करोड़ों की धोखाधड़ी मामले में ईडी ने सांसद नुसरत जहां से मांगे अतिरिक्त दस्तावेज
करोड़ों की धोखाधड़ी मामले में ईडी ने कंपनी के एक अन्य निदेशक राकेश सिंह को भी पूछताछ के लिए तलब किया था, लेकिन वह केंद्रीय जांच एजेंसी के समक्ष हाजिर नहीं हुए हैं. उन्होंने ईडी से कुछ मोहलत मांगी थी.
कोलकाता, अमित शर्मा : पश्चिम बंगाल के न्यूटाउन इलाके में फ्लैट दिलाने के नाम पर वरिष्ठ नागरिकों से करोड़ों रुपये की धोखाधड़ी के मामले की जांच कर रहे प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के अधिकारी गत 12 सितंबर को तृणमूल कांग्रेस सांसद व अभिनेत्री नुसरत जहां (Nusrat Jahan) पूछताछ कर चुके हैं. अब केंद्रीय जांच एजेंसी ने आरोपी निजी कंपनी सेवेन सेंस इंफ्रास्ट्रक्चर प्राइवेट लिमिटेड के साथ उनके जुड़ाव के संबंध में अतिरिक्त दस्तावेज मांगे हैं. रियल एस्टेट कारोबार से जुड़ी कंपनी सेवेन सेंस इंफ्रास्ट्रक्चर प्राइवेट लिमिटेड पर आरोप है कि उसने वर्ष 2014-15 के अंतराल में न्यूटाउन में वरिष्ठ नागरिकों को उचित दरों पर आवासीय फ्लैट देने का वादा कर करोड़ों रुपये की धोखाधड़ी की है.
नुसरत जहां से और दस्तावेज मांगे हैं ईडी ने
आरोप है कि कंपनी द्वारा 429 लोगों से लगभग 23,80,95,000 रुपये की राशि एकत्रित की गयी, लेकिन उन्हें आवासीय फ्लैट आबंटित नहीं की गयी.सूत्रों के मुताबिक, 12 सितंबर को मामले में पूछताछ के लिए तृणमूल सांसद जहां साल्टलेक के सीजीओ कॉम्प्लेक्स स्थित ईडी कार्यालय में गयीं थी. इस दौरान उनके पास वित्तीय संबंधित दस्तावेजों और कागजात वाली एक फाइल थी. हालांकि, उस दिन उन्होंने वे सभी दस्तावेज जमा नहीं किये, जो उनसे इस मामले में मांगे गये थे, इसलिए केंद्रीय जांच एजेंसी के अधिकारियों ने अब अभिनेत्री से नेता बनीं नुसरत जहां से और दस्तावेज मांगे हैं.
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सांसद नुसरत भी उक्त कंपनी की रह चुकी हैं निदेशक
सूत्रों के अनुसार, पूछताछ वाले रोज नुसरत जहां द्वारा पेश दस्तावेजों में कंपनी के साथ उनके जुड़ाव के साथ-साथ आय-व्यय विवरण पर स्पष्टता का अभाव है. खबर लिखे जाने तक इस मामले में सांसद की तरफ से कोई प्रतिक्रिया नहीं आयी थी. बताया जा रहा है कि सांसद नुसरत भी उक्त कंपनी की निदेशक रह चुकी हैं. सांसद पहले ही इस बात से इनकार कर चुकी हैं कि उनका उक्त कंपनी से कोई संबंध है, साथ ही उन्होंने वित्तीय अनियमितता के किसी भी मामले में शामिल होने की बात को भी इनकार दिया था. साथ ही कहा था वह आरोपी कंपनी की कोई पदाधिकारी नहीं हैं. हालांकि, सांसद ने यह जरूर कहा था कि उन्होंने उस कंपनी से घर खरीदने को लिए करीब 1.16 करोड़ रुपये का लोन लिया था, जिसे उन्होंने छह मई, 2017 को कंपनी को ब्याज समेत करीब 1.4 करोड़ रुपये चुका दिये थे.
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फिर पूछताछ के लिए तलब किये गये राकेश
करोड़ों की धोखाधड़ी मामले में ईडी ने कंपनी के एक अन्य निदेशक राकेश सिंह को भी पूछताछ के लिए तलब किया था, लेकिन वह केंद्रीय जांच एजेंसी के समक्ष हाजिर नहीं हुए हैं. उन्होंने ईडी से कुछ मोहलत मांगी थी बताया जा रहा है कि केंद्रीय जांच एजेंसी ने पूछताछ के लिए उन्हें फिर नोटिस भेजा है. अगले सप्ताह उन्हें साल्टलेक स्थित इडी कार्यालय में हाजिर होने को कहा गया है. इस मामले ईडी के अधिकारी एक और अभिनेत्री रूपलेखा मित्रा से भी पूछताछ कर चुके हैं.
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नुसरत जहां को अदालत में सशरीर पेश होने का निर्देश
फ्लैट के नाम पर धोखाधड़ी के मामले की सुनवाई के दौरान सोमवार को अलीपुर जजेस कोर्ट ने अगली सुनवाई में तृणमूल सांसद व टॉलीवुड अभिनेत्री नुसरत जहां को अदालत में सशरीर पेश होने का निर्देश- दिया. इस मामले की अगली सुनवाई चार दिसंबर को होगी. अदालत सूत्रों के मुताबिक, नुसरत जहां को कोर्ट में पेश होना था, लेकिन उन्होंने अपने वकील के जरिये अदालत में यह जानकारी दी कि कई सामाजिक दायित्वों एवं पारिवारिक कारणों से वह आने में असमर्थ हैं. इसके बाद न्यायाधीश ने सख्त रुख अपनाते हुए मामले की अगली सुनवाई में तृणमूल सांसद को कोर्ट में सशरीर पेश होने का निर्देश दिया.
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अलीपुर जजेस कोर्ट में चार दिसंबर को होगी मामले की अगली सुनवाई
बता दें कि सेवन सेंसेज इंफ्रास्ट्रक्चर प्राइवेट लिमिटेड नामक कंपनी के निदेशक के तौर पर नुसरत जहां समेत कुल आठ लोगों के नाम सामने आये थे. इनकी कंपनी पर फ्लैट देने के नाम पर कई लोगों से धोखाधड़ी करने का आरोप है. 500 लोगों से फ्लैट के नाम पर मोटी रकम ली गयी, लेकिन किसी को भी फ्लैट नहीं मिला. लोगों ने रुपये इस कंपनी के बैंक खाते में कथित तौर पर राज्य के स्वामित्व वाले एक बैंक के सेवानिवृत्त कर्मचारी संघ के जरिये जमा करायी गयी थी. फ्लैट नहीं मिलने पर पीड़ितों ने अलीपुर कोर्ट में मामला दायर किया. अदालत के निर्देश पर गरियाहाट थाने की पुलिस ने इस मामले की जांच कर अपनी रिपोर्ट सौंपी थी. अदालत सूत्रों के मुताबिक, इसके पहले भी इस मामले की सुनवाई के दौरान दो बार नुसरत जहां अदालत में पेश नहीं हुई थीं.