Jharkhand News: झारखंड के नेताओं को भा रहा है शिक्षा का कारोबार, जानें कौन कर रहा है कितना निवेश
झारखंड के नेताओं को शिक्षा का व्यापार ज्यादा भाने लगा है, यह न सिर्फ उन्हें अच्छी आमदनी देती है बल्कि सामाजिक प्रतिष्ठा भी दिलाती है. इस सूची में कई ऐसे नाम है. इसमें सांसद चंद्रप्रकाश चौधरी, धनबाद जिले से टुंडी विधायक मथुरा महतो समेत कई लोग शामिल हैं
Jharkhand News: प्राचीन भारत की शिक्षा पद्धति साहित्य, धर्म और दर्शन पर आधारित थी, लेकिन वर्तमान की बाजार अर्थव्यवस्था ने व्यक्ति, घटना, मूल्य, संस्कार यहां तक कि संवेदना को भी उत्पाद में बदल दिया है. ऐसे में शिक्षा पाने और देने-दिलाने का उपक्रम यदि पूंजी केंद्रित हो गया, तो इसमें आश्चर्य की बात नहीं है. आज के समय में शिक्षा एक कारोबार हो गया है. कारोबार का अर्थ निवेश और मुनाफा के इर्द-गिर्द घूमता है.
ऐसा नहीं है कि कारोबार सिर्फ कारोबारी ही करते हैं, इसमें अब नेता और जनप्रतिनिधि तक उतर आये हैं. धनबाद, बोकारो व गिरिडीह में कई ऐसे नेता हैं, जिन्होंने शिक्षा के क्षेत्र में बड़ा निवेश कर रखा है. यह निवेश उन्हें आमदनी के बेहतर स्रोत के साथ सामाजिक प्रतिष्ठा भी दिला रहा है.
धनबाद, गिरिडीह व बोकारो के जिन नेताओं ने शिक्षण संस्थान स्थापित किये हैं, उनमें गिरिडीह सांसद चंद्रप्रकाश चौधरी, धनबाद जिले से टुंडी विधायक मथुरा महतो, सिंदरी के पूर्व विधायक फूलचंद मंडल, बाघमारा से पूर्व विधायक जलेश्वर महतो, सिंदरी विधायक इंद्रजीत महतो, बोकारो के पूर्व विधायक समरेश सिंह, धनबाद प्रखंड के पूर्व ब्लॉक प्रमुख मनी महतो का नाम सबसे ऊपर है. बाघमारा विधायक ढुलू महतो भी पीछे नहीं हैं. महुदा मोड़ पर इनका पूना महतो स्मारक उवि एवं प्लस टू महिला कॉलेज चलता है.
शिक्षण संस्थानों का प्रबंधन मथुरा के परिवार के हाथों में
शुरुआत धनबाद जिले से. शिक्षा के क्षेत्र में धनबाद के जिन नेताओं ने सबसे अधिक निवेश किया है, उनमें टुंडी विधायक मथुरा महतो नाम सबसे प्रमुख है. उन्होंने अपने विधानसभा क्षेत्र में तकीनीकी शिक्षा और बीएड और डीएलएड के साथ लड़कियों को इंटर तक की शिक्षा देने के लिए शिक्षण संस्थानों की स्थापना की है. धनबाद, बोकारो व गिरिडीह जिले के सुदूर ग्रामीण इलाकों में 17 शिक्षण संस्थानों का प्रबंधन उनके परिवार के हाथों में है.
सभी शिक्षण संस्थान दो ट्रस्ट के माध्यम से चलाये जाते हैं. इनके नाम हैं पेमिया ऋषिकेश पब्लिक एजुकेशनल ट्रस्ट और शक्ति ग्राम विकास संघ. पेमिया ऋषिकेश इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी मथुरा महतो ने माता-पिता को समर्पित किया है. पेमिया देवी उनकी माताजी का नाम है. ऋषिकेश महतो उनके पिताजी का नाम है. इसकी स्थापना 2017 में हुई थी. तोपचांची बाजार के पास एनएच-दो पर साहुबहियार में 10 एकड़ का परिसर है.
