धुरकी: झारखंड के गढ़वा जिला मुख्यालय से 60 किलोमीटर एवं धुरकी प्रखंड मुख्यालय से आठ किलोमीटर दूर कनहर नदी स्थित सुखलदरी जलप्रपात नये साल पर सैलानियों से गुलजार है. यहां की प्राकृतिक छटा देखने के लिए छत्तीसगढ़, उत्तर प्रदेश और बिहार के पर्यटक सपरिवार पिकनिक मनाने पहुंचते हैं. यहां पनघटवा डैम भी घूमने लायक अच्छी जगह है.
मनोरम दृश्य को मोबाइल से करते हैं कैद
ऊंचे-ऊंचे पर्वतों और हरे-भरे जंगलों के बीच सुखलदरी जलप्रपात की खूबसूरती देखते ही बनती है. मनमोहक दृश्य को लोग घंटों बैठकर निहारते रहते हैं. करीब 100 फीट की ऊंचाई से यहां पानी गिरता है. नये साल पर बड़ी संख्या में यहां पर्यटक पहुंचते हैं. सैलानी न सिर्फ सेल्फी लेते दिखते हैं, बल्कि अपने-अपने मोबाइल और कैमरे से मनमोहक दृश्य को कैद भी करते देखे जाते हैं.
पिकनिक मनाने पहुंचते हैं सैलानी
सुखलदरी जलप्रपात के पास एक मंदिर भी है, जो पहाड़ों पर स्थित है. पर्यटन विभाग के द्वारा एक गेस्ट हाउस का निर्माण कराया गया है. यहां से नीचे उतरने और सुखलदरी जलप्रपात को देखने के लिए सीढ़ियों का निर्माण किया गया है. दिसंबर और जनवरी में हर वर्ष पर्यटकों की काफी भीड़ होती है. लोग सपरिवार पिकनिक मनाने पहुंचते हैं.
मकर संक्रांति पर लगता है मेला
नये साल पर लोगों की भीड़ को देखते हुए गढ़वा के सुखलदरी जलप्रपात पर सुरक्षा को लेकर पुलिस की भी तैनाती होती है. मकर संक्रांति पर्व के अवसर पर 14 जनवरी को मेले का आयोजन किया जाता है. इसमें आसपास के लोग बड़ी संख्या में जुटते हैं.
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ऐसे पहुंच सकते हैं यहां
पर्यटक यहां आराम से पहुंच सकते हैं. बंशीधर नगर तक ट्रेन के माध्यम से पहुंचा जा सकता है वहां से 30 किलोमीटर ऑटो या निजी वाहन से यहां तक पहुंचा जा सकता है. यहां पहुंचने वाले सैलानी खाने-पीने के लिए सामान स्वयं लेकर पहुंचते हैं.
पर्यटकों का मन मोहता है पनघटवा डैम
धुरकी प्रखंड का पनघटवा डैम भी सैलानियों के लिए काफी मनमोहक है. डैम की चारों तरफ हरा-भरा एवं दूर तक फैला पानी सैलानियों का मन मोह लेता है. इस डैम में तरह-तरह के पक्षी देखने को मिलते हैं. लोग यहां नौका विहार भी करते हैं.
रिपोर्ट : अनूप जायसवाल, धुरकी, गढ़वा