निर्विरोध राज्यसभा जायेंगे तृणमूल के जवाहर सरकार, भाजपा ने नहीं दिया उम्मीदवार
बंगाल विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष शुभेंदु अधिकारी ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी राज्यसभा के उपचुनाव में अपना उम्मीदवार नहीं उतारेगी. परिणाम के बारे में पहले से ही सबको पता है.
कोलकाता: प्रसार भारती के पूर्व मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) और तृणमूल कांग्रेस (TMC) के उम्मीदवार जवाहर सरकार (Jawhar Sircar) राज्यसभा (Rajya Sabha) के लिए निर्विरोध चुन लिये जायेंगे. उनके खिलाफ भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने साफ कर दिया है कि उनकी पार्टी अपना उम्मीदवार नहीं देगी. इस तरह जवाहर सरकार (Jawhar Sircar Rajya Sabha) के निर्विरोध राज्यसभा जाने का रास्ता साफ हो गया. गुरुवार (29 जुलाई) को उपचुनाव (Rajya Sabha Bye Election 2021) के लिए नामांकन का आखिरी दिन था.
बंगाल विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष शुभेंदु अधिकारी (BJP Leader Suvendu Adhikari) ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी राज्यसभा के उपचुनाव (Rajya Sabha By Poll) में अपना उम्मीदवार नहीं उतारेगी. उन्होंने कहा कि राज्यसभा उपचुनाव के परिणाम के बारे में पहले से ही सबको पता है. श्री अधिकारी ने कहा कि इस विवेकहीन सरकार के खिलाफ भारतीय जनता पार्टी (Bharatiya Janata Party) की लड़ाई जारी रहेगी.
मैं जीवन भर नौकरशाह रहा हूं. मैं कोई राजनीतिक व्यक्ति नहीं हूं, लेकिन मैं जनता के विकास के लिए काम जरूर करूंगा और संसद में जनता से जुड़े मुद्दों को उठाऊंगा.
जवाहर सरकार, तृणमूल उम्मीदवार
पूर्व नौकरशाह जवाहर सरकार ने बुधवार (28 जुलाई) को तृणमूल कांग्रेस (All India Trinamool Congress) के राज्यसभा उम्मीदवार के रूप में नामांकन दाखिल किया था. श्री सरकार ने पश्चिम बंगाल के संसदीय मंत्री और तृणमूल के महासचिव पार्थ चटर्जी की उपस्थिति में विधानसभा सचिवालय के कार्यालय में अपना नामांकन पत्र दाखिल किया था. इस साल पश्चिम बंगाल में विधानसभा चुनाव से पहले तृणमूल नेता दिनेश त्रिवेदी (Dinesh Trivedi) के इस्तीफे से यह सीट खाली हुई थी.
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दिनेश त्रिवेदी भाजपा में शामिल हो गये थे. राज्यसभा सीट के लिए उपचुनाव नौ अगस्त को होने हैं और इसके लिए 22 जुलाई को अधिसूचना जारी की गयी थी. तृणमूल ने कहा कि उसने सरकार को ‘सार्वजनिक सेवा में उनके अमूल्य योगदान के कारण चुना है, जिससे हमें अपने देश की बेहतर सेवा करने में मदद मिलेगी.’ सरकार ने नामांकन दाखिल करने के बाद उनमें भरोसा जताने के लिए तृणमूल का शुक्रिया अदा किया.
Today is the last date for nomination of RS by-poll in WB. BJP is not putting up any candidate for this seat. Outcome of the poll is defined and known to all. Our fight against this irrational Govt. will continue.
— Suvendu Adhikari • শুভেন্দু অধিকারী (@SuvenduWB) July 29, 2021
जवाहर सरकार ने कहा, ‘मैं हर संभव तरीके से उनके (तृणमूल के) भरोसे को पूरा करने की कोशिश करूंगा. विधानसभा चुनावों में ममता बनर्जी की जुझारू भावना से मैं बहुत प्रभावित हुआ हूं.’ श्री सरकार ने लगभग 42 साल सार्वजनिक सेवा में बिताये हैं और वह प्रसार भारती के पूर्व सीईओ भी थे. उन्होंने फरवरी 2017 में अपनी निर्धारित सेवानिवृत्ति से चार महीने पहले अक्टूबर, 2016 में इस्तीफा दे दिया था.
इस अवसर पर बंगाल के मंत्री और तृणमूल कांग्रेस के सीनियर लीडर पार्थ चटर्जी ने कहा, ‘दुर्भावना से भरे चुनाव प्रचार अभियान और व्यक्तिगत हमलों के बीच ममता बनर्जी की जीत (राज्य विधानसभा चुनाव में) ने साबित कर दिया कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने जितना हमला किया, उतना ही उसका माकूल जवाब दिया गया.’ उन्होंने कहा, ‘त्रिपुरा में (चुनाव रणनीतिकार) प्रशांत किशोर की टीम के दौरे पर भाजपा सरकार की प्रतिक्रिया से पता चलता है कि वे (भाजपा) डरे हुए हैं.’
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मोदी सरकार को जवाहर सरकार ने कहा था तानाशाह, असहिष्णु
जवाहर सरकार ने इससे पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार को ‘असहिष्णु, तानाशाह’ बताया था. तृणमूल द्वारा अपने नाम की घोषणा के बाद उन्होंने कहा, ‘मैं जीवन भर नौकरशाह रहा हूं. मैं कोई राजनीतिक व्यक्ति नहीं हूं, लेकिन मैं जनता के विकास के लिए काम जरूर करूंगा और संसद में जनता से जुड़े मुद्दों को उठाऊंगा.’
मैं हर संभव तरीके से उनके (तृणमूल के) भरोसे को पूरा करने की कोशिश करूंगा. विधानसभा चुनावों में ममता बनर्जी की जुझारू भावना से मैं बहुत प्रभावित हुआ हूं.
जवाहर सरकार
कांग्रेस-लेफ्ट को नहीं मिली एक भी सीट
विपक्षी दल भाजपा ने चूंकि अपना उम्मीदवार नहीं दिया है, इसलिए राज्यसभा उपचुनाव के लिए मतदान की जरूरत नहीं होगी. तृणमूल उम्मीदवार को निर्विरोध निर्वाचित घोषित कर दिया जायेगा. ज्ञात हो कि वर्ष 2021 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस और वाम दलों को एक भी सीट नहीं मिली थी. कांग्रेस-आईएसएफ-लेफ्ट के गठबंधन संयुक्त मोर्चा में सिर्फ इंडियन सेक्युलर फ्रंट (आईएसएफ) ही एक सीट जीत पायी थी.
Posted By: Mithilesh Jha