मकर संक्रांति के लिए गया का प्रसिद्ध तिलकुट तैयार करने के लिए शहर में गया से कारीगर पहुंच चुके हैं. यह कारीगर विगत 20 दिनों से तिलकुट बनाने के कार्य में जुटे है.लेकिन इस बार एक ही तिलकुट कारोबारी के पास ही कारीगर पहुंचे हैं. इससे पहले चार स्थानों पर तिलकुट बनाने के लिए गया से कारीगर आते थे. इस बार जनता निवास गली के पास तिलकुट कारोबारी दिनेश कुमार ने मकर संक्रांति के लिए तिलकुट बनाने के लिए कारीगर बुलाये हैं. यह कारीगर गत 20 दिसंबर से यहां पर तिलकुट बनाने के काम में जुटे हैं. समूचा अंचल तिलकुट की खुशबू से महक रहा है. तिलकुट कारोबारी दिनेश कुमार ने बताया कि पहले यहां के चार स्थानों पर तिलकुट कारीगर गया से आकर तिलकुट बनाने का काम करते थे. लेकिन इस बार सिर्फ उनके यहां ही कारीगर तिलकुट बना रहे हैं.
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तिलकुट के भाव 100 रुपए प्रति किलो बढ़े
इस बार महंगाई बढ़ने के कारण प्रति किलो तिलकुट के थाेक भाव में करीब 100 रुपये की बढ़ोतरी है. उनके यहां पर बनने वाले दो तरह की तिलकुटों में एक की कीमत 350 रुपये प्रति किलो तथा अन्य किस्म के तिलकुट की कीमत 320 रुपये तथा रेवड़ी की कीमत 40 रुपये प्रति पैकेट है. थोक व खुदरा दर के भाव में 10 से 20 रुपये का अंतर है. उनके यहां पर गया का प्रसिद्ध तिलकुट बनाने के लिये गया से आठ कारीगरों को बुलाया गया है.
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