Gorakhpur News: उच्च न्यायालय के आदेश के अनुपालन और धर्मगुरुओं के साथ बैठक के बाद गोरखपुर में भी धार्मिक स्थलों से स्वेच्छा से लाउडस्पीकर हटाने की प्रक्रिया शुरू हो गयी है. कई धर्म स्थलों में तय मानकों की अवहेलना करते हुए बजाए जाने वाले अवैध लाउडस्पीकर को रोकने के लिए जिले भर में अभियान चलाकर पुलिस और प्रशासन की संयुक्त टीम ने उसे भी उतरवाया है. पुलिस और प्रशासन की टीम ने धर्मगुरुओं को शासन के आदेश के बारे में जानकारी भी दी है. अब धार्मिक स्थलों पर बिना अनुमति के लाउडस्पीकर नहीं लगाया जा सकेंगे.
पुलिस प्रशासन की टीम ने मंदिर और मस्जिदों में जाकर धर्मगुरुओं को आदेश के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि किसी भी धार्मिक स्थल पर एक सीमित ध्वनि में ही लाउडस्पीकर बजाए जा सकेंगे. उन्होंने यह भी बताया कि नए लाउडस्पीकर बिना अनुमति के नहीं लगाए जाएंगे. सरकार की ओर से धार्मिक स्थलों से लाउडस्पीकर हटाए जाने के आदेश के बाद गोरखपुर में लगभग 116 अवैध लाउडस्पीकर उतरवाया गया. आपको बता दें ध्वनि प्रदूषण को लेकर हाईकोर्ट के आदेश के बाद उसके अनुपालन में अपर मुख्य सचिव गृह ने धर्म स्थलों में तय मानकों से अधिक आवाज करने वाले लाउडस्पीकर को हटाने का आदेश जारी किया था.
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आदेश के बाद गोरखपुर में अलग-अलग थाना क्षेत्रों में पुलिस और प्रशासन की टीम ने अवैध लाउडस्पीकर उतरवाया है. अलग-अलग थाना क्षेत्रों में पुलिस के सर्किल ऑफिसर के साथ-साथ थानाध्यक्ष पुलिस फोर्स के साथ प्रशासन के अधिकारी और कर्मचारी मौजूद रहे. मस्जिद के इमाम जियाउल्लाह खान ने मीडिया से बात करते हुए बताया कि हमें कोतवाली थाने पर बुलाया गया. उन्होंने कहा उच्च न्यायालय का आदेश है ध्वनि प्रदूषण को कम करने के लिए मस्जिदों में जो साउंड लगे हैं उनकी संख्या कम कर दी जाए और उनको कम आवाज में बजाया जाए जिससे किसी को ध्वनि प्रदूषण से दिक्कत ना हो.
उन्होंने कहा कि जहां पर दो साउंड या लाउडस्पीकर लगे हुए हैं उसकी संख्या कम करके एक कर दी जाए. जिससे हम धीमी आवाज में आजान लोगों तक पहुंच जाएं. जो शासन का आदेश है हम उसका पालन करेंगे. मीडिया से बात करते हुए उन्होंने कहा कि यह एक धर्म संप्रदाय के लिए नहीं है सभी लोगों के लिए है. मंदिर और मस्जिद दोनों ही जगह से साउंड और लाउडस्पीकर की संख्या कम की गई है. उसे धीमी आवाज में बजाना है, जिससे ध्वनि प्रदूषण ना हो.कोर्ट ने जो आदेश दिया है वह सभी धर्म के धार्मिक स्थलों के लिए है.