13.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

हजारीबाग : बदलाव संकल्प महासभा में जयराम महतो ने भरी हुंकार, कहा- जब-जब छात्र बोला है राज्य का सिंहासन डोला है

हजारीबाग में झारखंडी भाषा खतियान संघर्ष समिति के बदलाव संकल्प महासभा में जयराम महतो एक बार फिर गरजे. कहा कि राज्य में वैंकेंसी ही नहीं है. छात्रों का सपना चकनाचूर हो जा रहा है. कहा कि जब-जब छात्र बोला है, तो राज्य का सिंहासन डोला है.

  • हजारीबाग के मटवारी गांधी मैदान में झारखंडी भाषा खतियान संघर्ष समिति का बदलाव संकल्प महासभा.

  • जयराम महतो ने भरी हुंकार.

  • हल्की बारिश के बावजूद जमी रही भीड़.

  • रांची भले ही राजनीति की राजधानी हो, लेकिन हजारीबाग पढ़नेवाले छात्रों की राजधानी है.

Jharkhand News: झारखंडी भाषा खतियान संघर्ष समिति का बदलाव संकल्प महासभा रविवार को हजारीबाग जिले के मटवारी गांधी मैदान में आयोजित हुआ. युवाओं समेत जनसैलाब जनसभा में उमड़ी. झारखंडी मुद्दों पर इन जनसभा में स्थानीय नियोजन नीति, झारखंड के 81 विधानसभा और 14 लोकसभा सीटों पर स्थानीय झारखंडी को सांसद और विधायक बनाने की हुंकार भरी गयी. जनसभा दोपहर 12 बजे से शाम छह बजे तक चला. हल्की बारिश के बावजूद भी भीड़ जमी रही. जिले भर से विभिन्न वाहनों से लोग जनसभा में भाग लेने के लिए पहुंचे थे. गांधी मैदान में जनसभा को लेकर दिन भर नारेबाजे व लोगों की आवाजाही बनी हुई थी. संचालन विपिन कुमार और आर रतन ने किया.

Undefined
हजारीबाग : बदलाव संकल्प महासभा में जयराम महतो ने भरी हुंकार, कहा- जब-जब छात्र बोला है राज्य का सिंहासन डोला है 2

उमड़ी जनसभा में जयराम महतो ने भरी हुंकार

उमड़ी जनसभा को संबोधित करते हुए झारखंडी भाषा खतियान संघर्ष समिति के अध्यक्ष टाइगर जयराम महतो ने कहा कि छात्रों को 15 साल तक कड़ी मेहनत करने के बाद पता चलता है कि उनके लिए राज्य में वैंकेंसी ही नहीं है. छात्रों का सपना चकनाचूर हो जा रहा है. रांची भले ही राजनीति की राजधानी हो, लेकिन हजारीबाग पढ़नेवाले छात्रों की राजधानी है. इस जिले में दूर-दूर से छात्र सपना लेकर आते हैं. राजधानी में एक प्रेम कहानी टूटने पर नेशनल न्यूज बन जाती है. हजारीबाग में प्रत्येक दिन हजारों छात्रों की प्रेम कहानी नौकरी के कारण टूट रहे हैं.

जयराम महतो ने कहा कि हमारी लड़ाई बाहरी-भीतरी की नहीं है. हमारी लड़ाई शोषण के खिलाफ, अधिकार, रोटी और माटी की है.

बदलाव की शुरुआत हजारीबाग से होगी

उन्होंने कहा कि झारखंड बनने के बाद सबसे ज्यादा आघात छात्रों को हुआ है. कहा कि छात्र जब-जब बोला है राज्य का सिंहासन डोला है. अब समय सिंहासन डोलने का आ गया है. बदलाव की शुरूआत हजार बागों के शहर हजारीबाग से शुरू होगी. कहा कि हमारी लड़ाई बाहरी-भीतरी की नहीं है. हमारी लड़ाई शोषण के खिलाफ, अधिकार, रोटी और माटी की है.

