खूंटी (चंदन कुमार) : झारखंड के घोर उग्रवाद प्रभावित जिला खूंटी में एसपी के रूप में आलोक कुमार ने अपनी धाक जमायी थी. अपने छोटे-से कार्यकाल में उन्होंने नक्सलवादियों की कमर तोड़ दी थी. झारखंड कैडर के इस आइपीएस अधिकारी ने नक्सलियों के दिल में पुलिस का खौफ पैदा कर दिया था.
आलोक कुमार ने 23 नवंबर, 2018 को खूंटी के एसपी के रूप में पदभार ग्रहण किया था. 2 अक्टूबर, 2019 तक वह यहां रहे. उनके कार्यकाल में नक्सलियों के साथ कई बार मुठभेड़ हुई. इसमें कई उग्रवादी मारे गये. उनके कार्यकाल के दौरान जिले में उग्रवादियों का एक तरह से सफाया हो गया था.
आलोक कुमार के कार्यकाल में उग्रवादी घटनाओं में काफी कमी आयी थी. एसपी आलोक उग्रवादियों के खिलाफ सख्त तो थे ही, पुलिस विभाग को भी दुरुस्त करने पर उनका पूरा ध्यान था. पुलिस के जवान और अधिकारियों की लापरवाही बिल्कुल बर्दाश्त नहीं करते थे. आम लोगों की मदद करने में आगे रहते थे. उपद्रवियों से सख्त से निबटते थे.
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एसपी आलोक के कार्यकाल में कई नामी उग्रवादी मुठभेड़ में मारे गये. पहली मुठभेड़ 29 जनवरी, 2019 को अड़की थाना क्षेत्र के तिरला में हुई. इसमें पुलिस ने पीएलएफआइ के दो लाख रुपये के इनामी एरिया कमांडर प्रभु सहाय बोदरा को चार सहयोगियों के साथ मार गिराया. मुठभेड़ के बाद दो उग्रवादी गिरफ्तार भी हुए थे.
फरवरी, 2019 में रनिया थाना क्षेत्र के जामटोली में एक लाख रुपये के इनामी पीएलएफआइ उग्रवादी विक्रम टोपनो को पुलिस ने मार गिराया. इसी महीने गुमला और खूंटी पुलिस के संयुक्त अभियान में पीएलएफआइ के 10 लाख रुपये के इनामी जोनल कमांडर गुज्जू गोप को मार गिराया गया था. दो उग्रवादियों को गिरफ्तार भी किया गया था.
इस मुठभेड़ में 10 लाख रुपये के इनामी जोनल कमांडर को रांची पुलिस ने गिरफ्तार किया था. फरवरी महीने में ही मुरहू थाना क्षेत्र के कुंकुसी जंगल में पीएलएफआइ की गन फैक्ट्री का उद्भेदन किया गया था. वर्ष 2019 के जुलाई में मानव तस्कर पन्ना लाल को गिरफ्तार करने में पुलिस ने सफलता पायी थी.
एसपी आलोक के कार्यकाल में कई बड़े हत्याकांड का खुलासा हुआ. इसमें मुख्य रूप से कोचांग प्रधान सुखराम मुंडा और मुरहू के हेठगोवा में मागो मुंडा और उनके परिवार के सदस्यों की हत्या का उद्भेदन शामिल है. एसपी आलोक के कार्यकाल में ही शांतिपूर्ण लोकसभा चुनाव संपन्न हुआ था.
उन्होंने अवैध रूप से अफीम की खेती के खिलाफ भी व्यापक अभियान चलाया था. एसपी आलोक के कार्यकाल में कुल 52 गिरफ्तारियां हुईं. चार एके 47, एक एचके 33 रायफल, एक विदेशी पिस्टल, 37 देसी हथियार और 735 कारतूस बरामद की गयी थी.
Posted By : Mithilesh Jha