सारण में बनेगा बिहार का सबसे बड़ा कार्गो टर्मिनल, जलमार्ग के जरिये कोलकाता और नेपाल से व्यापार में मिलेगा लाभ
गंगा में जलमार्ग को सशक्त बनाने की तैयारी जोरों पर है. सारण के कालू घाट पर बिहार का सबसे बड़ा टर्मिनल बनेगा. जिसका काम 10 अक्टूबर से शुरू हो जाएगा.
भारतीय अंतरदेशीय जलमार्ग प्राधिकरण की ओर से गंगा में जलमार्ग को सशक्त बनाने के लिए कराये जा रहे कार्य को 2023 तक पूरा करने का लक्ष्य रखा है. गायघाट निनी स्थित संस्थान में प्राधिकरण के अध्यक्ष जयंत सिंह ने ये बातें कही.
जयंत सिंह ने कहा कि सारण के कालू घाट पर बिहार का सबसे बड़ा टर्मिनल बनेगा. 10 सितंबर से वहां कार्य आरंभ हो गया है. अगस्त 2023 तक 24 माह के अंदर कार्य पूरा करने का लक्ष्य रख गया है. इससे पहले वो वहां के एसडीओ व डीसीएलआर के साथ प्राधिकरण के अधिकारियों के साथ कालू घाट का निरीक्षण किया.इसके बाद प्राधिकरण के गायघाट व निनी स्थित कार्यालय को देखा और व्यवस्था में बदलाव का निर्देश दिया.
निरीक्षण में मुख्य अभियंता रवि कांत, निदेशक अरविंद कुमार, ऑफिसर इंचार्ज प्रशांत कुमार, निनी के प्राचार्य कैप्टन श्री प्रकाश व प्रशासनिक अधिकारी अरुणवीर ढाढा के साथ थे. अध्यक्ष ने बताया कि टर्मिनल के चालू होने से कोलकाता से पोर्ट से कार्गो व्यापारिक वस्तुओं को लेकर आयेगी और यहां से नेपाल भेजा जायेगा. इससे जलमार्ग सशक्त होगा.
अध्यक्ष ने कहा कि हल्दिया से वाराणसी के बीच जलमार्ग सशक्त हो, इसके लिए कार्य हो रहा है. फरक्का में जेटी बन रहा है, उसके बनने के बाद पुराने के जीर्णोद्धार द्वार कार्य होगा.
मुख्य अभियंता रवि कांत ने बताया कि हल्दिया की जेटी फरवरी मार्च तक आधुनिक कर चालू किया जायेगा. फरक्का से लेकर बाढ़ के बीच में गंगा नदी में ड्रैनेज का कार्य कराया जा रहा है. इसी तरह का कार्य बाढ़ से लेकर गाजीपुर के बीच कराया जायेगा.
मुख्य अभियंता ने बताया कि प्राधिकरण की ओर से जहां से नाव का परिचालन होता है, वहां पर 25 जगह चिह्नित कर जेटी कम्युनिटी जेटी, सामुदायिक जेटी का निर्माण कराया जा रहा है. इसमें दीघा, कच्ची दरगाह के दोनों तरफ के साथ और चिह्नित स्थल है.
जेटी पर नाव में चढ़ने,उतरने लाइफ जैकेट होने, जेटी के पास सोलर लाइट, प्रतीक्षा कक्ष, टिकट कक्ष, समेत अन्य सुविधा होगी, जिसे बना कर राज्य सरकार को सौंपा जायेगा. इसके अलावा भी कई योजना पर चर्चा की.
Posted By: Thakur Shaktilochan