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राष्ट्रपति शासन से नहीं डरती तृणमूल कांग्रेस, सुब्रत मुखर्जी ने कहा

ममता बनर्जी की पार्टी तृणमूल कांग्रेस ने कहा है कि पश्चिम बंगाल सरकार केंद्र के आदेश पर भारतीय पुलिस सेवा (आइपीएस) के तीन अधिकारियों को प्रतिनियुक्ति पर नहीं भेजेगी. तृणमूल ने राज्य में राष्ट्रपति शासन लगाने के मुद्दे पर कहा कि पार्टी इससे डरती नहीं है.

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 17, 2020 6:41 PM
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कोलकाता : ममता बनर्जी की पार्टी तृणमूल कांग्रेस ने कहा है कि पश्चिम बंगाल सरकार केंद्र के आदेश पर भारतीय पुलिस सेवा (आइपीएस) के तीन अधिकारियों को प्रतिनियुक्ति पर नहीं भेजेगी. तृणमूल ने राज्य में राष्ट्रपति शासन लगाने के मुद्दे पर कहा कि पार्टी इससे डरती नहीं है.

पार्टी के वरिष्ठ नेता और ग्रामीण विकास मंत्री सुब्रत मुखर्जी ने यहां संवाददाता सम्मेलन में कहा कि इस संबंध में केंद्र का आदेश असंवैधानिक है और स्वीकार करने लायक नहीं है. उन्होंने कहा, ‘हम उन्हें प्रतिनियुक्ति पर नहीं भेजेंगे. ज्यादा से ज्यादा यही होगा कि केंद्र सरकार राष्ट्रपति शासन लगा देगी. हम इसका स्वागत करते हैं. यदि केंद्र के पास यह करने की शक्ति है, तो वह ऐसा कर सकती है.’

भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा के काफिले पर 10 दिसंबर को हुए हमले के बाद पश्चिम बंगाल कैडर के तीन आइपीएस अधिकारियों को केंद्र सरकार ने प्रतिनियुक्ति पर भेज दिया है. राजीव मिश्रा (एडीजी, दक्षिण बंगाल) को आइटीबीपी, प्रवीण त्रिपाठी (डीआइजी, प्रेसिडेंसी रेंज) को सीमा सुरक्षा बल तथा भोलानाथ पांडेय (एसपी, डायमंड हार्बर) को पुलिस अनुसंधान ब्यूरो में भेजा गया है.

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श्री मुखर्जी ने कहा, ‘यह असंवैधानिक है और इसे स्वीकार नहीं किया जायेगा. हम केंद्र के हस्तक्षेप को अनुमति नहीं देंगे.’ उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार आइपीएस कैडर नियमावली 1954 के कुछ प्रावधानों का गलत इस्तेमाल कर देश के संघीय ढांचे को बर्बाद करने का प्रयास कर रही है.

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Posted By : Mithilesh Jha

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