ज्ञानवापी विवाद: अब सोमवार को अगली सुनवाई करेगा वाराणसी जिला कोर्ट, दोनों पक्षों ने रखीं अपनी दलीलें

Gyanvapi Masjid Case : सर्वे के अनुसार हिन्दू पक्ष के लोगों का दावा है की मस्जिद परिसर के अंदर शिवलिंग मिला है. तो वहीं दूसरी ओर मुस्लिम पक्ष का दावा है की सरकार उनके खिलाफ षड्यन्त्र रचा जा रहा है.

By Prabhat Khabar News Desk | May 26, 2022 4:21 PM

Gyanvapi Masjid Case: ज्ञानवापी मामले और श्रृंगार गौरी मामले में जिला जज अजय कुमार विश्वेश की अदालत में सुनवाई पूरी हो चुकी है. कोर्ट ने सबको सुनने के बाद कहा कि ज्ञानवापी पर अगली सुनवाई सोमवार 30 मई को की जाएगी. मुस्लिम पक्ष सोमवार यानी 30 मई को दोपहर 2 बजे सबमिशन फिर से शुरू करेगा. बता दें कि आज पूजा स्थल अधिनियम 1991 के तहत बहस चल रही थी. मुस्लिम पार्टी द्वारा 1991 के इस अधिनियम के संबंध में सुप्रीम कोर्ट की पिछली मिसालों का हवाला दिया.


हिंदू पक्षकारों ने लगाया गंभीर आरोप

ज्ञानवापी मस्जिद सर्वेक्षण मामले में हिंदू पक्ष के वकील अधिवक्ता विष्णु जैन ने कहा कि मुस्लिम पक्ष ने आज अपनी दलीलें शुरू कीं, बहस आज पूरी नहीं हो सकी. इसलिए, सोमवार (30 मई) दोपहर 2 बजे तक बहस जारी रहेगी. ज्ञानवापी मस्जिद मामले की सुनवाई के दौरान हिंदू पक्षकारों की ओर से गंभीर आरोप लगाए गए. वजुखाना परिसर में मिले काले पत्थर को शिवलिंग बताते हुए हिंदू पक्षकारों की तरफ से वकील ने इसे क्षतिग्रस्त किए जाने का आरोप लगाया. वकील विष्णु जैन ने कोर्ट में कहा कि शिवलिंग के साथ छेड़छाड़ की गई है. उन्होंने कहा कि शिवलिंग को तोड़ने की साजिश की गई. हिंदू पक्षकारों की ओर से आरोप लगने के बाद मामला गरमा गया है.

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दरअसल, हिंदू पक्ष ने सिविल कोर्ट में एक याचिका दायर की थी. इसमें ज्ञानवापी मस्जिद हिंदुओं को सौंपने और पूजा की मांग की गई थी, इस मामले में 25 मई को सुनवाई हुई. किरण सिंह के पैरोकार याचिकाकर्ता जितेंद्र सिंह बिसेन ने कहा कि न्यायालय ने भी यह मान लिया है कि इस विवाद का निपटारा जल्द से जल्द होना चाहिए. 30 मई सुनवाई की डेट न्यायालय ने तय की है. जल्द ही शिवलिंग जलाभिषेक के लिए हमारे सामने रहेंगे. दरअसल, वाराणसी के मां शृंगार गौरी-ज्ञानवापी मामले की सुनवाई पूरी नहीं हो सकी की और भी याचिका दाखिल की गई. सिविल जज सीनियर डिवीजन की कोर्ट में दाखिल की गई याचिका में मांग की गई है कि, मस्जिद परिसर में मुस्लिमों के प्रवेश पर रोक लगे और उसे हिंदुओं के हवाले करने की मांग रखी गई है.

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