गढ़वा, पीयूष तिवारी : बिहार के छह राईस मिलरों ने मिलकर 107682 क्विंटल चावल (कस्टम मिल राईस या उसना चावल) की हेराफेरी की है. इसका कुल मूल्य (वसूलनीय राशि) करीब 35 करोड़ रुपये है. इस मामले को लेकर जिला आपूर्ति पदाधिकारी सह गढ़वा एसडीओ राजमहेश्वरम ने सभी छह राईस मिलर के संचालकों के खिलाफ गढ़वा थाना में मामला दर्ज कराया है. यह मामला वितीय साल 2021-22 में धान खरीद से जुड़ी हुई है. जिन मिलरों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गयी है.
प्राथमिकी दर्ज में हनुमानजी मॉर्डन राईस मिल नोखा (चावल- 15631.71 क्विंटल व वसूलनीय राशि-4.94 करोड़ रुपये ), जय बजरंग एग्रो फार्म प्राईवेट लिमिटेड (चावल- 11830.71 क्विंटल व वसूलनीय राशि-3.74 करोड़ रुपये ), भगवानजी मॉर्डन राईस मिल (चावल- 4450.99 क्विंटल व वसूलनीय राशि-1.4087 करोड़ रुपये ), पशुपति राईस मिल प्राईवेट लिमिटेड (चावल- 34417. क्विंटल व वसूलनीय राशि- 10.89 करोड़ रुपये ), ठाकुरजी राईस मिल प्राईवेट लिमिटेड (चावल- 7457.94 क्विंटल व वसूलनीय राशि-2.36 करोड़ रुपये ) और सिंघानिया एग्रो (चावल-33840.06 क्विंटल व वसूलनीय राशि-10.71 करोड़ रुपये ) शामिल है.
उल्लेखनीय है कि वितीय साल 2021-22 में पैक्स के माध्यम से गढ़वा जिले के किसानों से धान की खरीद की गयी थी. धान क्रय करने के बाद संबंद्ध मिलरों ने पैक्सों से धान का उठाव कर लिया, लेकिन इसके बदले में नियमानुसार एफसीआई (भारतीय खाद्य निगम) को सीएमआर (उसना चावल) तैयार कर नहीं दिया. तय मापदंड के अनुसार मिलर प्रति क्विंटल धान के बदले 68 किलो उसना चावल तैयार कर एफसीआई को देते हैं. यही उसना चावल फिर एफसीआई सरकार के गाईड लाईन के हिसाब से अनुदान या अब फ्री में राशन कार्डधारियों को उपलब्ध कराता है. मिलरों ने 31 मार्च 2022 तक खरीदे गये धान का उठाव किया था, इसे उसना चावल बनाकर उन्हें बीते वितीय साल के छमाही में ही एफसीआई को उपलब्ध करा देना था, लेकिन कई बार गढ़वा जिला प्रशासन की ओर से उन्हें इसको लेकर चेतावनी दिये जाने के बाद भी उपरोक्त छह राईस मिल संचालकों ने एफसीआई को चावल उपलब्ध नहीं कराया. अदिती राईस मिल को शोकॉज किया गया है. इस छह राईस मिलरों के अलावे अदिती राईस मिल नामक मिल संचालक को शोकॉज किया गया है.
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इस संबंध में जिला आपूर्ति पदाधिकारी सह गढ़वा एसडीओ राज महेश्वरम ने बताया कि पूर्व के डीएसओ जो गढ़वा व पलामू दोंनो के प्रभार में थे और जिला प्रबंधक खाद्य निगम ने इन मिलरों के साथ अनुबंध किया था. उपरोक्त सभी मिलरों को कई बार चावल एफसीआई के पास जमा करने को लेकर निर्देशित व शोकॉज किया जा चुका है. उन्हें जमा करने के लिये अंतिम तिथि 31 मार्च 2023 दी गयी थी, लेकिन इसके बावजूद उनलोगों ने न तो चावल और न ही राशि जमा की है. इसलिये उनके खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गयी है.