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…तो झारखंड में पानी के लिए होगा पलायन, विश्व पर्यावरण दिवस पर प्रभात खबर परिचर्चा में बोले डॉ पतंजलि केसरी

विश्व पर्यावरण दिवस पर प्रभात खबर ने गैर सरकारी संस्था पर्यावरण परिवार के सहयोग से परिचर्चा का आयोजन किया. आरपी नर्सिंग कॉलेज कल्याणपुर में आयोजित इस कार्यक्रम में उपस्थित लोगों ने बरसात के मौसम में कम से कम एक पौधा लगाने व उसे बचाने का संकल्प लिया.

पर्यावरण परिवार के अध्यक्ष डॉ पतंजलि केसरी ने कहा है कि जिस तरह से गर्मी बढ़ रही है, उससे ज्यादा रफ्तार से वाटर लेवल नीचे जा रहा है. अब वह दिन दूर नहीं जब पानी की वजह से झारखंड में पलायन होगा. इसलिए लोगों को सचेत होने तथा जल संरक्षण के लिए सामूहिक प्रयास शुरू करने की आवश्यकता है.

घरों में वाटर हार्वेस्टिंग की व्यवस्था करें लोग

उन्होंने कहा कि गढ़वा शहर सहित ग्रामीण क्षेत्र के लोगों को भी अपने-अपने घरों में वाटर हार्वेस्टिंग की व्यवस्था करनी चाहिए. उन्होंने कहा कि जो नये घर बन रहे हैं, उनमें यह व्यवस्था जरूर होनी चाहिए. डॉ केसरी विश्व पर्यावरण दिवस पर प्रभात खबर और पर्यावरण परिवार की ओर से आयोजित परिचर्चा को संबोधित कर रहे थे.

ये लोग भी थे मौजूद

उन्होंने प्रभात खबर की इस पहल का स्वागत किया. कार्यक्रम की अध्यक्षता प्रभात खबर के ब्यूरो चीफ विनोद कुमार पाठक ने की. वहीं कार्यक्रम को सफल बनाने में प्रभात खबर के प्रतिनिधि पीयूष तिवारी एवं राजकमल का भी सक्रिय योगदान रहा. मौके पर शिक्षक दामोदर प्रसाद, पूजा देवी व वृंदा ठाकुर उपस्थित थे.

गायत्री मंदिर परिसर में लगाये इमारती पौधे

विश्व पर्यावरण दिवस पर प्रभात खबर ने गैर सरकारी संस्था पर्यावरण परिवार के सहयोग से परिचर्चा का आयोजन किया. आरपी नर्सिंग कॉलेज कल्याणपुर में आयोजित इस कार्यक्रम में उपस्थित लोगों ने बरसात के मौसम में कम से कम एक पौधा लगाने व उसे बचाने का संकल्प लिया. मौके पर कॉलेज परिसर एवं गायत्री मंदिर परिसर में इमारती पौधे भी लगाये गये.

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आज के दिन सभी को एक संकल्प के साथ कदम आगे बढ़ाने की जरूरत है. यदि कुछ ही वर्षों तक सभी लोग एक-एक पौधे लगाने व उसे बचाने का संकल्प ले लें, तो बड़ा बदलाव नजर आयेगा.

संगीता श्रीवास्तव, पूर्व मुखिया, नरही पंचायत, गढ़वा

कोरोना काल ने हमें प्रकृति का महत्व समझाया है. जब लोग घरों में कैद हो गये, तो प्रकृति अपने आप शुद्ध हो गयी. उन्होंने कहा कि हम सबको अपने-अपने घरों एवं आसपास के क्षेत्रों में पर्यावरण संतुलन बनाये रखने के लिए प्रयास करने की आवश्यकता है.

नीरज श्रीधर, प्रांत मंत्री, संस्कार भारती

गढ़वा शहर की लाइफ लाइन दानरो नदी को बचाने के लिए प्रयास करने की जरूरत है. नगर परिषद की ओर से कचरा डालकर उसे नाले का रूप दे दिया गया है. उन्होंने कहा कि इस नदी के किनारे पेंड़ लगाकर शहर में प्रकृति को शुद्ध किया जा सकता है.

अब्दुल मन्नान, शिक्षक

हम सुधरेंगे, युग सुधरेगा के नारे को अमल में लाने की जरूरत है. सभी लोग दूसरे से यह उम्मीद करते हैं कि वह पर्यावरण बचाने का प्रयास करे, लेकिन स्वयं कोई पहल नहीं करना चाहता है. यह स्थिति बदलने की जरूरत है.

अखिलेश कुशवाहा, गढ़वा प्रखंड समन्वयक, गायत्री परिवार

यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि पर्यावरण दिवस मनाते हुए आधी सदी से ज्यादा का सफर तय कर लिया गया, लेकिन पर्यावरण असंतुलन की समस्या बढ़ती जा रही है. उन्होंने कहा कि हर गोष्ठी-कार्यक्रम में पर्यावरण असंतुलन पर चर्चा जरूर करें. लोगों को पौधे लगाने एवं वाटर हार्वेस्टिंग के लिए प्रेरित करें.

अंजली शास्वत, पंडित हर्ष द्विवेदी कला मंच

सभी को आज यह संकल्प लेने की जरूरत है कि वे बरसात के मौसम में कम से कम एक पौधा जरूर लगायेंगे. उन्होंने प्रभात खबर के इस पहल की प्रशंसा की व कहा कि पर्यावरण जागरूकता के लिए राजनीतिक दलों को विशेष भूमिका अदा करनी चाहिए.

डॉ इस्तेयाक रजा, आजसू

‘प्रभात खबर’ का यह अभियान सफल होगा. लोग अब पर्यावरण संरक्षण के प्रति जागरूक दिख रहे हैं. पर्यावरण परिवार ने भी लोगों को हजारों पौधा उपलब्ध कराया है. इसमें से यदि आधे भी बचा लिये जायें, तो बदलाव नजर आने लगेगा.

सोमनाथ विश्वकर्मा, अधिवक्ता

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