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झारखंड में आठ हजार को मिलेगी सरकारी नौकरी, सरकार आपके द्वार कार्यक्रम में बोले सीएम हेमंत सोरेन

सीएम हेमंत सोरेन ने कहा कि झारखंड में स्थापित सभी निजी और सरकारी फैक्टिरियों में 75 प्रतिशत स्थानीय लोगों को रोजगार देने के लिए कानून बना दिया गया है. इन कंपनियों में 40 हजार से कम तनख्वाह पानेवाले सभी लोग स्थानीय बहाल होंगे.

By Guru Swarup Mishra | December 18, 2023 7:18 PM

हजारीबाग, सलाउद्दीन: हजारीबाग के इचाक में आपकी योजना, आपकी सरकार, आपके द्वार कार्यक्रम में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा कि सरकार के चार साल पूरा होने पर आठ हजार लोगों को नियुक्ति पत्र दिया जाएगा. मुख्यमंत्री ने कहा कि 29 दिसंबर को सरकार के चौथे स्थापना दिवस पर आठ से नौ हजार लोगों सरकारी नौकरी का नियुक्ति पत्र दिया जाएगा. अभी तक सरकार ने 25 से 30 हजार सरकारी नौकरी युवाओं को दिया है. डबल इंजन की सरकार ने 11 लाख गरीबों का राशन कार्ड खत्म किया. हमारी सरकार ने चार साल में 20 लाख हराकार्ड बनाकर राशन दिया. 20 साल में 16 लाख लोगों को पेंशन से जोड़ा गया. हमारी सरकार ने चार साल में 36 लाख 60 हजार लोगों को पेंशन से जोड़ा. झारखंड निर्माण के समय सरपल्स बजट था. 20 वर्षों में विपक्षियों की सरकार ने खजाने को लूटने और अपनी जेबों में भरने का काम किया है. बीजेपी व विपक्ष के लोग सिर्फ काम में अडंगा लगाते हैं. झारखंड में स्थापित सभी निजी और सरकारी फैक्टिरियों में 75 प्रतिशत स्थानीय लोगों को रोजगार देने के लिए कानून बना दिया गया है. इन कंपनियों में 40 हजार से कम तनख्वाह पानेवाले सभी लोग स्थानीय बहाल होंगे. इस कार्यक्रम में बड़कागांव विधायक अंबा प्रसाद, बरही विधायक उमाशंकर अकेला, बरकट्ठा विधायक अमित कुमार यादव, मुख्यमंत्री के सचिव विनय चौबे, आयुक्त सुमन कैथरीन किस्पोट्टा, डीआईजी नरेंद्र सिंह, उपायुक्त नैंसी सहाय समेत जिले के अधिकारी उपस्थित थे.

केंद्र सरकार नहीं दे रही बकाया पैसे

सीएम हेमंत सोरेन ने कहा कि केंद्र सरकार एक लाख 36 हजार करोड़ रुपए बकाया राज्य को नहीं दे रही है. केंद्र सरकार एक लाख 36 हजार करोड़ झारखंड सरकार को नहीं दे रही है. केंद्र का यह पैसा राज्य सरकार को मिल जाए तो हम दस लाख शिक्षित युवकों को आत्मनिर्भर व स्वरोजगार क लिए दस-दस लाख रुपये का ऋण देंगे. रसोई गैस सिलिंडर 500 रुपये में देंगे. किसानों, बेरोजगारों, महिलाओं, छात्रों को बड़े पैमाने पर सरकार मदद करती. अभी राज्य सरकार सभी 60 वर्ष पूरा करनेवाले महिला-पुरुष को पेंशन दे रही है. तीन कमरोंवाला अबुआ आवाास योजना का लाभ मिल रहा है. विद्यार्थियों को पढ़ाई के लिए साइकिल, छात्रवृति और उच्च शिक्षा के लिए गुरुजी क्रेडिट कार्ड दे रही है. गांव से पंचायत, प्रखंड और जिला मुख्यालय तक लोग पहुंच सके इसके लिए गाड़ी योजना के तहत बसें चलायी जाएंगी. इसमें विद्यार्थियों, झारखंड आंदोलनकारियों की यात्रा नि:शुल्क होगी.

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सरकार आपके द्वार कार्यक्रम का तीसरा चरण

मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा कि सरकार बनने के बाद आपकी योजना, आपकी सरकार, आपके द्वार कार्यक्रम का यह तीसरा चरण है. पहले चरण में 35 लाख आवेदन, दूसरे चरण में 55 लाख आवेदन इन शिविरों से आये थे. इससे पता चलता है कि डबल इंजन की सरकार ने केंद्र और एयर कंडीशन कमरों से शाासन किया. झारखंड पिछड़ा राज्य नहीं है. पिछड़ा राज्य बनाया गया है. राज्य के अधिकारियों, कर्मचारियों को अपनी सेवा में लगाया. हमारी गठबंधन की सरकार ने गांव-गांव से सरकार चलने की व्यवस्था की है. प्रखंड के अधिकारी और कर्मचारी कंप्यूटर और प्रिंटर लेकर पंचायत में शिविर लगा रहे हैं. झारखंड के लोगों के लिए पंचायतों में शिविर लगाकर अवसर उपलब्ध कराया है. अब आपकी बारी है कि आप इन योजनाओं का लाभ अपने घरों तक ले जायेंगे. मुख्यमंत्री ने कहा कि युवा अब महाजनों के यहां ड्राइवर की नौकरी के बजाय खुद की गाड़ी चलाकर मालिक बनें. ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूत करने के लिए पशुपालक बनकर रोजगार करें. दूसरे राज्यों से अंडा, मछली, बकरी, मुर्गा राज्य में नहीं आये. यहां के लोग इनका कारोबार कर दूसरे राज्यों तक भेजें. राज्य की मुख्य ताकत गांव हैं. हर घर में रहनेवाले लोगों तक मुस्कान पहुंचाना है.

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हेमंत सरकार ने चार साल में विकास किया

ग्रामीण विकास मंत्री आलमगीर आलम ने कहा कि हेमंत सोरेन की सरकार ने चार साल में जो विकास के काम किए हैं. पिछले सरकारों ने 20 वर्षों में नहीं किया. मुख्यमंत्री रोजगार सृजन योजना के तहत बड़े पैमाने पर रोजगार के लिए लोगों को संसाधन उपलब्ध कराये जा रहे हैं. महिलाएं ट्रैक्टर लेकर खेतीबारी के कार्यों से आत्मनिर्भर बनने का प्रयास कर रही हैं. सरकार की सभी योजनाओं का लाभ किसान, मजदूर, छात्रों को मिल रहा है.

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राज्य के श्रमिक गुजरात और पंजाब नहीं जाएंगे

श्रम, रोजगार एवं प्रशिक्षण विभाग के मंत्री सत्यानंद भोक्ता ने कहा कि राज्य के श्रमिक अब गुजरात और पंजाब जाने के बजाय स्थानीय रोजगार को महत्व दे रहे हैं. मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के कार्यकाल में शिक्षक, पंचायत सचिव, जेपीएससी समेत अन्य विभागों में बड़े पैमाने पर बहाली की गयी. सेविका, सहायिका, पारा शिक्षक और अन्य विभाग के लोगों की समस्याओं का समाधान हुआ है.

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