सासाराम में अपना इलाज कराने बच्चे के साथ पहुंचा जख्मी बंदर, डॉक्टर ने हनुमान जानकर किया उपचार
सासाराम में एक बंदर अपने बच्चे के साथ खुद का इलाज करवाने पहुंचा निजी अस्पताल. इलाज करने वाले डॉक्टर एस एम अहमद खुद को सौभाग्यशाली समझ रहे है की हनुमान जी खुद चलकर इनके पास पहुंचे.
बिहार के सासाराम में एक जंगली बंदर जख्मी हालत में अपने बच्चे के साथ इलाज कराने के लिए निजी अस्पताल पहुंच गई. उसके सर पर चोट लगी थी. हकीम ने भी वहां बंदर को हनुमान समझकर उसका इलाज कर दिया. जिसके बाद कुछ देर के लिए बंदर क्लिनिक के बेड पर लेट गया. इसका वीडियो भी अब वायरल हो रहा है और लोगों के बीच चर्चा का विषय बना हुआ है.
जख्मी बंदर पहुंचा क्लिनिक
दरअसल सासाराम के सजुमा मुहल्ला के हकीम एस एम अहमद ने रोज़ की तरह अपने क्लिनिक में मौजूद थे. उसी वक्त एक जंगली बंदर अपने बच्चे के साथ अचानक उनके क्लिनिक में पहुंच गया. बंदर जब क्लिनिक में पहुंचा तो वह जख्मी हालत में था और उसके साथ उसका बच्चा भी था. बंदर के अचानक क्लिनिक में आने से हकीम भी थोड़े हड़बड़ा से गए. लेकिन बाद में उन्होंने बंदर के कष्ट को समझते हुए उसका इलाज किया.
सासाराम में जब एक बंदर अपने बच्चे के साथ खुद का इलाज़ करवाने पहुंचा निजी अस्पताल। इलाज़ करने वाले डॉक्टर एस एम अहमद खुद को सौभाग्यशाली समझ रहे है की हनुमान जी खुद चलकर इनके पास पहुंचे pic.twitter.com/0NPrAtV6NU
— Rajesh Kumar Ojha (@RajeshK_Ojha) June 8, 2022
डॉक्टर को घूरता रहा डॉक्टर को
इस संबंध में डॉक्टर एस एम अहमद ने बताया की यह बंदर जंगल से भटकते हुए शहर में पहुंच गया था. उन्होंने सम्भावना जताई की जंगल से आए इस बंदर को बच्चों ने शायद इसे पत्थर मारा होगा जिससे यह जख्मी हो गया और इसी वजह से बंदर डर कर क्लिनिक में आ गया होगा. उन्होंने बताया की जख्मी बंदर के साथ उसका बच्चा भी था. उसके बाद कुछ देर तक बंदर क्लिनिक में बैठकर डॉक्टर को घूरता रहा.
वीडियो वायरल
डॉक्टर ने बताया की बंदर ने अपनी भाषा में कुछ बोला तो वो वह बंदर के नजदीक पहुंचे और उसका इलाज शुरू किया. इसी बीच क्लिनिक में पहुंचे एक मरीज ने डॉक्टर का वीडियो बनाकर सोशल मीडिया पर वायरल कर दिया. जिसके बाद से यह डॉक्टर और वीडियो इलाके में चर्चा का विषय बना हुआ है.
हनुमान समझ किया इलाज
वहीं इलाज करने वाला डॉक्टर एस एम अहमद ने कहा कि वह बंदर नहीं बल्कि हनुमान थे जिनका इलाज करके मुझे सौभाग्य प्राप्त हुआ है. उन्होंने कहा की मैं सौभाग्यशाली हूँ की हनुमान जी खुद चल कर मेरे पास इलाज कराने के लिए आए.
इनपुट- दया तिवारी