UP News: टमाटर के बाद प्याज का तांडव, 80 रुपए किलो के साथ अब रेट का शतक लगाने की उम्मीद, जानें कब कम होगी कीमत
प्याज काटने के बाद आंसू आते थे. मगर, अब दाम सुनने के बाद लोगों के आंसू आने लगे हैं. करवा चौथ और दीपावली का त्योहार करीब है. मगर, इससे पहले बढ़ते दाम लोगों को रुलाने लगे हैं. हालांकि, प्याज की बढ़ती कीमत को लेकर केंद्र सरकार ने एक अहम फैसला किया है.
Bareilly News: आम आदमी का महंगाई पीछा नहीं छोड़ रही है. टमाटर की बढ़ती कीमतों से लोगों को कुछ समय पहले ही राहत मिली थी. मगर, अब त्योहारी सीजन में प्याज के दामों ने तांडव मचाना शुरू कर दिया है. उत्तर प्रदेश में हर जगह प्याज के दामों में इजाफा दर्ज किया गया है. बरेली के फुटकर दुकानदार प्याज 80 रुपए किलोग्राम तक बेच रहे हैं, जबकि मंडी में थोक के भाव 60 के पार आ चुके हैं. पिछले तीन से चार दिनों के बीच प्याज की कीमतों में 50 फीसद की बढ़ोत्तरी हुई है. प्याज के बढ़ते दामों की वजह आवक यानी उपलब्धता कम और अधिक मांग को माना जा रहा है. ऐसे में त्योहार से पहले प्याज की कीमतों ने लोगों की रसोई घर का बजट बिगाड़ दिया है. बरेली सब्जी मंडी के आढ़ती बादशाह बताते हैं कि प्याज के मूल्य में उछाल के पीछे सब्जी मंडियों में प्याज की आवक अधिक नहीं है. शहर की सुबह की मंडी में दुकानदार राकेश का कहना है कि त्योहारों के नजदीक प्याज के मूल्य में विशेष उतार-चढ़ाव आया है. इससे सब्जी कीआपूर्ति में कमी है. बरेली में प्याज के मूल्य 35 से 40 रुपए से सीधे 60 और 80 रुपए प्रति किलोग्राम तक पहुंच गए हैं.
प्याज काटने के बाद आंसू आते थे. मगर, अब बरेली सहित उत्तर प्रदेश के अन्य जनपदों में दाम सुनने के बाद लोगों के आंसू आने लगे हैं. करवा चौथ और दीपावली का त्योहार करीब है. मगर, इससे पहले बढ़ते दाम लोगों को रुलाने लगे हैं. हालांकि, प्याज की बढ़ती कीमत को लेकर केंद्र सरकार ने एक अहम फैसला किया है. इसमें सरकार ने प्याज के निर्यात पर 800 डॉलर प्रति मिट्रिक टन यानी 67 रुपए प्रति किलोग्राम का न्यूनतम निर्यात शुल्क लगाया है. सरकार बफर स्टॉक के लिए दो लाख टन अतिरिक्त घरेलू प्याज भी खरीदने की तैयारी में है.सरकार घरेलू बाजार में प्याज की उपलब्धता बढ़ाने का प्रयास करने में जुट गई है.
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नई फसल आने पर दाम कम होने की उम्मीद
बरेली सब्जी मंडी के आढ़ती सोहन लाल का कहना है कि प्याज की बढ़ती कीमत नई फसल के मार्केट में आने के बाद ही कम होगी. नई फसल के आने में अभी दो महीने हैं. इसका मतलब है कि प्याज की कीमतों में दिसंबर तक इजाफा रह सकता है. महाराष्ट्र में प्याज के गोदाम खाली होने की कगार पर आ गए हैं और यही वजह है कि प्याज के दाम बढ़े हैं. हालांकि, बरेली में राजस्थान के अलवर, गुजरात के राजकोट, गोनल आदि से नए प्याज की आमद शुरू होने पर भाव नियंत्रण की भी उम्मीद जताई जा रही है.
रिपोर्ट मुहम्मद साजिद, बरेली