Loading election data...

Jharkhand news: बालिका वधू बनने से बची कोडरमा की नाबालिग, बोली- शादी नहीं अभी पढ़ना चाहती हूं

कोडरमा के डोमचांच क्षेत्र की एक नाबालिग छात्रा बालिका वधू बनने से बच गयी. उसने बीडीओ को पत्र लिखकर अभी शादी नहीं करने की बात कही. पत्र में उसने अभी शादी नहीं पढ़ने की बात कही. नाबालिग की शिकायत पर पुलिस प्रशासन मौके पर पहुुंचकर लड़की को बालिग होने पर शादी करने के लिए परिजनों को मनाया.

By Prabhat Khabar Digital Desk | April 29, 2022 7:46 PM
an image

Jharkhand news: कोडरमा जिला अंतर्गत डोमचांच प्रखंड के काराखुंट पंचायत की 17 वर्षीय नाबालिग ने साहस और समझदारी का परिचय देते हुए खुद को बालिका वधू बनने से बचा लिया. यही नहीं उसने दुल्हन बनाकर ससुराल भेजने के अपने परिजनों के मंसूबे को सूझबूझ से नाकाम कर दिया.

नाबालिग ने शादी रुकाने के लिए बीडीओ को लिखा पत्र

बताया जाता है कि कारखुट निवासी नाबालिग की शादी उसके माता-पिता ने तय कर दी थी. आगामी 12 मई को उसकी शादी तय की गई थी. इसको लेकर तैयारियां चल रही थी. इस बीच शुक्रवार को नाबालिग ने प्रखंड विकास पदाधिकारी उदय कुमार सिन्हा को एक लिखित आवेदन दिया. इसमें उसने कहा कि मैं बाल मित्र ग्राम काराखुंट की बाल पंचायत की उप मुखिया हूं. मेरी शादी 12 मई को तय कर दी गई है, जबकि मैं शादी नहीं करना चाहती हूं. मैं अभी आगे पढ़ना चाहती हूं. पर, मेरी शादी जबरदस्ती करायी जा रही है. उसने आवेदन में शादी को रुकवाने की मांग की.

नाबालिग की सूझबूझ की हो रही सराहना

बाल विवाह के संबंध में शिकायत मिलने पर तुरंत बीडीओ ने तत्परता दिखाई और डोमचांच पुलिस की मदद से नाबालिग की शादी की तैयारी को रुकवा दिया. बकायदा परिजनों से थाना में बॉन्ड भी भरवाया कि वे बालिग होने पर ही अपनी बेटी की शादी करेंगे. पूरा मामला क्षेत्र में चर्चा का विषय बना हुआ है. सभी नाबालिग की सूझबूझ की सराहना कर रहे हैं.

Also Read: Jharkhand news: गुमला के चैनपुर में बाजार से घर लौट रही नाबालिग से सामूहिक दुष्कर्म, 3 आरोपी गिरफ्तार

महथाडीह में भी रुकवाया बाल विवाह

इधर, प्रखंड के महथाडीह में भी शुक्रवार को एक 15 वर्षीय नाबालिग की शादी को चाइल्ड लाइन और पुलिस की पहल पर रोका गया. बताया जाता है कि चाइल्ड लाइन को मिली सूचना के बाद टीम ने पुलिस से संपर्क साधा. इसके बाद चाइल्ड लाइन और पुलिस की टीम नाबालिग के घर पहुंची और अभिभावकों को समझा-बुझाकर बाल विवाह को रोक दिया. स्थिति को देखते हुए अभिभावकों ने बालिग होने पर ही विवाह करने की सहमति जतायी.

Posted By: Samir Ranjan.

Exit mobile version