Jharkhand News: गढ़वा जिले के रमकंडा रेंज के जंगल से सटे गांव कुसवार में बुधवार की देर शाम तेंदुआ ने एक बारह लड़के हरेंद्र घांसी को मार डाला. इस बच्चो को मारने के बाद तेंदुआ ने कुशवार गांव निवासी मंसूर मंसूरी के गौशाला में बांधे एक बैल को मार डाला. वहीं, दूसरे बैल को गंभीर रूप से घायल कर दिया. आदमखोर तेंदुआ के लगातार हमले के बाद अब ग्रामीण काफी गुस्से में हैं.
तेंदुआ ने लड़के को बनाया निशाना
जानकारी के अनुसार, बली घांसी का 12 वर्षीय पुत्र हरेंद्र घांसी बुधवार की शाम अपने दोस्तों के साथ खेलकर घर वापस लौट रहा था. इसी बीच तेंदुआ ने हरेंद्र पर हमला करते हुए उसका गर्दन दबोच लिया और उसे जंगल की ओर खींच कर ले जाने लगा. तेंदुआ को देखते ही शेष दो लड़के डर से चिल्लाने लगे. बच्चे की चिल्लाहट सुनकर आसपास के ग्रामीण दौड़े, तब तेंदुआ बालक हरेंद्र को छोड़कर भाग गया. लेकिन, तब तक हरेंद्र की मौत हो चुकी थी.
ग्रामीणों में गुस्सा
इस घटना से परिजनों और ग्रामीणों में भारी आक्रोश है. ग्रामीणों ने कहा कि तेंदुआ पिछले दो सप्ताह से लगातार किसी ने किसी घटना को अंजाम दे रहा है, लेकिन वन विभाग इसे रोकने में नाकाम साबित हो रहा है.
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रतजगा कर रहे थे ग्रामीण, तेंदुआ ने कर दिया हमला
बुधवार को ही वन विभाग ने मंगराही गांव में तेंदुआ और लकड़बग्घा पकड़ने के लिए पिंजड़ा और ट्रैपिंग कैमरा लगाया. ड्रोन से निगरानी भी की, लेकिन इसी बीच यह घटना घट गयी. घटना की जानकारी मिलते ही थाना प्रभारी शिवलाल कुमार गुप्ता, मुखिया विनोद प्रसाद व पुलिस के जवान मौके पर पहुंचे तथा ग्रामीणों से मामले की जानकारी ली.
लगभग एक ही वक्त पर हो रहा हमला
बता दें कि तेंदुआ द्वारा बच्चों को मारने की पहली घटना भंडरिया के रोदो गांव में घटी. वहीं, दूसरी रंका के सेवाडीह और मंगलवार को मंगराही में बच्ची को घायल करने के साथ ही बुधवार की शाम कुशवार गांव में 12 वर्षीय बच्चे को मारने की घटनाओं में समय की समानता देखने को मिली है. उक्त सभी घटनाएं शाम साढ़े छह से सात बजे के बीच घटित हुई है.
बैल को भी बनाया शिकार
12 वर्षीय बच्चे को मारने के बाद दूसरी घटना में तेंदुआ ने कुशवार गांव निवासी मंसूर मंसूरी के गौशाला में बांधे गये एक बैल को मार डाला. वहीं, दूसरे बैल को गंभीर रुप से घायल कर दिया. बताया गया कि नदी किनारे बने गौशाला में गाय-बैल बांधा हुआ था. इसी दौरान तेंदुआ के हमले से अन्य पशुधन चिल्लाने लगे, तो ग्रामीण एकजुट होकर गौशाला की ओर दौड़े. ग्रामीणों की शोरगुल के बाद तेंदुआ भाग निकला.
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रिपोर्ट : मुकेश तिवारी, रमकंडा, गढ़वा.