आगरा. विद्यार्थी अपनी नियमित पढ़ाई के साथ-साथ कोर्स भी करेंगे. नई शिक्षा नीति के तहत ग्रेजुएशन, पोस्ट ग्रेजुएशन के साथ- साथ पेशेवर ट्रेनिंग दी जाएगी. पढ़ाई पूरी करने के बाद हर छात्र-छात्रा अपने हाथ में एक हुनर लेकर कॉलेज से निकलेंगे. यह कोर्स रोजगार उपलब्ध कराने में मददगार होंगे. सेंट जॉन्स में प्रोफेसर संजय जैन बताते हैं कि सरकार द्वारा जारी की गई नई शिक्षा नीति विद्यार्थियों के लिए कई सारे फायदे लेकर आई है. हालांकि विद्यार्थियों और लोगों को इस शिक्षा नीति के बारे में पूर्ण जानकारी नहीं है. जब शिक्षा नीति के फायदे से विद्यार्थी रूबरू होंगे तब उन्हें इसकी अहमियत के बारे में पता चलेगा.
प्रोफेसर संजय जैन का कहना है कि नई शिक्षा नीति के तहत अगर आप कोई भी ग्रेजुएशन कोर्स करते हैं तो उस कोर्स में आपको चार प्रोफेशनल कोर्सेज सिखाए जाएंगे. हर सेमेस्टर में आपको एक प्रोफेशनल कोर्स सीखना आवश्यक है. ऐसे में डॉक्टर भीमराव अंबेडकर विश्वविद्यालय ने 135 प्रोफेशनल कोर्स का चयन किया है . विश्वविद्यालय से संबंधित सभी विद्यालयों को इनमें से किसी भी कोर्स का चयन करने की छूट है. वह अपने कॉलेज और अपने विद्यार्थियों के लिए ऐसे किसी भी कोर्स का चयन कर सकते हैं जो उनके कॉलेज की भौगोलिक स्थिति और व्यवस्था पर खरा उतरता है.
प्रोफेसर जैन ने बताया कि अगर किसी छात्र को बीएससी के साथ जैविक खाद से संबंधित कोर्स करना है तो जिस कॉलेज में वह छात्र पढता है, वह कॉलेज किसी ग्रामीण अंचल के आसपास स्थित होना चाहिए. खेत में या मैदान में जाकर छात्र जैविक खाद से संबंधित कोर्स के बारे में विस्तृत रूप से जानकारी ले सके और सीख सके.ग्रेजुएशन के साथ सिखाए जाने वाले कोर्स में दो कैटेगरी हैं पहली इंडिपेंडेंट और दूसरी प्रोग्रेसिव.
इंडिपेंडेंट कोर्स में छात्र ग्रेजुएशन के पहले सेमेस्टर में इलेक्ट्रिकल से संबंधित कोर्स सीखना चाहता है तो वह उसे पहले सेमेस्टर तक जारी रख सकता है. अगले सेमेस्टर में वह इसके अलावा और विधाओं का कोर्स सीख सकता है. प्रोग्रेसिव कोर्स में विद्यार्थी फर्स्ट सेमेस्टर में कंप्यूटर से संबंधित कोई कोर्स या अन्य किसी कोर्स का चयन करता है तो उसे अन्य सभी सेमेस्टर में इसी कोर्स के अन्य भागों को भी सीखना पड़ेगा तभी उसका कोर्स पूर्ण माना जाएगा.
बुधवार को डीबीआरए विश्वविद्यालय के आईटी संस्थान और एमएसएमई के बीच नई शिक्षा नीति के तहत सिखाए जाने वाले वोकेशनल कोर्स की श्रेणी में एक अनुबंध किया गया. जिसमें ट्रेनिंग एंड प्लेसमेंट विभाग से डॉ रत्ना पांडे ने बताया कि प्राविधिक शिक्षा विभाग के छात्र छात्राओं को विभिन्न तकनीकी क्षेत्रों से संबंधित ट्रेनिंग प्रदान करने एवं छात्रों की इनोवेटिव आइडियाज को साकार करने में यह अनुबंध मदद करेगा.