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केरल में फंसे हैं पश्चिम बंगाल के हजारों लोग, नहीं मिल रहा भोजन-पानी

कोरोना वायरस के लगातार बढ़ते प्रकोप को देखते हुए केंद्र और राज्य सरकारों की ओर से पूरे देश में लॉकडाउन घोषित कर दिये जाने के बाद विभिन्न राज्यों के लोग अलग-अलग क्षेत्रों में फंसे हुए हैं. ऐसा एक वीडियो केरल से सामने आया है.

कोलकाता : कोरोना वायरस के लगातार बढ़ते प्रकोप को देखते हुए केंद्र और राज्य सरकारों की ओर से पूरे देश में लॉकडाउन घोषित कर दिये जाने के बाद विभिन्न राज्यों के लोग अलग-अलग क्षेत्रों में फंसे हुए हैं. ऐसा एक वीडियो केरल से सामने आया है. तिरुवनंतपुरम में बंगाल के सैकड़ों लोगों ने वीडियो बनाया है, जिसमें वे दावा कर रहे हैं कि उनके पास रहने और खाने की व्यवस्था नहीं है. भूखे रह रहे हैं. लोगों ने देश और राज्य की सरकारों से अपील की है कि इन्हें घर लौटने की व्यवस्था करायी जाये. बताया गया है कि ये सभी लोग तिरुअनंतपुरम के एक मंदिर में रुके हुए हैं.

घर लौटने की व्यवस्था करने अथवा रहने खाने की व्यवस्था करने की मांग पर इन लोगों ने‌ रैली निकालने की कोशिश की थी, लेकिन दावा है कि वहां की पुलिस ने उन्हें मारपीट कर वापस खदेड़ दिया है. वीडियो जारी करने वाला शख्स यह कहते हुए सुना जा सकता है कि इनके पास रहने के लिए जगह नहीं है, खाने के लिए भोजन नहीं, यहां तक कि पीने के लिए पानी भी नहीं है. लोगों के पास रुपये खत्म हैं. घर लौटना चाहते हैं लेकिन कोई व्यवस्था नहीं है. पुलिस बाहर निकलने पर मार रही है.

वीडियो में एक दूसरे का परिचय करा रहे लोग अपने आपको मालदा, मुर्शिदाबाद जिलों के निवासी बता रहे हैं. मुर्शिदाबाद के सांसद और लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी ने इसका संज्ञान लिया है. उन्होंने कहा है कि वह स्थानीय सांसद से बातचीत कर हालात को संभालने की कोशिश कर रहे हैं. इसके साथ ही उन्होंने राज्य और केंद्र की सरकारों से इन लोगों के लिए पुख्ता व्यवस्थाएं करने की अपील भी की है.

सामाजिक दूरी बना कर करें खरीदारी

मुख्यमंत्री ने बाजारों में खरीदारी करने वाले लोगों से एक दूसरे के साथ दूरी कायम रखने और आतंकित न होने के लिए कहा है. सोसाइटी में रहने वाले लोगों से लाचार वृद्धों या बीमारों की मदद करने तथा किसी को बुखार होने पर आतंकित न होने और सामाजिक बहिष्कार करने की बजाय पुलिस को सूचना देन को कहा. पुलिस पीड़ित का इलाज करायेगी. मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि आगामी 31 मार्च को स्थिति की पुनर्समीक्षा की जायेगी और जरूरत पड़ने पर लोगों को और छूट दी जायेगी. मुख्यमंत्री ने बताया कि सामाजिक सुरक्षा के तहत समाज के विभिन्न वर्गों को पेंशन राशि प्रदान की जाती है. दो महीने की राशि एक साथ प्रदान की जायेगी.

अखबार वितरकों को कार्ड दिये जायेंगे

मुख्यमंत्री ने कहा कि घर-घर अखबार वितरित करने वाले हॉकरों को कार्ड दिये जायेंगे. मुख्यमंत्री ने स्पष्ट किया कि चिकित्सकों, नर्सों आदि को घरों से निकालने की शिकायतों को बर्दाश्त नहीं किया जायेगा. मुख्यमंत्री ने स्टेट इमर्जेंसी रिलीफ फंड बनाये जाने की घोषणा की. जो लोग सामग्री दान करना चाहते हैं वह हेल्थ विभाग के सचिव संजय बंसल को 9051022000 पर संपर्क करके ऐसा कर सकते हैं. स्टेट इमर्जेंसी रिलीफ फंड में जो लोग आर्थिक सहायता करना चाहते हैं वह खाता संख्या: 628005501339, तथा आइएफसी कोड – ICIC0006280 पर अनुदान दे सकते हैं. इसकी विस्तृत जानकारी उन्हें www.wb.gov.in पर हासिल हो सकती है.

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