23.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

एमएमयूटी में नए सत्र से आइओटी में भी बीटेक, सेल्फ फाइनेंस मोड में होगा नया पाठ्यक्रम

इंटरनेट ऑफ थिंग्स के कोर्स को ऑल इंडिया काउंसिल फॉर टेक्निकल एजुकेशन ने स्वीकृति प्रदान कर दी है.

गोरखपुर. मदन मोहन मालवीय प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के विद्यार्थियों को आइओटी (इंटरनेट ऑफ थिंग्स) ट्रेड में बीटेक करने का अवसर मिलेगा. विश्वविद्यालय की ओर से इस पाठ्यक्रम को शुरू करने के आवेदन को एआईसीटीई (ऑल इंडिया काउंसिल फॉर टेक्निकल एजुकेशन) ने स्वीकृति प्रदान कर दी है. शैक्षिक सत्र 2023–24 विद्यार्थियों को इसकी पढ़ाई का अवसर मिल जाएगा. इसके साथ ही विश्वविद्यालय में बीटेक पाठ्यक्रमों की संख्या 7 हो जाएगी. बीटेक का यह पाठ्यक्रम विश्वविद्यालय सेल्फ फाइनेंस मोड में संचालित करेगा. 4 वर्ष की इस पाठ्यक्रम में 60 सीटों पर प्रवेश लेने का अनुमोदन एआईसीटीई ने दिया है.

सत्र 2023 –24 से इस पाठ्यक्रम को शुरू

मदन मोहन मालवीय प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के प्रभारी कुलपति प्रोफेसर जेपी पांडे ने बताया कि तकनीक के बढ़ते प्रभाव के युग में आइओटी की मांग बाजार से लेकर उद्योग जगत तक तेजी से बढ़ रही है. इससे लोगों की जीवन शैली आसान हुई है. ऐसे में विश्वविद्यालय ने इस रोजगारपरक पाठ्यक्रम को शुरू करने का निर्णय लिया है. एआईसीटीई की अनुमति मिलने से विश्वविद्यालय में इसके संचालन का रास्ता साफ होगा. विश्वविद्यालय में नए सत्र 2023 –24 से इस पाठ्यक्रम को शुरू करने जा रहे हैं.

जेईई मेन के जरिए मिलेगा प्रवेश

जेईई मेन के माध्यम से विश्वविद्यालय में प्रवेश की प्रक्रिया पूरी होगी .नए सत्र में प्रवेश के लिए जारी विज्ञापन में इस पाठ्यक्रम को भी शामिल किए जाने की तैयारी विश्वविद्यालय प्रशासन कर रहा है.यह पाठ्यक्रम उद्योग विशेषज्ञों की सलाह पर शुरू किया जा रहा है. विश्व विद्यालय में कंप्यूटर ,इलेक्ट्रॉनिक्स एंड कम्युनिकेशन,सिविल, इलेक्ट्रिकल, मैकेनिकल और केमिकल ट्रेड में बीटेक पाठ्यक्रम पहले से संचालित हो रहे हैं. आइओटी में बीटेक पाठ्यक्रम का संचालन स्वायत्त विभाग बनने तक इलेक्ट्रॉनिक्स एवं कम्यूनिकेशन विभाग से होगा.

कृषि निगरानी प्रणाली होगी विकसित

विश्वविद्यालय प्रशासन के मुताबिक इस पाठ्यक्रम को शुरू करने का आधार विश्वविद्यालय में संचालित आइओटी और ड्रोन पर आधारित कृषि निगरानी प्रणाली का प्रोजेक्ट है. इससे जुड़े विशेषज्ञों ने ही आइओटी पर अलग से बीटेक पाठ्यक्रम शुरू करने की सलाह दी थी.आइओटी वायरलेस नेटवर्क के माध्यम से डिजिटल उपकरणों, लोगों, मशीनों और अन्य वस्तुओं को एक दूसरे से जोड़ना है.आइओटी को इंटरनेट का भविष्य माना जाता है. आइओटी की मशीनों और लोगों को एक दूसरे से जोड़ने व संवाद करने की अनुमति देता है.

आइओटी शुरू करने वाला यूपी का पहला  सरकारी संस्थान 

यह अवधारणा और दूरसंचार से लेकर विनिर्माण तक लगभग हर क्षेत्र को प्रभावित करने और डिजिटल क्रांति को रफ्तार देने वाली है.बीटेक इन आइओटी पाठ्यक्रम शुरू करने वाला एमएमयूटी प्रदेश का पहला सरकारी संस्थान है. कुछ प्राइवेट तकनीकी संस्थान इस पाठ्यक्रम को संचालित कर रहे हैं. लेकिन किसी सरकारी संस्था में इस पाठ्यक्रम को अब तक शुरू नहीं किया है. चाहे वह तकनीकी विश्वविद्यालय हो या राजकीय इंजीनियरिंग कॉलेज.

रिपोर्ट-कुमार प्रदीप

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें