Jharkhand News: मजदूर नेता रमेश विश्वकर्मा हत्या मामले की SIT करेगी जांच, दहशत में रजरप्पा के लोग

राष्ट्रीय कोयला मजदूर यूनियन के रजरप्पा क्षेत्रीय सचिव रमेश विश्वकर्मा की हत्या मामले की जांच SIT करेगी. इसको लेकर पुलिस जांच पड़ताल में जुट गयी है. वहीं, इस हत्या के बाद पूरे कोयलांचल क्षेत्र के लोग हतप्रभ हैं. इस घटना के बाद रजरप्पा कॉलोनी क्षेत्र के लोग दहशत के साये में रहे.

By Samir Ranjan | January 9, 2023 11:18 AM
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Jharkhand News: राष्ट्रीय कोयला मजदूर यूनियन के रजरप्पा क्षेत्रीय सचिव रमेश विश्वकर्मा की हत्या के बाद पूरे कोयलांचल क्षेत्र के लोग हतप्रभ है. घटना के दूसरे दिन रजरप्पा कॉलोनी क्षेत्र के लोग दहशत के साये में रहे. इस क्षेत्र में दिनभर दिन इस हत्या की चर्चा होते रही. लोगों का कहना था कि कार्यालय में घुस र इतने लोगों के बीच अपराधी इनकी हत्या करके निकल गये. यह चौंकाने वाली बात है. कोयलांचल क्षेत्र के लोगों का कहना है कि मुखर होकर बोलने वाले नेता रमेश विश्वकर्मा हमेशा के लिए खामोश हो गये. लोगों का यह भी कहना था कि रमेश विश्वकर्मा हमेशा मजदूरों की लड़ाई लड़ी. भ्रष्टाचार के खिलाफ हमेशा लड़ाई लड़ते रहे. वे पूरे क्षेत्र में संघर्षशील नेता के रूप में जाने जाते थे. बताते चले कि रमेश विश्वकर्मा मूलत: पलामू जिला के रेहला थाना अंतर्गत सिगसिगी गांव के रहने वाले थे. रजरप्पा प्रोजेक्ट में सीनियर डंपर ऑपरेटर के पद पर कार्यरत थे. लेकिन, फिलहाल बर्खास्त होने के बाद इनका मामला न्यायालय में चल रहा है. वे अपने पीछे पत्नी, दो पुत्र, एक पुत्री समेत भरा पूरा परिवार छोड़ गये.

शव आते ही दहाड़ मार रोने लगे परिजन

पोस्टमार्टम के बाद रमेश विश्वकर्मा का शव जैसे ही रजरप्पा प्रोजेक्ट स्थित क्वार्टर संख्या बी-22/32 पहुंचा. वैसे ही इनकी पत्नी, पुत्री, दोनों पुत्र समेत पूरे परिवार के लोग दहाड़ मार कर रोने लगे. वहीं आस-पास के लोगों की भी आंखें नम हो गयी. कई मजदूर भी रो पड़े.

अधिकांश लोगों को दूसरे दिन हुई घटना की जानकारी

शनिवार रात यूनियन कार्यालय में जब अपराधियों द्वारा रमेश विश्वकर्मा की हत्या की गयी. उस समय यहां बिजली कटी हुई थी. साथ ही ठंड के कारण भी लोग अपने-अपने क्वार्टर में थे. रात आठ-साढ़े आठ बजे के बीच घटना होने के कारण अधिकांश लोगों को पता नहीं चल पाया. दूसरे दिन रविवार सुबह यह घटना क्षेत्र में आग की तरह फैल गयी.

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बड़ा पुत्र ने दी मुखाग्नि

रमेश विश्वकर्मा के शव का अंतिम संस्कार वामनधारा स्थित भैरवी नदी के समीप श्मशान घाट में किया गया. जहां इनके बड़े पुत्र आलोक कुमार ने मुखाग्नि दी. इनके अंतिम संस्कार में कांग्रेस के प्रदेश कार्यकारी अध्यक्ष शहजादा अनवर, जिलाध्यक्ष मुन्ना पासवान, बजरंग महतो, चितरंजन दास चौधरी, चंद्रशेखर पटवा, राजेंद्रनाथ चौधरी, अख्तर आजाद, जगन रविदास, महेंद्र मिस्त्री, संतोष महतो, विशाल कुमार, संतोष रजक, शशिकांत सिंह सहित बड़ी संख्या में लोग मौजूद थे.

जांच के लिए एसआईटी का गठन : एसडीपीओ

रमेश विश्वकर्मा की हत्या मामले की जांच को लेकर एसपी के निर्देश पर एसआईटी टीम का गठन किया गया है. जिसमें एसडीपीओ किशोर कुमार रजक के नेतृत्व में कई अधिकारियों ने अलग-अलग बिंदुओं पर अनुसंधान शुरू कर दिया गया. पुलिस अधिकारियों द्वारा घटना के वक्त मौजूद लोगों से पूछताछ की गयी. साथ ही जिस कार्यालय में विश्वकर्मा की हत्या हुई. वहां पहुंच कर अधिकारियों ने कई सुराग तलाशा. साथ ही कार्यालय से सटे कई क्वार्टर में रह रहे लोगों से पूछताछ की. इस संदर्भ में एसडीपीओ श्री रजक ने बताया कि पुलिस कप्तान के निर्देश पर टीम का गठन किया गया है. पुलिस सभी पहलुओं पर गंभीरता से जांच की जा रही है. उन्होंने बताता की मृतक के परिजनों द्वारा अज्ञात लोगों पर हत्या करने का मामला दर्ज कराया गया है. उन्होंने यह भी बताया कि अबतक किसी की गिरफ्तारी नहीं हुई है. कुछ लोगों से पूछताछ की जा रही है.

जीवनभर मजदूरों के लिए समर्पित रहे : शहजादा

कांग्रेस के प्रदेश कार्यकारी अध्यक्ष शहजादा अनवर ने कहा कि यूनियन नेता रमेश विश्वकर्मा अपने जीवनभर मजदूरों के लिए समर्पित रहे. उन्होंने हमेशा मजदूरों के हित में कार्य किया. उन्होंने कहा कि वे हमेशा अराजकता और अव्यवस्था के खिलाफ आवाज उठाते रहे. श्री अनवर ने कहा कि इस मामले की जांच की मांग डीजीपी से की जायेगी.

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मजदूरों की आवाज को दबाने की कोशिश : केंद्रीय सचिव

राष्ट्रीय कोयला मजदूर यूनियन के केंद्रीय सचिव ललन प्रसाद सिंह अपने कार्यकर्ताओं के साथ रजरप्पा पहुंचे. उन्होंने मृतक के परिवार से मिलकर परिजनों को ढांढस बंधाया. उन्होंने कहा कि रमेश विश्वकर्मा की किसी के साथ व्यक्तिगत लड़ाई नहीं थी. वे हमेशा मजदूर हित एवं भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ाई लड़ते थे. इनकी निर्मम हत्या कर मदजूरों के आवाज को दबाने की कोशिश की गयी है. उन्होंने कहा कि इतनी बड़ी घटना के बाद भी प्रबंधन के कोई अधिकारी नहीं पहुंचे. प्रबंधन का रवैया उदासीन रहा. उन्होंने प्रशासन से मांग किया कि हत्यारों को पुलिस अविलंब गिरफ्तार करें. ऐसा नहीं होने पर आरकेएमयू आंदोलन करेगी. मौके पर आरकेएमयू के भीम मेहता, राघव चौबे, सुनील कुमार सिंह, इकबाल सिंह, विनोद सिंह, अमरजीत सिंह, त्रिवेणी महतो, अजीत कुमार सहित कई मौजूद थे.

भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज उठाने वाले का अंत : पटवा

झारखंड आंदोलनकारी नेता चंद्रशेखर पटवा ने कहा कि रमेश विश्वकर्मा हमेशा भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज उठाते थे. इनकी हत्या होने से इस क्षेत्र में भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज उठाने वाले का अंत हो गया. उन्होंने पुलिस से इस मामले की खुलासा करने की मांग की है.

दोषियों पर हो कड़ी कार्रवाई : बद्री विश्वकर्मा

विश्वकर्मा समाज के जिलाध्यक्ष बद्री विश्वकर्मा ने इस निर्मम हत्या घटना की निंदा की. उन्होंने कहा कि पुलिस इस मामले की खुलासा करें और दोषियों पर कड़ी कार्रवाई करें.

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क्या है मामला

बता दें कि आरकेएमयू के क्षेत्रीय सचिव रमेश विश्वकर्मा शनिवार की रात अपने कार्यालय में धनेश्वर राम, चरित्र राम, नंदकिशोर सिंह, केवल विजय के साथ बैठ कर कुछ कार्य कर रहे थे. इस बीच चेहरा ढके हुए दो अज्ञात अपराधी कार्यालय घुसे और इन चारों के दूसरे कमरे में बंद कर दिया. इसके बाद चाकू से प्रहार कर रमेश विश्वकर्मा की हत्या कर दी.

रिपोर्ट : सुरेंद्र कुमार/शंकर पोद्दार, रजरप्पा, रामगढ़.

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