यहां अभी अब तक सिविल, इलेक्ट्रिकल, मैकेनिकल और माइनिंग में डिप्लोमा इंजीनियरिंग की पढ़ाई होती है. इस संस्थान के परिसर में प्रशासनिक ब्लॉक, कैंटीन, पुस्तकालय, एकेडमिक भवन और स्टाफ क्वार्टर हैं. इस संस्थान का अपना वर्कशॉप और प्रयोगशाला है. संस्थान में पुस्तकालय की सुविधा उपलब्ध है. पूरा परिसर हाई स्पीड वाइफाइ सुविधा से लैस है. यहां तीन वर्षीय कोर्स फीस 1.30 लाख रुपये है. करीब 500 छात्र अध्ययनरत हैं.
इसी तरह बिनोद बिहारी महतो स्मारक टीचर्स ट्रेनिंग कॉलेज की स्थापना मथुरा महतो ने झारखंड आंदोलन के अग्रणी नेता बिनोद बिहारी महतो के नाम पर की है. यहां बीएड और डीएलएड की पढ़ाई होती है. एनएच दो पर साहुबहियार में इसका विशाल परिसर है. इस परिसर में सभी आधुनिक सुविधाएं उपलब्ध है. इस में बीएड और डीएलएड की सौ-सौ सीटें हैं. अभी यहां बीएड के करीब 180 से अधिक छात्र अध्ययनरत हैं. डीएलएड के 150 के करीब विद्यार्थी अध्यनरत हैं. बीएड कोर्स की फीस 1.50 लाख रुपये है, जबकि डीएलएड कोर्स की फीस 80 हजार रुपये है. कॉलेज परिसर में दो एकड़ जमीन है.
पूर्व एमएलए फूलचंद मंडल ने भी खोल रखा है स्कूल
सिंबॉयसिस पब्लिक स्कूल की स्थापना सिंदरी से तीन बार विधायक रहे फूलचंद मंडल ने वर्ष 2010 में की थी. स्कूल को सीबीएसइ से संबद्धता मिली हुई है. इस स्कूल में किंडर गार्डेन से लेकर 12वीं में साइंस और कॉमर्स की पढ़ाई होती है. स्कूल में दो हजार के करीब छात्र व छात्राएं अध्ययनरत हैं. स्कूल की औसत ट्यूशन फीस 1200 रुपये मासिक है. इस स्कूल का प्रबंधन पूरी तरह से फूलचंद मंडल के परिवार के हाथों में है.
समिति के अध्यक्ष खुद फूल चंद मंडल ही हैं. सचिव उनके बड़े बेटे धरनीधर मंडल हैं, जबकि कोषाध्यक्ष उनके छोटे बेटे आशिष मंडल हैं. लगभग दो एकड़ जमीन पर स्कूल है. फूलचंद मंडल खुद इंटर तक पढ़े हैं. फूलचंद मंडल कहते हैं कि जब विधायक थे, तो उनके क्षेत्र के लोग शहर के बड़े पब्लिक स्कूलों में अपने बच्चों के नामांकन के लिए पैरवी करने के लिए कहते थे. कई बार लोग उनके इन स्कूलों में फीस माफ कराने के लिए भी पैरवी करने के लिए कहते थे. तब लगा कि मेरे क्षेत्र में सीबीएसइ बोर्ड से संबद्ध एक ऐसा स्कूल होना चाहिए, जो लोगों में न्यूनतम फीस में बेहतर शिक्षा मुहैया करा सके.
सिंदरी विधायक का चलता है बीएड कॉलेज
सिंदरी विधायक इंद्रजीत महतो ने भी बलियापुर में पर्जन्य बीएड कॉलेज की स्थापना की है. इस कॉलेज के पास दो एकड़ जमीन है. इसकी फीस 1.50 लाख रुपये है. यहां एक बैच में 100 सीटें हैं. अभी यहां दो बैच में करीब 190 विद्यार्थी पढ़ रहे हैं.
