आसमान में आज रात एक अद्भुत नाजारा देखने को मिलेगा. मीडिया रिपोर्ट के अनुसार आसमान में आज रात एक ब्लास्ट होगा, इस ब्लास्ट से एक सबसे चमकता सितारा आज आसमान से गायब हो जाएगा. हालांकि इस घटना के दौरान रात के समय आकाश में चमकने वाला सबसे बड़ा और सबसे चमकीला सितारा कुछ पलों के लिए गायब होगा. क्षण भर के लिए यह सितारा इसलिए गायब होगा, क्योंकि एक उल्कापिंड उसके सामने से गुजरेगा, इस घटना की वजह से दुनिया एक ऐसे ग्रहण के बारे में जानेगी, जिसके बारे में कभी सुना भी नहीं गया था. बता दें आसमान में यह दुर्लभ नजारा 11 दिसंबर 2023 दिन सोमवार की देर रात से आकाश में दिखना शुरू होगा और मंगलवार को तड़के तक इसे देखा जा सकेगा.
दुर्लभ खगोलीय घटना को मध्य एशिया के ताजिकिस्तान और आर्मेनिया से लेकर तुर्की, ग्रीस, इटली और स्पेन तक, मियामी और फ्लोरिडा कीज और अंत में एक छोटे रास्ते से गुजरते समय मैक्सिको के कुछ हिस्सों में भी इसे देखा जा सकेगा, इस दौरान आपको ग्रहण जैसा नजारा देखने को मिलेगी. वैज्ञानिक इसे ओरायन तारामंडल में एक लाल विशाल सितारे के तौर पर जानते हैं, जो उल्कापिंड इसके सामने से गुजरेगा उसे लियोना कहा जा रहा है. यह मंगल और बृहस्पति के बीच मुख्य उल्कापिंड बेल्ट में धीरे-धीरे घूमने वाली, आयताकार अंतरिक्ष चट्टान है.
यह एक दुर्लभ खगोलीय घटना अंतरिक्ष विज्ञान में रुचि रखने वाले लोगों को आकर्षित किया है. यह घटना वैज्ञानिकों का ध्यान भी अपनी तरफ खींच रहा है, इस सितारा का नाम बेटेल्गेयूज बताया जा रहा है. बेटेल्गेयूज वह सितारा है जो रात में आसमान में सबसे तेज चमकता है, इस सितारे में विस्फोट होने वाला है. यह सुपरनोवा में जाने के लिए तैयार है. वैज्ञानिकों की मानें तो पिछले कुछ समय से इसका व्यवहार काफी अनियमित है. बताया जा रहा है कि इस तारे का व्यास 700 मिलियन मील से ज्यादा है, इसे अपने खास नारंगी रंग के लिए जाना जाता है. खगोल विज्ञानियों ने इसे सबसे बड़े ज्ञात सितारों में से एक माना है.
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इस ग्रहण के जरिए बेटेल्गेयूज और लियोना के बारे में और ज्यादा जानकारी इकट्ठा कर सकते हैं. यह ग्रहण 15 सेकेंड से ज्यादा नहीं होगा, इस साल सितंबर में स्पेन के वैज्ञानिकों की टीम ने अनुमान लगाया था कि उल्कापिंड करीब 34 मील चौड़ा और 80 किलोमीटर लंबा हो सकता है. उल्कापिंड पूरे तारे को गायब कर देगा, जिससे पूर्ण ग्रहण होगा. इसका सिर्फ कुछ हिस्सा ही कवर होगा. अगर यह पूर्ण ग्रहण है, तो वैज्ञानिकों को नहीं मालूम है कि तारा कितने सेकंड में पूरी तरह से गायब होगा. उस स्थिति में तारा 10 सेकेंड में ही पूरी तरह से गायब हो जाएगा.