FIPRESCI: सत्यजीत रे की ‘पाथेर पांचाली’ सर्वश्रेष्ठ भारतीय फिल्म घोषित, प्यासा और शोले भी लिस्ट में

एफआईपीआरईएससीआई-भारत की ओर से जारी प्रेस विज्ञप्ति के मुताबिक मतदान गुप्त रूप से कराया गया, जिसमें 30 सदस्य शामिल थे. यह फिल्म बिभूतिभूषण बंदोपाध्याय लिखित वर्ष 1929 के बंगाली उपन्यास पर आधारित है जिसका समान नाम ‘पाथेर पांचाली' है.

By Budhmani Minj | October 22, 2022 6:43 AM

महान फिल्म निर्माता सत्यजीत रे की फीचर फिल्म ‘पाथेर पांचाली’ को इंटरनेशनल फेडरेशन ऑफ फिल्म क्रिटिक्स (FIPRESCI) ने सर्वकालीन सर्वश्रेष्ठ भारतीय फिल्म घोषित किया है. भारतीय सिनेमा के इतिहास में 1955 की इस फिल्म ने शीर्ष 10 फिल्मो में प्रथम स्थान हासलि किया, जिसका ऐलान एफआईपीआरईएससीआई की ओर से कराये गये मतदान के बाद किया गया.

बंगाली उपन्यास पर आधारित है ‘पाथेर पांचाली’

एफआईपीआरईएससीआई-भारत की ओर से जारी प्रेस विज्ञप्ति के मुताबिक मतदान गुप्त रूप से कराया गया, जिसमें 30 सदस्य शामिल थे. यह फिल्म बिभूतिभूषण बंदोपाध्याय लिखित वर्ष 1929 के बंगाली उपन्यास पर आधारित है जिसका समान नाम ‘पाथेर पांचाली’ है. यह रे के निर्देशन में बनी पहली फिल्म थी. इसमें सुबीर बनर्जी, कानू बनर्जी, करुणा बनर्जी, उमा दासगुप्ता, पिनाकी सेनगुप्ता और चुनिबाला देवी ने अभिनय किया था.


लिस्ट में इन फिल्मों का नाम भी शामिल

इस लिस्ट में ऋत्विक घटक की वर्ष 1960 की बंगाली ड्रामा फिल्म ‘मेघे ढाका तारा’, मृणाल सेन की 1969 में बनी हिंदी ड्रामा फिल्म ‘भुवन सोम’, अडूर गोपालकृष्णन की 1981 में बनी मलयालम ड्रामा फिल्म ‘एलिप्पाथायम’, गिरीश कासरवल्ली की 1977 की कन्नड़ फिल्म ‘घटाश्रद्धा’, एमएस सथ्यू की 1973 की हिंदी फिल्म ‘गर्म हवा’, सत्यजीत रे की 1964 की बंगाली फिल्म ‘चारुलता’, श्याम बेनेगल की 1974 की हिंदी फिल्म ‘अंकुर’, गुरु दत्त की वर्ष 1954 की हिंदी फिल्म ‘प्यासा’ और रमेश सिप्पी द्वारा निर्देशित 1975 की ब्लॉक बस्टर हिंदी फिल्म ‘शोले’ शामिल है.

1930 में हुई थी FIPRESCI की स्थापना

गौरतलब है कि, FIPRESCI की स्थापना 1930 में हुई थी. यह वियना इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल, टोरंटो इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल, कान्स फिल्म फेस्टिवल, वेनिस फिल्म फेस्टिवल, वारसॉ फिल्म फेस्टिवल और इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल जैसे फिल्म समारोहों में पुरस्कार प्रदान करता है. इसमें किसी भी तमिल भाषा की फिल्म को शीर्ष 10 में स्थान नहीं मिला, जिसमें पांच हिंदी फिल्में, तीन बंगाली फिल्में और मलयालम और कन्नड़ भाषा की एक-एक फिल्म शामिल है.

पीटीआई भाषा से इनपुट

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