बीरभूम में मयूराक्षी नदी का बढ़ा जलस्तर,कई इलाके हुए जलमग्न, प्रशासन ने नदी में जाने पर लगाया प्रतिबंध
झारखंड के मसानजोर डैम और बीरभूम जिले के तिलपाड़ा बैरेज से छोड़े गए अतिरिक्त 14 हजार क्यूसेक पानी के कारण मयूराक्षी नदी का जलस्तर बढ़ गया है.किसानों को फसल नष्ट होने का डर सता रहा है.
लगातार हो रही बारिश के कारण झारखंड (Jharkhand) के मसानजोर डैम और बीरभूम (Birbhum) जिले के तिलपाड़ा बैरेज से छोड़े गए अतिरिक्त 14 हजार क्यूसेक पानी के कारण मयूराक्षी नदी का जलस्तर बढ़ गया. देखते ही देखते सहायक नदियों का भी जलस्तर बढ़ता जा रहा है. नदी के आस-पास के इलाके पूरी तरह से प्रभावित हो गए. खेतों में भी पानी प्रवेश कर गया है. लोगों की परेशानियां बढ़ती जा रही है.
प्रशासन ने मछुआरों को नदी में जाने से लगाया प्रतिबंध
नदी में बढ़े जलस्तर को देखते हुए जिला प्रशासन ने मछुआरों समेत नदी में साधारण लोगों के जाने पर प्रतिबंध लगा दिया गया है. मयूराक्षी नदी के तिलपाड़ा बैराज से भी अतिरिक्त जल को छोड़ा गया है. जिसके कारण ही यह स्थिति उत्पन्न हुई है. नदी के बढ़े जलस्तर तथा तेज प्रभाव के कारण साईथिया का दो फेरी घाट भी टूट गया है .
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मोहम्मद बाजार के बड़ाम जाने का रास्ता भी टूटा
मोहम्मद बाजार से बड़ाम जाने वाला रास्ता भी नदी के बढ़े जलस्तर और तेज प्रभाव के कारण टूट गया है. आस-पास के खेतों में नदी का पानी प्रवेश कर गया है .फसलों के सड़ने की आशंका बढ़ने लगी है . इससे किसानों की चिंता लगातार बढ़ते जा रही है. मोहम्मद बाजार के कुले नदी के बढ़े जलस्तर के कारण गिरीपुर सेतु के ऊपर से नदी का जल बढ़ने से ग्रामीणों की चिंता बढ़ गई है. अंगाडिया से पुरातन ग्राम का रास्ता भी बंद हो गया है. कई मिट्टी के घर भी धराशायी हो गए है.
किसानों की बढ़ी परेशानी, फसल हुए नष्ट
मयूराक्षी नदी का जलस्तर बढ़ने से उसके आस-पास के इलाके प्रभावित हो गए हैं. खेतों में नदी का पानी प्रवेश कर गया है. जिससे फसलों को नुकसान होने की आशंका बढ़ गई है. स्थानीय किसानों का कहना है कि यदि यह पानी खेतों में 3 से 4 दिन और रह गया तो फसलें पूरी तरह से सड़ जाएंगी. जिला प्रशासन छोड़े जा रहे पानी तथा नदियों के बढ़ रहे जलस्तर को लेकर सचेत है . लोगों से अपील की जा रही है कि नदी की ओर ना जायें.
रिपोर्ट : मुकेश तिवारी