Also Read: झारखंड : झामुमो के वार पर बीजेपी का पलटवार, प्रतुल शाहदेव बोले- बाबूलाल फोबिया से ग्रसित है जेएमएम

बंटवारे के दौरान झारखंड को 79,000 वर्ग किमी भूमि मिला

जयराम महतो ने कहा कि बिहार के लोग संवैधानिक रूप से हमारे बड़े भाई हैं. बंटवारा में हमलोगों को 79,000 वर्गकिमी भूमि मिला है. हमारा चूल्हा अलग हो गया है. इस चूल्हे से पकने वाले रोटी से हिस्सा नहीं मांगे. हमारे राज्य के लोग दूसरे राज्य में काम करते हैं, लेकिन वहां मुखिया तक नहीं बन पा रहे हैं, पर झारखंड में स्थिति बदली हुई है.

भाषा के आधार पर कई राज्य बने

उन्होंने कहा कि भाषा के आधार पर 1953 से कई राज्य बने हैं. जिसमें तामिलनाडु, आंध्रप्रदेश, महाराष्ट्र, गुजरात, पंजाब, हरियाणा राज्य शामिल हैं. झारखंड के 14 साल बाद बने तेलांगना देश के जीडीपी में द्वितीय स्थान पर है जबकि झारखंड निचले पायदान पर है. जहां पर बेरोजगारी, कुपोषण, भुखमरी, गरीबी शामिल है. इस राज्य में 40 प्रतिशत खनिज संपदा है.

झारखंड के 14 साल बाद बने तेलांगना देश के जीडीपी में द्वितीय स्थान पर है जबकि झारखंड निचले पायदान पर है.

झारखंड बनने के बाद मजदूरों की संख्या बढ़ी है

जयराम महतो ने कहा कि झारखंड राज्य के लिए झारखंडियों ने बलिदान, त्याग किया. झारखंड बनने के बाद हर जगह पर बाहरियों का कब्जा हो गया है. राज्य अलग होने के बाद मजदूरों की संख्या बढ़ी है. झारखंड के 12 लाख मजदूर दूसरे राज्यों में काम करते हैं. इसमें विष्णुगढ़ और बगोदर के मजदूरों की संख्या सबसे ज्यादा है. झारखंड के साथ बेइमानी हो रहा है. आज तक झारखंड में कोई विस्थापन नीति नहीं बन पायी है.

Also Read: मिशन 2024 को लेकर रेस हुई कांग्रेस, ‘भारत जोड़ो की बात, आम जनों के साथ’ अभियान जन-जन तक पहुंचने की कोशिश

गोड्डा की बिजली बंगलादेश में बेची जा रही है

उन्होंने कहा कि झारखंड के गोड्डा की बिजली बंगलादेश में बेची जा रही है. यहां के लोग प्रदूषण से प्रभावित हो रहे हैं. जादुगोड़ा खान से निकलनेवाले यूरेनियम के रेडियएशन से 47 प्रतिशत महिलाएं मां बनने की क्षमता खा दिया है. इस क्षेत्र में हुए बदलाव के आवाज को उठाने के लिए कोई भी जनप्रतिनिधि तैयार नहीं है.

बदलाव महासभा को इनलोगों ने संबोधित किया

इस महासभा को मो इब्राहीम, सानिया परवीन, आजाद शेखर, मनोज यादव, संजय कुमार मेहता, डॉ सुरेंद्र कुशवाहा, अरूण मंडल, प्रियंका कुमारी, राकेश,जयनारायण मेहता, सावित्री कर्मकार, प्रेमनायक, विकास, कृष्णा यादव, संजय महतो, उदय मेहता, विनोद महतो, अमन भाई पटेल, जीतेंद्र कुमार सहित कई लोगों ने संबोधित किया.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें