बरेली : उत्तर प्रदेश के बरेली में किला ओवरब्रिज की मरम्मत का कार्य पूरा हो गया है. जिसके चलते भाजपा के कैंट विधायक संजीव अग्रवाल ने 3 अप्रैल को ओवरब्रिज का निरीक्षण कर मरम्मत कार्य पूरा होने पर राहगीरों के लिए खोलने की बात कही थी. विधायक ने अफसरों से बात कर चार अप्रैल की सुबह 11 बजे से ओवरब्रिज से वाहन चलाने की घोषणा कर दी. इसका कैंट विधायक की तरफ से पत्र भी जारी किया गया था. मगर, किला ओवरब्रिज शहर विधानसभा में आता है.
एक अफसर ने बताया कि उत्तर प्रदेश सरकार में स्वतंत्र प्रभार मंत्री एवं शहर विधायक डॉक्टर अरुण कुमार सक्सेना और बरेली लोकसभा के सांसद एवं पूर्व मंत्री संतोष कुमार गंगवार की तरफ से अफसरों से आपत्ति जताई गई. यह दोनों जनप्रतिनिधि बरेली से बाहर थे. इसलिए किला ओवरब्रिज को राहगीरों के लिए 4 अप्रैल से शुरू कराने का फैसला टालना पड़ा. पहले 6 अप्रैल और अब 7 अप्रैल से किला ओवरब्रिज राहगीरों के लिए खोलने का फैसला लिया गया है. मगर, इस ओवरब्रिज के बंद होने से राहगीरों को काफी दिक्कत हो रही है.
शहर के लोगों को 5 मिनट का सफर करने में एक घंटे से अधिक का समय लग रहा है. यह ओवरब्रिज करीब 3 माह से बंद है. शहर में किला ओवरब्रिज बंद होने के कारण सुबह से रात तक जाम लगता है. इससे राहगीरों को पूरा दिन जाम का सामना करना पड़ता है. शुक्रवार की सुबह मंत्री डॉक्टर अरुण कुमार सक्सेना, सांसद संतोष कुमार गंगवार, कैंट विधायक संजीव अग्रवाल हरी झंडी दिखाकर वाहनों का संचालन शुरू कराएंगे.
किला ओवरब्रिज की मरम्मत का कार्य पूरा हो गया है. इस पर नया रोड 3 अप्रैल को ही डाल दिया गया है. नीचे के हिस्से में पेंट का कार्य बचा था. यह भी पूरा हो गया है.
किला ओवरब्रिज गुजरात के मोरबी में ओवर ब्रिज टूटने के बाद वाहनों के लिए 3 माह को बंद कर दिया गया था. इससे बड़े वाहनों के साथ ही छोटे वाहन और बाइक से गुजरने पर भी रोक है. वाहनों का संचालन बंद होने से ओवर ब्रिज के आसपास और लिंक रोड पर हर दिन सुबह से रात तक जाम लगता है. इसके साथ ही अधिकांश राहगीर जाम से बचने को प्रेमनगर से सिविल लाइंस आते हैं. जिसके चलते राहगीरों को कई किलोमीटर अतिरिक्त वाहन चलाना पड़ता है.
किला ओवरब्रिज की मरम्मत कार्य को 4.98 करोड़ का बजट दिया गया था. इस बजट से मरम्मत की गई. इसके साथ ही ओवरब्रिज पर रेलिंग और रंगाई पुताई की गई. जिसके चलते बजट से अतिरिक्त खर्च की बात सामने आ रही है.
शहर का किला ओवरब्रिज सबसे पुराना है. इसका निर्माण वर्ष 1980 में हुआ था. उस वक्त शहर में कोई भी ओवरब्रिज नहीं था. मगर, यह पिछले कई वर्ष से जर्जर हालत में था. बड़े वाहनों के निकलने पर हिलने लगता था, लेकिन इसके बाद भी वाहनों का संचालन जारी था. कुछ महीने पहले गुजरात के मोरबी में ओवरब्रिज गिरने के बाद अफसरों को किला पुल की याद आई. इसके बाद बड़े वाहनों का आवागमन बंद कराया गया.
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किला ओवरब्रिज बंद होने से क्रासिंग और हुसैनबाग में ट्रैफिक बढ़ गया है. किला क्रासिंग पर लगातार जाम की स्थिती बनी हुई है. भारी जाम के कारण तय समय से रेलवे क्रॉसिंग बंद नहीं हो पा रही है. समय से फाटक बंद न होने की वजह से ट्रेनों को भी सिग्नल नहीं मिल रहा है. इस वजह से ट्रेनों को आउटर पर काफी देर तक खड़ा होना पड़ रहा है. इसके साथ ही प्रेमनगर के धर्म कांटे से लेकर ईट पजाया चौराहा तक जाम लग रहा है.
रिपोर्ट मुहम्मद साजिद, बरेली