बंगाल में बनी मुस्कुराते हुए सुशांत सिंह राजपूत की वैक्स स्टैच्यू, जानें खास बातें
Bengal news, Asansol news : आसनसोल स्थित मोहिशिला इलाके के निवासी एवं मूर्तिकार सुशांत रॉय (65 वर्षीय) ने दिवंगत बॉलीवुड अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत (Sushant Singh Rajput) के मोम का स्टैच्यू (Wax statue) तैयार कर उनके प्रति अपनी भावना को अभिव्यक्त किया. श्री रॉय ने उनकी प्रतिमा का विमोचन कर सबको हैरान कर दिया. 3 फीट की दूरी से भी ऐसा नहीं लगा कि यह कोई स्टैचू है. मानों अभी बोल पड़ेगा. उनके इस हुनर की पूरे देश में चर्चा है. देश के विभिन्न म्यूजियम में उनके बनाये पुतले विराजमान हैं. उन्होंने देश- विदेश के 60 मशहूर हस्तियों के माेम की स्टैचू बनाया है, जो विभिन्न म्यूजियम में रखे गये हैं.
Bengal news, Asansol news : आसनसोल (पश्चिम बंगाल) : आसनसोल स्थित मोहिशिला इलाके के निवासी एवं मूर्तिकार सुशांत रॉय (65 वर्षीय) ने दिवंगत बॉलीवुड अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत (Sushant Singh Rajput) के मोम का स्टैच्यू (Wax statue) तैयार कर उनके प्रति अपनी भावना को अभिव्यक्त किया. श्री रॉय ने उनकी प्रतिमा का विमोचन कर सबको हैरान कर दिया. 3 फीट की दूरी से भी ऐसा नहीं लगा कि यह कोई स्टैचू है. मानों अभी बोल पड़ेगा. उनके इस हुनर की पूरे देश में चर्चा है. देश के विभिन्न म्यूजियम में उनके बनाये पुतले विराजमान हैं. उन्होंने देश- विदेश के 60 मशहूर हस्तियों के माेम की स्टैचू बनाया है, जो विभिन्न म्यूजियम में रखे गये हैं.
दिवंगत अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत का वैक्स स्टैच्यू बनाने के विषय में श्री रॉय ने कहा कि मशहूर क्रिकेटर महेंद्र सिंह धोनी के ऊपर बनी फिल्म में सुशांत ने धोनी का किरदार जिस प्रकार निभाया था वह उनके दिल को छू गया. फिल्म में कभी लगा ही नहीं कि सुशांत धोनी नहीं है. उस समय ही उनका स्टैचू बनाने का निर्णय लिया था. इस प्रकार उनका निधन हो जायेगा यह कल्पना भी नहीं की थी. उन्हें अपनी श्रद्धांजलि देने और हमेशा लोगों के दिलों में याद को ताजा रखने के लिए सुशांत के वैक्स स्टैच्यू का कार्य आरंभ किया. जिसका विमोचन किया गया. यह किस म्यूजियम में रखा जायेगा इसका निर्णय अभी नहीं लिया गया है.
वर्ष 1980 में इंडियन आर्ट्स कॉलेज कोलकाता (रवींद्रभारती यूनिवर्सिटी) से मॉर्डन आर्ट्स इन सक्लचर विषय में गोल्ड मेडल के साथ मास्टरडिग्री की पढ़ाई पूरी करने के उपरांत सुशांत रॉय मूर्ति बनाने को अपना पेशा बना लिया. फाइवर, कांस्य, कास्ट आयरन, पत्थर आदि से मूर्ति बनाते हुए वर्ष 2001 में उन्होंने पहली बार अमिताभ बच्चन के मोम का हाफ स्टैच्यू बनाये थे, जिसको लेकर वे काफी चर्चा में रहे.
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वर्ष 2002 में उन्होंने अमिताभ बच्चन की फूल स्टैच्यू बनाये और उनके 60वें जन्मदिन पर मुंबई में जाकर उन्हें उपहार स्वरूप दिया था. उसके बाद से ही श्री रॉय एक के बाद एक मशहूर हस्तियों के मोम की स्टैच्यू बनाने लगे. 2003 में बंगाल के तत्कालीन मुख्यमंत्री ज्योति बसु (Jyoti Basu) का स्टैच्यू बनाने के बाद सरकार से उन्हें काफी सम्मान मिला.
उनकी कलाकृतियों में डॉ अब्दुल कलाम आजाद, प्रणव मुखर्जी, माराडोना, सचिन तेंदुलकर, सौरव गांगुली, कपिलदेव, विराट कोहली, हरिवंशराय बच्चन, नरेंद्र मोदी, सत्यजीत राय, ममता बनर्जी, मिथुन चक्रवर्ती आदि हस्तियों के मोम की स्टैच्यू शामिल है. देश के विभिन्न म्यूजियम में उनके यह स्टैच्यू स्थापित है. कोलकाता न्यूटाउन मदर वैक्स म्यूजियम में सभी मोम की कलाकृतिया श्री रॉय की ही हैं. आसनसोल में भी वे अपनी कलाकृतियों के लिए एक म्यूजियम बना रहे हैं.
Posted By : Samir Ranjan.