उमेशपाल हत्याकांड : अशरफ को वीआइपी सुविधा देने के लिए बरेली जेल अधीक्षक निलंबित, प्रयागराज पुलिस कर रही कैंप
माफिया अतीक अहमद का छोटा भाई पूर्व विधायक खालिद उर्फ अशरफ बरेली जिला जेल (केंद्रीय कारागार -2) में 36 महीने से बंद है. इस दौरान जेल अधिकारियों ने उसको सुविधा उपलब्ध कराने में कोई कमी नहीं रखी. जांच में इस बात का खुलासा होने पर कार्रवाई शुरू हो गयी है.
बरेली. उत्तर प्रदेश की बरेली जिला जेल (केंद्रीय कारागार -2) में 36 महीने से बंद माफिया अतीक अहमद के छोटे भाई पूर्व विधायक खालिद अजीम उर्फ अशरफ को वीआईपी सुविधाएं देने के आरोप में शासन ने मंगलवार को जेल अधीक्षक राजीव शुक्ला को निलंबित (सस्पेंड) कर दिया.यह कार्रवाई डीआईजी जेल आरएन पांडे की रिपोर्ट के बाद की गई है.हालांकि, इस मामले में जेल अधीक्षक समेत कई अफसरों से फोन पर जानकारी करने की कोशिश की गई.
डीजी जेल आनंद कुमार की जांच पर हो चुकी है कार्रवाई
इससे पहले बरेली जेल के डिप्टी जेलर (कारापाल) राजीव कुमार मिश्र, उप कारापाल दुर्गेश प्रताप सिंह, जेल बॉर्डर (आरक्षी) ब्रिजवीर सिंह, मनोज गौड़, दानिश मेहंदी, दलपत सिंह को सस्पेंड किया गया था.यह कार्रवाई डीजी जेल आनंद कुमार की जांच के बाद की गई थी, जबकि आरक्षी शिव हरि अवस्थी, और वर्तमान में पीलीभीत जेल में तैनात आरक्षी मनोज गौड़ को सस्पेंड कर भेजा जा चुका है.
अशरफ को प्रयागराज जेल ले जाने की चर्चा
जेल में बंद अशरफ को एक बार फिर प्रयागराज ले जाने की चर्चा चल रही है.उनको ले जाने के लिए प्रयागराज पुलिस बरेली में ही ठहरी है.कई बार ले जाने की पहले भी कोशिश की गई थी.इससे पहले अशरफ को 28 मार्च को भारी सुरक्षा बल के साथ प्रयागराज ले जाया गया था.
उमेश पाल हत्याकांड के बाद बढ़ी मुश्किलें
24 फरवरी को प्रयागराज में उमेश पाल की हत्या हो गई थी.इसमें पूर्व सांसद माफिया अतीक अहमद, उसके भाई पूर्व विधायक अशरफ, पत्नी शाइस्ता परवीन, पुत्र असद अली, उमर, शूटर गुलाम, मुस्लिम गुड्डू आदि के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है.दो आरोपियों की पुलिस मुठभेड़ में पुलिस की गोली से मौत हो चुकीं है.इसके साथ ही कई लोग गिरफ्तार हो चुके हैं.
अशरफ के साले सद्दाम की तलाश में दबिश
बरेली जेल में बंद अशरफ के मददगार मेयर का चुनाव लड़ने वाले लल्ला गद्दी को पुलिस जेल भेज चुकी है.मगर, उसका साला सद्दाम फरार है.उसकी तलाश में छापेमारी चल रही है. पुलिस उत्तराखंड से लेकर नेपाल तक दबिश दे चुकीं है.
रिपोर्ट – मुहम्मद साजिद