Jharkhand News: बार काउंसिल के साथ सभी जिला बार एसोसिएशन की बैठक आज, आगे की रणनीति होगी तय
बार काउंसिल के साथ सभी जिला बार एसोसिएशन की बैठक है. इसमें काउंसिल आगे की रणनीति तय करेगा. काउंसिल का जैसा आदेश होगा, उसी हिसाब से आगे कार्यवाही की जायेगी.
झारखंड स्टेट बार काउंसिल के निर्देश पर मंगलवार को धनबाद बार एसोसिएशन के एक प्रतिनिधिमंडल ने प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश राम शर्मा व उपायुक्त संदीप सिंह को छह सूत्री मांग पत्र सौंपा. नेतृत्व एसोसिएशन के महासचिव जीतेंद्र कुमार ने किया. मीडिया से बातचीत करते हुए महासचिव ने कहा कि एसोसिएशन ने बार काउंसिल के आदेश पर खुद को न्यायिक कार्यों से अलग रखा है. ज्ञापन सौंप कर सरकार से कोर्ट फीस को आम जनता के हित में वापस लेने का आग्रह किया है.
अधिवक्ताओं की बीमा, बार एसोसिएशन में लोक अभियोजक, को अधिवक्ताओं के बीच से बहाल करने. अपर लोक अभियोजकों की संख्या को बढ़ाने. अधिवक्ताओं के हित के लिए कल्याण कोष का गठन करने, अधिवक्ताओं की सुरक्षा के लिए एडवोकेट प्रोटेक्शन एक्ट को जल्द से जल्द लागू करने, हर जिले में बार एसोसिएशन के भवन निर्माण के लिए जमीन की मांग की है. उन्होंने कहा कि बुधवार क शाम बार काउंसिल के साथ सभी जिला बार एसोसिएशन की बैठक है. इसमें काउंसिल आगे की रणनीति तय करेगा. काउंसिल का जैसा आदेश होगा, उसी हिसाब से आगे कार्यवाही की जायेगी.
प्रतिनिधिमंडल में बार उपाध्यक्ष राजदेव यादव, संयुक्त सचिव (प्रशासन) अमित कुमार सिंह, नरेंद्र कुमार त्रिवेदी, कुमार विमलेंदु, सुरेश प्रसाद, रमेश शर्मा शामिल थे. मंगलवार को भी न्यायिक कार्यों से अधिवक्ताओं के अलग रहने के कारण पहले से निर्धारित 52 विभिन्न जमानत आवेदनों पर सुनवाई टली. आवेदन पर बहस करने के लिए अधिवक्ता हाजिर नहीं हुए. 22 गवाहों का प्रति परीक्षण नहीं किया जा सका व मेडिएशन सेंटर में भी सुलह समझौते का काम नहीं किया जा सका. स्टेट बार काउंसिल की स्टीयरिंग कमेटी के चेयरमैन राधेश्याम गोस्वामी व बार काउंसिल के मेंबर प्रयाग महतो ने कहा कि अधिवक्ताओं ने आम जनता के लिए आवाज उठाया है अधिवक्ताओं की सुरक्षा भी बहुत अहम विषय है. कोर्ट फी में बेतहाशा वृद्धि के जाने से गरीब व्यक्ति अब मुकदमा नहीं लड़ पाएगा. बताया कि बुधवार को सभी जिला एसोसिएशन से विचार-विमर्श के बाद आगे की रणनीति तय की जाएगी.