Surya Dev Puja on Sunday: सप्ताह के सभी सातों दिन अलग-अलग देवी-देवताओं की पूजा की जाती है. सोमवार को भगवान शिव, मंगलवार को हनुमान जी और बुधवार को भगवान गणेश की पूजा का दिन होता है. उसी तरह रविवार को सूर्यदेव की पूजा किया जाता है. हिंदू धर्म में सूर्य देव एक मात्र ऐसे देवता तो भक्तों के नियमित रूप से साक्षात दर्शन देते हैं. सूर्य देव की नियमित पूजा करने से जीवन में शांति और खुशहाली आती है.
रविवार के दिन सूर्योदय से पहले उठकर स्नान आदि कर लेना चाहिए. स्नान के बाद साफ और हल्के रंग के कपड़े पहनें. फिर सूर्य देव का स्मरण करते हुए व्रत का संकल्प लें. तांबे के लोटे में लाल फूल, अक्षत, जल, शक्कर, लाल चंदन या रोली मिलाकर सूर्य देव को अर्घ्य दें. फिर पूजा की तैयारी करें. घर के मंदिर या पूजा स्थान पर एक चौकी पर लाल या पीला कपड़ा बिछाकर सूर्य देव की मूर्ति या तस्वीर स्थापित करें. सूर्य देव की मूर्ति या तस्वीर पर रोली, अक्षत, सुपारी, फूल और फल चढ़ाएं और धूप दीप दिखाएं. फिर रविवार व्रत कथा का पाठ करें. सूर्य देव की आरती करें.
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सूर्योदय से पहले ही बिस्तर छोड़ देना चाहिए.
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रविवार का व्रत रख रहे हैं तो इस दिन नमक का सेवन का करें.
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रविवार के दिन मांस-मंदिरा का सेवन भी नहीं करना चाहिए.
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रविवार व्रत के दिन सुबह और संध्या सूर्य देव को अर्घ्य देकर प्रणाम करें.
ऐसी मान्यता है कि रविवार के दिन भगवान सूर्य देव की पूजा करने से व्यक्ति का भाग्योदय होता है. सूर्य देव की उपासना के लिए सुबह स्नान करके भगवान सूर्य देव को जल अर्पित करें. और उनकी पूजा करें. उन्हें धूप, दीप, पुष्प चढ़ाकर पूजा करें और फिर उनकी आरती उतारें. ऐसी मान्यता है कि सूर्य देव के प्रसन्न होने से सभी अशुभ कार्य शुभ कार्यों में परिवर्तित हो जाते हैं.
सूर्यदेव की पूजा करने के लाभ
सूर्यदेव की पूजा करने से व्यक्ति को सभी कठिनाइयों से मुक्ति मिल जाती है.
प्रतिदिन सूर्यदेव की पूजा करने से व्यक्ति निडर और बलवान बनता है.
सूर्य पूजा व्यक्ति को परोपकारी बनाती है.
जो व्यक्ति प्रतिदिन सूर्य पूजा करता है वह विद्वान, बुद्धिमान और मधुरभाषी होता है.
प्रतिदिन सूर्यदेव की पूजा करने से अहंकार, क्रोध, लोभ, कपट और बुरे विचारों का नाश होता है.