अब बातें गिरिडीह सांसद चंद्रप्रकाश चौधरी की
गिरिडीह सांसद चंद्रप्रकाश चौधरी ने रामगढ़ में अपने और अपने पिता ने नाम पर शिक्षण संस्थान खोल रखा है. गोला प्रखंड के कामता में चंद्रप्रकाश चौधरी ने अपने नाम से इंटर कॉलेज खोल रखा है. इसमें कुल 2011 छात्र-छात्राएं अध्ययनरत हैं. 11वीं में 1121 विद्यार्थी हैं. इसमें से विज्ञान संकाय में 90, वाणिज्य संकाय में 18 और कला संकाय में 1013 विद्यार्थी हैं.
इसी तरह बारहवीं में 890 छात्र-छात्राएं अध्ययनरत हैं, जिसमें विज्ञान संकाय में 98, वाणिज्य संकाय में 25 और कला संकाय में 767 विद्यार्थी है. सांसद ने दुलमी प्रखंड क्षेत्र के सीरू में रिझुनाथ चौधरी मेमोरियल इंटर कॉलेज खोल रखा है. इसमें कुल 750 छात्र-छात्राएं अध्ययनरत हैं. बोकारो जिला के महुआटांड़ में सांसद ने अपने पिता के नाम पर रिझुनाथ चौधरी इंटर महाविद्यालय खोला है. इसमें करीब 160 विद्यार्थी अध्ययनरत हैं.
जलेश्वर महतो के बीएड कॉलेज भी
बाघमारा के पूर्व विधायक जलेश्वर महतो ने अपने पिता रवि महतो के नाम पर शिक्षण संस्थानों की स्थापना की है. पिता के नाम पर उन्होंने महुदा में उच्च विद्यालय, इंटर कॉलेज और बीएड और डीएलएड कॉलेज खोला है. इन संस्थानों का संचालन उनके परिवार के सदस्यों के हाथों में है. झारखंड एकेडमिक काउंसिल से संबद्ध रवि महतो स्मारक उच्च विद्यालय जिले के सबसे बेहतरीन उच्च विद्यालयों में गिना जाता है. इस विद्यालय के छात्र 10वीं बोर्ड की परीक्षा में टॉप 10 छात्रों में शामिल हैं.
स्कूल में करीब दो हजार विद्यार्थी पढ़ते हैं. स्कूल का शुल्क काफी कम है. इसी तरह झारखंड एकेडमिक काउंसिल से संबद्ध रवि महतो स्मारक इंटर कॉलेज विद्यालय जिले सबसे बेहतरीन इंटर कॉलेजों में गिना जाता है. इस विद्यालय के छात्र इंटर की परीक्षा में स्टेट टॉपर रह चुके हैं. हर वर्ष इंटर की परीक्षा में जिला के टॉप 10 छात्रों में शामिल हैं. स्कूल में करीब दो हजार विद्यार्थी पढ़ते हैं. स्कूल का शुल्क काफी कम है. इसी तरह रवि महतो स्मारक टीचर्स ट्रेनिंग कॉलेज में बीएड की पढ़ाई होती है. यहां बीएड की 100 सीटें हैं.
अभी कॉलेज में 200 छात्र व छात्राएं अध्ययनरत हैं. यह कॉलेज करीब दो एकड़ क्षेत्र में फैला हुआ है. कॉलेज में कोर्स फीस 1.50 लाख रुपये है. जलेश्वर महतो जो खुद आरएसपी कॉलेज से ग्रेजुएट हैं, बताते हैं कि उन्होंने जिस मकसद से शिक्षण संस्थानों की नींव डाली थी, वह कामयाब होता दिख रहा है. कभी भी लाभ के लिए इन शिक्षण संस्थानों को नहीं शुरू किया था. आज इस क्षेत्र के गरीब परिवारों के बच्चे यहां बेहतर शिक्षा पा रहे हैं. बीएड कॉलेज सिर्फ इसलिए खोला है कि इस क्षेत्र के युवाओं को बीएड करने के लिए बाहर नहीं जाना पड़े.
रिपोर्ट : अशोक कुमार, धनबाद.