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Himachal Election: जानिए हिमाचल में पहली बार मतदान करने वाले युवाओं पर क्यों टिकी है सियासी दलों की नजरें

Himachal Election 2022: हिमाचल प्रदेश विधानसभा चुनाव 2022 में 1.91 लाख युवा वोटर्स पहली बार मतदान करेंगे और नई सरकार की तकदीर लिखने में अपनी अहम भूमिका निभाएंगे.

By Samir Kumar | November 12, 2022 6:46 AM

Himachal Election 2022: हिमाचल प्रदेश विधानसभा चुनाव 2022 के लिए 12 नवंबर को मतदान होना है. इस चुनाव में 1.91 लाख युवा वोटर्स पहली बार मतदान करेंगे और नई सरकार की तकदीर लिखने में अपनी अहम भूमिका निभाएंगे. पहली बार मतदान करने जा रहे ये युवा मतदाता राजनीतिक दलों के लिए बेहद अहम माने जा रहे है. इसी के मद्देनजर, इन पर बीजेपी और कांग्रेस समेत सभी प्रमुख सियासी दलों की नजरें जा टिकी है.

हिमाचल में भारी संख्या में जोड़े गए नए वोटर्स

सामने आ रही जानकारी के मुताबिक, हिमाचल प्रदेश में नामांकन दाखिल करने की अंतिम तिथि तक लगातार अपडेशन अवधि के दौरान भारी संख्या में नए वोटर्स जोड़े गए हैं. इनमें 18 से 19 वर्ष की आयु वाले युवा वोटर्स की संख्या 1.91 लाख है. हिमाचल प्रदेश के मुख्य निर्वाचन अधिकारी मनीष गर्ग ने बताया कि राज्य में विधानसभा चुनावों के लिए 25 अक्टूबर 2022 तक की गणना के अनुसार, राज्य में अब कुल 55,92,828 मतदाता अपने मताधिकार का प्रयोग करेंगे. इनमें 67,559 सेवा मतदाता, 22 प्रवासी भारतीय मतदाता, 38 थर्ड जेंडर मतदाता और 55,25,247 आम मतदाता है. उन्होंने बताया कि प्रदेश में इन चुनावों में महिला मतदाताओं के मुकाबले पुरूष मतदाताओं की संख्या अधिक है. जिनमें पुरूष मतदाताओं की संख्या 2854945 तथा महिला मतदाताओं की संख्या 2737845 हैं.

फर्स्ट टाइम वोटर्स को लुभाने में जुटी सियासी पार्टियां

इन सबके बीच, हिमाचल प्रदेश की सत्ता पर एक बार फिर से काबिज होने की कोशिश में जुटी बीजेपी ने पहली बार अपने मत का प्रयोग करने जा रहे युवा मतदाताओं को अपने पक्ष में करने के लिए विशेष योजना बनाई है. इसी के तहत, बीजेपी ने प्रदेश की सत्ता में दोबारा आने पर आठ लाख नौकरियां देने का वादा किया है. साथ ही बीजेपी ने युवाओं की मदद के लिए 900 करोड़ रुपये का स्टार्टअप फंड शुरू करने का भी वादा किया है. वहीं, कांग्रेस ने कहा है कि अगर पार्टी सत्ता में आती है, तो वह करीब एक लाख युवाओं को नौकरियां देगी.

अग्निवीर स्कीम बना चुनावी मुद्दा

हिमाचल चुनाव में इस बार युवाओं के लिए रोजगार का मुद्दा बेहद अहम माना जा रहा है. इसी कड़ी में चुनाव प्रचार के दौरान अग्निवीर स्कीम को लेकर भी सियासी दलों के बीच जुबानी जंग देखने को मिला. प्रियंका गांधी ने अग्निवीर योजना का हवाला देते हुए दावा किया कि बीजेपी सेना की भर्ती को भी ठेके पर दे रहे हैं. हिमाचल प्रदेश में पहले 4000 लोग भर्ती होते थे. लेकिन, इससे सिर्फ 400-500 लोग भर्ती हो सकेंगे और इनमें से 75 फीसदी लोग वापस जाएंगे. प्रियंका ने आरोप लगाया कि आज हिमाचल प्रदेश में हर जगह घोटाले ही घोटाले हैं. शिक्षक भर्ती में घोटाला हुआ और कई अन्य भर्तियों में घोटाला है. प्रियंका गांधी ने कहा कि कांग्रेस की सरकार में पांच साल में पांच लाख रोजगार देने का पूरा प्रयास किया जाएगा.

पिछले विधानसभा चुनाव के नतीजों का डर

2017 के विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने 68 में से 44 सीटें जीतकर सरकार बनाई थी. वहीं, कांग्रेस ने पिछले विधानसभा चुनावों में 21 सीटों पर कब्जा किया था. इसी के मद्देनजर, राज्य में विपक्षी पार्टियां कई आर्थिक मुद्दों को लेकर चुनावी वादे कर रही हैं. 2017 के विधानसभा चुनाव की बात करें तो बीजेपी और कांग्रेस दोनों पार्टियों के दिग्गजों को चुनाव में करारी हार झेलनी पड़ी थी. पिछले चुनाव में कांग्रेस के दिग्गज कैबिनेट मंत्रियों को हार झेलनी पड़ी थी. जिसमें कौल सिंह ठाकुर, जीएस बाली, सुधीर सिंह बाली, ठाकर सिंह बरमौरी शामिल हैं. वहीं, बीजेपी की ओर से प्रेम कुमार धूमल, जिनके चेहरे पर बीजेपी ने चुनाव लड़ा, अपनी सीट हार गए थे. इसके अलावा हिमाचल प्रदेश के बीजेपी अध्यक्ष सतपाल सत्ती भी अपनी सीट नहीं बचा पाए.

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