झारखंड का यह गांव आज भी मूलभूत सुविधाओं से वंचित, चुआड़ी का पानी पीते हैं आदिम जनजाति परिवार
गढ़वा के हरता गांव के परेवाटांड़ टोले का हाल बेहाल है. यहां के लोग आज भी मूलभूत सुविधाओं से वंचित हैं. पीने के पानी की विकराल समस्या है. यहां आदिम जनजाति परिवार चुआड़ी का पानी पीने को मजबूर हैं.
मुकेश तिवारी, रमकंडा : आदिम जनजाति के करीब 20 घरों में रहने वाले कोरवा जाति के करीब 100 लोग इस बरसात में भी नाले में चुआड़ी खोदकर पानी पीने को विवश हैं. प्रशासनिक उदासीनता व भौगोलिक रूप से कठिनाई भरे रास्तों के बीच भंडरिया प्रखंड के हरता गांव के परेवाटांड़ टोले में बसे इन आदिम जनजाति परिवार मूलभूत सुविधाओं से वंचित है. स्थिति ऐसी है कि इन परिवारों को पिछले छह महीने से पेयजल की समस्या से जूझना पड़ रहा है.
ग्रामीण उर्मिला देवी, सरिता देवी, अनिता देवी, अनिता देवी, आशा देवी, मालती कुंवर, बरती देवी, राजू कोरवा, विजय कोरवा सहित अन्य ग्रामीण बताते हैं कि टोले में पेयजल के लिये जलमीनार लगा है. लेकिन उसका मोटर खराब होने के कारण जलमीनार बंद है. वहीं, चापानल भी बेकार पड़ा है. बताया गया कि जलमीनार की मरम्मत के लिये छह माह पहले से पंचायत सचिव, मुखिया व प्रखंड स्तरीय अधिकारियों को इसकी जानकारी देकर मरम्मत कराने के लिये अनुरोध किया गया, लेकिन आज तक इसकी मरम्मत नहीं करायी गयी.
ग्रामीणों ने बताया कि मरम्मत नहीं होने के कारण उन्हें एक किमी दूर परेवा नदी के समीप बहने वाले नाले में चुआड़ी खोदकर पानी निकालना पड़ता है, और उसी पानी को पीना पड़ रहा है. उन्होंने बताया कि पेयजल के साथ ही इस टोले में सड़क नहीं है. बरसात में स्थिति बदतर हो जाती है. सड़क को लेकर स्थानीय जनप्रतिनिधियों ने आश्वासन भी दिया, लेकिन अब तक सड़क निर्माण नहीं हो पाया. हालांकि, राशन व पेंशन की सुविधा यहां के लोगों को मिलती है.
शिकायत करते करते थक गया : राजू कोरवा
ग्रामीण राजू कोरवा बताते हैं कि इस टोले में बसे लोगों को मूलभूत सुविधाओं से जोड़ने के प्रति स्थानीय जनप्रतिनिधि से लेकर अधिकारी भी गंभीर नहीं हैं. उन्होंने बताया कि कुछ दिन पहले भी जलमीनार मरम्मत के लिये प्रखंड कार्यालय में लिखित शिकायत की गयी. इसके पहले पंचायत सचिव से भी अनुरोध किया गया. दो चार दिनों में मरम्मत का आश्वासन भी मिला, लेकिन अब तक इसकी मरम्मत नहीं हुई. उन्होंने कहा कि शिकायत करते-करते थक गया हूं. लगता है अब इसकी मरम्मत नहीं होगी. वहीं, टोले के लोगों को चुआड़ी से ही पानी पीना पड़ेगा.
जल्द होगा मरम्मत का कार्य : बीडीओ
इस संबंध में पूछे जाने पर भंडरिया बीडीओ विपिन कुमार भारती ने कहा कि एक दिन पहले उन्हें इस मामले की जानकारी मिली है. पंचायत सचिव को मरम्मत कराने का आदेश दिया है. प्राथमिकता के साथ इसकी मरम्मत कराकर पेयजल व्यवस्था सुनिश्चित करायी जायेगी.
आदेश मिला है, जल्द मरम्मत होगी: पंचायत सचिव
इस संबंध में पूछे जाने पर पंचायत सचिव राजेंद्र राम ने कहा कि इस मामले से संबंधित आदेश मिला है. जल्द ही जलमीनार की मरम्मत करायी जायेगी.
Also Read: भेलवाघाटी नरसंहार : गिरिडीह के इस गांव के लोग 18 साल बाद भी नहीं भूले नक्सलियों का खूनी खेल