चुनाव से पहले कौन गा रहा ममता की बंगाल से विदाई का गीत- पीशी जाओ, जाओ, जाओ, पीशी जाओ…
चुनाव की घोषणा के बाद से ही पार्टियों का प्रचार अभियान तेज हो गया है. ममता बनर्जी की पार्टी तृणमूल कांग्रेस ने ‘बांग्ला निजेर मेये केई चाय’ लांच किया, तो भाजपा ने जनता की ओर से ममता बनर्जी को सत्ता छोड़कर जाने के लिए कहते हुए एक वीडियो जारी कर दिया- पीशी जाओ, जाओ, जाओ, पीशी जाओ.
कोलकाता : सोशल मीडिया के इस जमाने में चुनाव प्रचार के दौरान वीडियो और मीम्स का प्रचलन आम है. लेकिन, बंगाल में दीवाल लेखन से लेकर गीत-संगीत के जरिये अपने विरोधियों को निशाना बनाने की एक समृद्ध परंपरा रही है. बंगाल विधानसभा चुनाव में भी इसका असर दिख रहा है.
चुनाव की घोषणा के बाद से ही पार्टियों का प्रचार अभियान तेज हो गया है. ममता बनर्जी की पार्टी तृणमूल कांग्रेस ने ‘बांग्ला निजेर मेये केई चाय’ लांच किया, तो भाजपा ने जनता की ओर से ममता बनर्जी को सत्ता छोड़कर जाने के लिए कहते हुए एक वीडियो जारी कर दिया- पीशी जाओ, जाओ, जाओ, पीशी जाओ.
सोशल मीडिया पर यह वीडियो वायरल हो गया है. भाजपा ने ममता बनर्जी की तृणमूल कांग्रेस को सत्ता से बेदखल करने के लिए पूरी ताकत लगा दी है. इसलिए जनता को बताया जा रहा है कि किस तरह से ममता बनर्जी की योजनाओं के जरिये लोगों को ठगा गया है. उनकी योजनाओं की कमी लोगों को बतायी जा रही है.
इस वीडियो में जो गीत ‘पीशी जाओ, जाओ, जाओ… पीशी जाओ…’ गाये गये हैं, उसके शब्द तो बांग्ला के हैं, लेकिन धुन कम्युनिस्ट पार्टी से उधार ली गयी है. भाजपा ने खुद ट्वीट करके कहा है कि सरकार के अत्याचार और अन्याय से परेशान लोगों के मन के भाव को व्यक्त करने के लिए इटली की कम्युनिस्ट पार्टी की इस धुन का इस्तेमाल किया जा रहा है.
भाजपा ने इस ट्वीट में आगे कहा है कि हमारी विचारधारा अलग हो सकती है, लेकिन विरोध की भाषा सदैव एक जैसी होती है. सत्ताधारी दल के खिलाफ बनाये गये इस वीडियो में सरकार की विफलताओं को गिनाया गया है. इस वीडियो में दिख रहा है कि लोग एक फुटबॉल (तृणमूल कांग्रेस के चुनाव चिह्न वाला) को किक मार रहे हैं.
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झूठा प्रचार क्यों
बंगाल के प्रतीक के साथ गाना शुरू होता है- ओ जाओ पीशी, जाओ, जाओ, जाओ… बंगाल में सिर्फ दंगाबाजी है. रास्ता बेहाल है, बंगाल में अकाल है. ममता बनर्जी से कहा जा रहा है कि बंगाल में सिर्फ झूठा प्रचार क्यों कर रही हैं. पीशी की सरकार इतनी संवेदनहीन क्यों है. वीडियो में एक व्यक्ति जोड़ा फूल और घास को लगातार उखाड़-उखाड़कर फेंक रहा है.
आगे कहा गया है कि न तो बंगाल में कोई उद्योग है, न युवाओं के लिए नौकरी है. इसलिए पीशी को चले जाना चाहिए. पीशी (बुआ) आप चली जाइए. पीशी आप बंगाल को धोखा दे रही हैं. आपका ‘स्वास्थ्य साथी कार्ड’ छलावा है.
बंगाल में महिलाएं क्यों रो रही हैं?
ममता बनर्जी को उलाहना देते हुए गीत में कहा गया है कि राहत सामग्री की राज्य में चोरी होती है. आम लोगों के हिस्से के राशन की चोरी होती है. इसलिए पीशी अब आपकी जरूरत नहीं है. आप चली जाइए. ममता बनर्जी से पूछा गया है कि बंगाल की महिलाएं क्यों रो रही हैं. बंगाल की संपदा लुट रही है. इसलिए पीशी आपको सत्ता में रहने का कोई हक नहीं है. आप जाइए.
बंगाल की स्थिति के बारे में भी इस वीडियो में बताया गया है. कहा गया है कि हिंसा लगातार बढ़ रही है. हत्याएं हो रही है. इसलिए बंगाल कह रहा है कि अब पीशी (ममता बनर्जी) की जरूरत नहीं है. 1 मिनट 43 सेकेंड के इस वीडियो में आम लोगों के साथ-साथ कोलकाता की टैक्सी, हाथ रिक्शा और ट्राम को भी दिखाया गया है.
Posted By : Mithilesh Jha