुलिस पदाधिकारी सुबह से लगातार बूथों पर तैनात हैं.
बॉर्डर इलाके में भी डटे हैं जवान
इसके अलावा डुमरी के नुरंगों से सटे मुफ्फसिल थाना इलाके के बारागढ़ा इलाके ने मुफ्फसिल थाना प्रभारी कमलेश पासवान दलबल के साथ गस्त कर रहे हैं. चूंकि यह इलाका 15 लाख के इनामी नक्सली कृष्णा का इलाका है, फिलहाल कृष्णा हांसदा जेल में हैं, लेकिन इसके बावजूद पुलिस इस इलाके में खास तौर पर नजर रख रही है.
पहले वोट देने नहीं निकलते थे लोग
नक्सलियों के खौफ के कारण किसी जमाने में लोग वोटिंग के लिए सामने नहीं आते थे, लेकिन अब ऐसा माहौल नहीं है. इस इलाके में पिकेट खुल चुका है. बाजार भी पूरी तरह से दिनभर रौनक रहता है. जिस कारण इलाके में बड़ा बदलाव हुआ है.
सुरक्षा के हैं पुख्ता इंतजाम
मतदान कर्मियों को बूथों तक पहुंचाने और मतदान सम्पन्न कराने तक के लिए विशेष सुरक्षा व्यवस्था की गई है. गिरिडीह एसपी अमित रेणु खुद पूरे इलाके में सुबह से ही गस्त करते दिखे. इनके अलावे एएसपी अभियान गुलशन तिर्की, गिरिडीह एसडीपीओ अनिल कुमार सिंह, डुमरी एसडीपीओ मनोज कुमार, सरिया – बगोदर एएडीपीओ नोशाद आलम, डुमरी इंस्पेक्टर आदिकान्त महतो, जमुआ इंस्पेक्टर नवीन कुमार सिंह, बेंगाबाद इंस्पेक्टर कमलेश पासवान, पीरटांड़ थाना प्रभारी डिलशन बिरुवा, बगोदर थाना प्रभारी नितीश कुमार, ताराटांड़ थाना प्रभारी विकास पासवान, नितिन झा के अलावे तमाम पुलिस पदाधिकारी व जवान दिन भर इलाके के घूम-घूम कर स्थिति का जायजा लेते रहे. पुलिस-प्रशासन की मुस्तैदी देख काफी संख्या में लोग वोटिंग के लिए घरों से बाहर निकले और मतदान करने के लिए घरों से बाहर निकल रहे हैं.
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