Varanasi News: कोरोनाकाल के बाद धीरे-धीरे ही सही लेकिन जिंदगी और बाजार दोनों पटरी पर आते दिख रहे हैं. इसी के साथ-साथ धर्म की नगरी काशी का पर्यटन उद्योग भी पहले से काफी बेहतर हो गया है. इसमें मुख्य भूमिका निभाई है ‘विश्वनाथ कॉरिडोर या विश्वनाथ धाम’ ने. कोरोना महामारी की पहली और दूसरी लहर के कहर के बाद वाराणसी में श्रीकाशी विश्वनाथ धाम का लोकार्पण हुआ. इसके बाद से बाबा विश्वनाथ के धाम में लक्ष्मी की कृपा जमकर बरस रही है. इसका अंदाजा इससे ही लगा सकते हैं कि बाबा के दरबार सिर्फ दो माह में 9.50 करोड़ रुपये चढ़ावा आया है.
काशी विश्वनाथ मंदिर में अप्रैल में 5.50 करोड़ रुपये चढ़ावा के रूप में आया. यह एक माह में चढ़ावे का रिकार्ड है. बता दें कि काशी विश्वनाथ धाम की भव्यता श्रद्धालुओं को आकर्षित कर ही रही है. चढ़ावे में भी दिनों-दिन वृद्धि हो रही है. काशी विश्वनाथ मंदिर के मुख्य कार्यपालक अधिकारी सुनील वर्मा ने बताया कि 13 दिसंबर से जब से काशी विश्वनाथ का उद्घाटन हुआ है, तब से श्रद्धालुओं की संख्या बढ़ने के साथ सुविधाएं भी बढ़ी हैं.
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मंदिर के उद्घाटन के पहले मिलने वाले दान और बाद में लगभग दोगुना का अंतर पाया गया है. इसके साथ ही मंदिर का खर्चा और जिम्मेदारी भी बढ़ गई हैं. खास बात यह है कि वित्तीय वर्ष 2020-21 में मंदिर में 10.50 करोड़ रुपये चढ़ावा आया था. वहीं 2021-22 में जनवरी तक यह आंकड़ा 14 करोड़ तक पहुंचा था. माना जा रहा है इस वित्तीय वर्ष में समग्र रूप से चढ़ावे की राशि दोगुनी हो सकती है. हालांकि इस अवधि में मंदिर प्रशासन ने 13 करोड़ रुपये खर्च भी किए.
श्रद्धालुओं की संख्या बढ़ने से न केवल दान बल्कि पूजन की गतिविधियां भी बढ़ी हैं. श्रद्धालुओं को ऑनलाइन टिकट और पूजा की व्यवस्था भी की गई है. मंदिर में न केवल हुंडी दान बढ़ा है, बल्कि अन्य माध्यमों से भी दान में बढोत्तरी हुई है. अब विकेंड पर भी ज्यादा श्रद्धालु मंदिर में दर्शन के लिए आते हैं. वास्तव में श्रीकाशी विश्वनाथ धाम का नव्य-भव्य स्वरूप सामने आने के बाद से दर्शनार्थियों की संख्या दो गुना से अधिक बढ़ गई है. नव वर्ष के पहले दो दिनों में ही विश्वनाथ धाम आने वालों का आंकड़ा 5.50 लाख की संख्या पार कर गया था. सामान्य दिनों में नित्य जहां 10-15 हजार लोग मंदिर आते थे, अब 30-35 हजार तक आ रहे.
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आनलाइन – 2.24 करोड़
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हुंडी से – 1.24 करोड़
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एटीएम से – 6.28 लाख
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हेल्प डेस्क से – 80 लाख
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मनीआर्डर से – 10 हजार
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चेक से – चार लाख
रिपोर्ट – विपिन कुमार सिंह