रिपोर्ट: चन्द्रशेखर सिंह
चतरा: टुंडी प्रखंड के 17 पंचायतों में धीरे धीरे पंचायत चुनाव की सरगर्मी बढ़ने लगी है. इस क्षेत्र के जीतपुर पंचायत को सबसे ज्यादा संवेदनशील पंचायत माना है. इसमें सबसे ज्यादा महत्वपूर्ण पलमा,नवादा,जीतपुर,बस्तिकुल्ही,परसबनी ,बंगारो जैसे इलाके हैं. खासकर पलामा इलाका.
क्यों कि यहीं से पूर्व मुख्यमंत्री व राज्यसभा संसद शिबू सोरेन ने झारखंड आंदोलन की शुरूआत की थी. बाद में मनियाडीह आश्रम से आंदोलन को गति दी गई. जीतपुर पंचायत के बीते दो बार के चुनाव पर नजर डाले तो साल 2010 में बेबी देवी ने अपने निकटतम प्रतिद्वंदी को 935 वोटों से हराया था. वहीं साल 2015 के चुनाव में सोनोदि देवी ने जीत हासिल की थी. उन्होंने अपने निकटतम प्रत्याशी उन्होंने भगवती देवी को मात्र 133 वोटों से परिजित किया था.
लेकिन इस साल महिला आरक्षण नहीं होने से उनके पति चुनाव मैदान पर उतर सकते हैं. स्थानीय लोगों से मिली जानकारी के अनुसार निवर्तमान मुखिया सोनोदी देवी के जगह उनके पति टीकाराम टुडू (जीतपुर) स्वयं मैदान पर होंगे.
जबकि पिछले चुनाव में मुख्य प्रतिद्वंदी रही भगवती देवी के जगह पर उनके पति इंदरलाल बास्की (,माधोजोड़ा )टक्कर देते नजर आएंगे. लेकिन इन दोनों के बीच एक और तीसरा नाम भी उभर कर सामने आ रहा है. जानकारी के मुताबिक बस्तिकुल्ही के शनिचर मुर्मू भी मैदान दो दो हाथ करते नजर आ सकते हैं. इस पंचायत में कुल 9 वार्ड है
वही अगर हम पंचायत समिति सदस्य पद की चुनाव बात करें तो इसमें अभी तक दो लोगों के नाम सामने आये हैं. पहला नाम पूर्व प्रमुख व निवर्तमान उप प्रमुख भवानी देवी हैं. जबकि दूसरा नाम प्रियंका देवी का है. हालांकि अभी तक किसी तीसरे दावेदार का नाम अब तक सामने नहीं आया है, लेकिन इस पद के लिए अब तक किसी का रुझान देखने को नहीं मिला है. इसलिए अंत में अगर कोई निर्विरोध चुना जाता है तो कोई आश्चर्य की बात नहीं होगी,
Posted By: Sameer Oraon