टोक्यो ओलंपिक 2020 (Tokyo Olympics) में भारत का सफर गोल्ड (Neeraj Chopra) के साथ समाप्त हो चुका है. टोक्यो में भारत ने नया इतिहास भी रच डाला. ओलंपिक में भारत ने पहली बार 7 पदक अपने नाम किया, जो की अपने आप में रिकॉर्ड है. इससे पहले भारत ने 2012 लंदन ओलंपिक में 6 मेडल जीता था. 7 मेडल के साथ टोक्यो ओलंपिक में भारत मेडल तालिका में 47वें स्थान पर रहा.
टोक्यो ओलंपिक में भारत का सफर सिल्वर मेडल के साथ शुरू हुआ था. बेटलिफ्टिंग में मीराबाई चानू ने भारत को पहला मेडल सिल्वर के रूप में दिलाया. उन्होंने 49 किलो भार वर्ग में कुल 202 किलो भार उठाकर इतिहास रच डाला. उसके बाद बॉक्सिंग में लवलीना बोरगोहेन ने कांस्य पदक जीता.
बैडमिंटन में पीवी सिंधु ने ब्रॉन्ज मेडल जीता. उन्होंने महिला सिंगल्स में चीन की स्टार शटलर ही बिंग जियाओ को 2-0 से हराया और कांस्य पर कब्जा किया. इससे पहले उन्होंने रियो ओलंपिक में सिल्वर पदक जीता था.
रेसलिंग में रवि दहिया ने भारत को सिल्वर मेडल जीता. हालांकि रवि से गोल्ड की उम्मीद की जा रही थी. फाइनल में उन्हें आरओसी के पहलवान ने 7-4 से हराया.
इसके बाद पुरुष हॉकी में भारत ने इतिहास रच डाला और भारत को 41 साल बाद कांस्य पदक दिलाया. आखिरी बार हॉकी में भारत ने 1980 में गोल्ड मेडल जीता था.
टोक्यो ओलंपिक के 15वें दिन रेसलर बजरंग पूनिया ने भारत को 6ठा पदक दिलाया. उन्होंने कजाखस्तान के पहलवान को 8-0 से हराकर ब्रॉन्ज मेडल अपने नाम किया.
नीरज ने एथलिट में भारत को 125 साल में पहली बार मेडल दिलाया. नीरज ने अपने दूसरे प्रयास में 87.58 मीटर भाला फेंककर गोल्ड जीता. इसके साथ ही नीरज अभिनव बिंद्रा के बाद ओलंपिक में व्यक्तिगत स्पर्धा में गोल्ड जीतने वाले दूसरे भारतीय खिलाड़ी बन गये.