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Sawan 2022: सोमवार को नंदन पहाड़ के पार तक शिवभक्तों की कतार, शीघ्रदर्शनम सुविधा व अरघा के बारे में जानें

श्रावणी मेला 2022 : सोमवारी पूजन के लिए देवघर मंदिर में ढाइ लाख से अधिक कांवरियों का हुजूम बाबा मंदिर पहुंचा. भक्तों की बेहद लंबी कतार लग गयी. दोपहर तीन बजे से शीघ्र दर्शनम व्यवस्था भी प्रारंभ किया गया.

By Prabhat Khabar News Desk | August 2, 2022 4:14 PM
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श्रावणी मेला 2022 (Shravani Mela) के दौरान बाबाधाम देवघर जाने वाले श्रद्धालुओं का तांता लगा हुआ है. दो साल कोरोनाकाल के बाद इसबार लगे सावन मेला के सोमवारी में जलार्पण करने का उत्साह कांवरियों के अंदर कुछ ऐसा है कि कई किलोमीटर तक कांवरिये कतार में लगे रहते हैं. इस सोमवारी 1 अगस्त को शाम सात बजे तक ही 2.5 लाख से अधिक कांवरियों ने जलार्पण कर लिया था.

नंदन पहाड़ के पार पहुंचा कतार

तीसरी सोमवारी को बाबा मंदिर गेरुआ वस्त्रधारी कांवरियों से पटा रहा. वहीं, रविवार की देर रात तक जलार्पण करने आये कांवरियों की कतार नंदन पहाड़ के पार तक पहुंच गयी थी. कतार में पूरी रात बोलबम के जयकारे लगते रहे. वहीं, दिन भर पूरा कांवरिया पथ भक्तों से पटा रहा. कांवरिया पथ में भीड़ के कारण लोगों को पैदल चलने में भी काफी परेशानी हो रही थी. शाम सात बजे तक करीब 2.50 लाख कांवरियों ने जलार्पण कर मंगलकामना की.

सरदार पंडा ने की सरदारी पूजा

सोमवार को अहले सुबह मां काली पूजा के बाद सरदार पंडा श्रीश्री गुलाब नंद ओझा ने सरदारी पूजा प्रारंभ की. इसके बाद चार बजे से अरघा के माध्यम से आम कांवरियों का जलार्पण शुरू कराया गया. जलार्पण प्रारंभ होते ही कतार बोल बम…, हर हर महादेव… और जय शिव… के जयघोष से गुंजायमान हो गया.

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दोपहर बाद भक्तों की तादाद में आयी कमी

दिन चढ़ने के साथ ही भीड़ में कमी होने लगी. सुबह आठ बजे ही कतार तीन किमी दूर तक सिमट गयी. कांवरियों को पूरे दिन तक बीएड कॉलेज से तिवारी चौक होते हुए मंदिर भेजने की व्यवस्था जारी रही. कम भीड़ को देखते हुए पंडा धर्मरक्षिणी सभा एवं मंदिर प्रशासन आपस में बात कर दोपहर तीन बजे से शीघ्रदर्शनम की व्यवस्था शुरू कर दी गयी.

बाह्य अरघा में भी भारी संख्या में हुआ जलार्पण

मुख्य अरघा के माध्यम से जलार्पण की कतार बीएड कॉलेज से संचालित हो रही थी. दूसरी ओर बाह्य अरघा से भी काफी श्रद्धालुओं ने जलार्पण किया. बाह्य जलार्पण के लिए भी भक्तों की कतार मंदिर के बाहर तक चली गयी थी.

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