आज मशहूर अदाकारा नरगिस का जन्मदिन है. नरगिस का जन्म 1 जून 1929 को पश्चिम बंगाल के कलकत्ता शहर में हुआ था. नरगिस (Nargis) को 1950 के दशक में शुरू हुए भारतीय ‘सिनेमा के स्वर्णयुग’ से जोड़कर देखा जाता है. हिंदी सिनेमा की ‘प्रथम महिला’ कही जानेवाली और बेजोड़ अभिनेत्री के रूप में याद की जाने वाली नरगिस की जगह भरने की कई अभिनेत्रियों ने कोशिश तो की, लेकिन कामयाब नहीं हो पाई. नरगिस का असली नाम कनीज फातिमा राशिद था. घर में मां जद्दन बाई के अभिनेत्री और फिल्म निर्माता होने के कारण फिल्मी माहौल तो था ही, लेकिन इसके बावजूद बचपन में नरगिस की अभिनय में कोई पसंद नहीं थी.
इन फिल्मों में नजर आईं नर्गिस
14 साल की उम्र में वह पहली बार हीरोइन की भूमिका में नजर आईं-महबूब खान की फिल्म ‘तकदीर’ में, जिसमें नायक की भूमिका मोतीलाल ने निभाई थी.उनके करियर को 1948 में एक नई ऊंचाई मिली, जब एक साथ उनकी तीन फिल्में ‘अनोखा प्यार’, ‘मेला’ और ‘अंजुमन’ रिलीज हुईं.
राजकपूर के साथ सुपरहिट रही जोड़ी
नरगिस ने राजकपूर के साथ ‘बरसात, अंदाज, जान-पहचान, प्यार, आवारा अनहोनी, आशियाना, आह, धुन, पापी, श्री 420, जागते रहो, चोरी चोरी’ जैसी कई फिल्में कीं. इस दौरान वो राज कपूर को प्यार करने लगी थीं. लेकिन यह प्रेम कहानी सफल नहीं हो गई. राज कपूर से अलग होने के ठीक एक साल बाद नरगिस ने 1957 में महबूब खान की ‘मदर इंडिया’ की शूटिंग शुरू कर दी थी. मदर इंडिया की शूटिंग के दौरान सेट पर आग लग गई थी. सुनील दत्त ने अपनी जान पर खेलकर नरगिस को बचाया और दोनों को एक दूसरे से प्यार हो गया था.
जब नरगिस ने हाथ काटकर जान देने की कोशिश की
अपनी शादी से पहले नरगिस ने अपने भाई की गृहस्थी बसाने में खूब मदद की पर भाई ने नरगिस की ओर ध्यान नहीं दिया. नरगिस अपनी पीड़ा को सुनील दत्त से व्यक्त करती थीं पर सुनील की ओर से जवाब नहीं मिलने की स्थिति में उन्होंने कई बार आत्महत्या करने का भी प्रयास किया. यहां तक कि नरगिस ने अपने हाथ से अपनी उंगली को ब्लेड से काटने का प्रयास भी किया.
Posted By: Shaurya Punj