पश्चिम बर्दवान और बीरभूम में टूट गया अजय नदी का अस्थायी सेतु, हजारों लोगों का आवागमन हुआ बाधित
पश्चिम बर्दवान और बीरभूम जिला में इन-दिनों तेज बारिश हो रही है. अजय नदी में तेज बहाव के साथ हुई कटान के बाद वहां मौजूद अस्थाई सेतु टूट गया. इसके बाद लोगों का आवागमन पूरी तरह से बाधित हो गई.
पानागढ़/बीरभूम. पश्चिम बर्दवान और बीरभूम जिला के मध्य बहने वाली अजय नदी का अस्थाई सेतु नदी के बड़े जलस्तर के कारण तेज बहाव के साथ हुई कटान के बाद टूट गया है. इसके कारण पश्चिम बर्दवान जिले के कांकसा ब्लॉक के विद बिहार ग्राम पंचायत अधीन शिवपुर और बीरभूम जिले के इलम बाजार पंचायत समिति के तहत पड़ने वाले जयदेव केंदुली के मध्य लोगों का आवागमन पूरी तरह से बाधित हो गई है. शनिवार सुबह से ही दोनों जिलों के मध्य आवागमन करने वाले हजारों लोगों की मुश्किल बढ़ गई है.
अजय नदी में जलस्तर बढ़ा
हालांकि स्थानीय लोगों का कहना है कि इस बार दोनों ही जिलों में बारिश की मात्रा काफी कम रही, बावजूद इसके नदी में अचानक जल के बढ़ने और तेज प्रवाह होने के कारण आज टूट गया. ग्रामीणों का आरोप है कि झारखंड में छोड़े गए बांध के पानी से अजय नदी में बढ़े जलस्तर और तेज प्रभाव के कारण ही यह घटना घटी है. ऐसे में आज सुबह से ही दोनों जिलों के हजारों लोगों के आवागमन को लेकर समस्या उत्पन्न हो गई है. दोनों ही जिलों के सीमावर्ती सेतु के मुहाने पर पुलिस पिकेट बैठा दी गई है, ताकि कोई भी ग्रामीण उक्त टूटे हुए अस्थाई सेतु से आवागमन की कोशिश ना करें. अन्यथा कोई बड़ा हादसा हो सकता है.
पूल के टूटने से लोग परेशान
स्थानीय ग्रामीण गयासुद्दीन शेख का कहना है कि उक्त सेतु के माध्यम से ही वे बीरभूम से दुर्गापुर काम के लिए जाते थे. आज सुबह करीब 20 फुट से ज्यादा लंबाई में सेतु के नदी में टूटकर बह जाने से आवागमन बाधित हो गया है. ऐसे में सड़क मार्ग से लंबी दूरी तय कर और ज्यादा पैसा देकर हमें दुर्गापुर जाना पड़ेगा. दूसरी और कांकसा से बीरभूम प्रतिदिन जाने वाले व्यापारी मनोहर रुईदास, सौमेन मंडल का कहना है कि प्रतिदिन वे इस अस्थाई सेतु के द्वारा इलमबाजार जाते हैं, लेकिन आज सुबह अस्थाई सेतु के टूट जाने के कारण काफी मुश्किल हो गया है.
नदी में जलस्तर बढ़ने टूटा सेतु
नदी में जलस्तर बढ़ने और तेज प्रभाव के कारण अस्थाई सेतू टूट गया है. बताया जाता है कि इस अस्थाई सेतु से दोनों ही जिलों के हजारों की संख्या में प्रतिदिन कामकाजी लोग, व्यापारी, किसान, नौकरी करने वाले, छात्र-छात्राएं इस जिले से उस जिले आवागमन करते हैं. ऐसे में आज सुबह इस अस्थाई सेतु के टूटने से दोनों ही जिलों के तटीय इलाके के रहने वाले ग्रामीणों की मुश्किल बढ़ गई है. स्थानीय प्रशासन का कहना है कि जब तक नदी का तेज प्रभाव और जलस्तर कम नहीं हो पाएगा, तब तक अस्थाई सेतु का मरम्मत कार्य शुरू नहीं किया जा सकता.
ममता बनर्जी ने सेतु का करवाया था निर्माण
हालांकि इस अस्थाई सेतु के पास ही स्थाई सेतु का निर्माण द्रुत गति से चल रहा है. मुख्यमंत्री ममता बनर्जी दोनों ही जिलों के मध्य अजय नदी पर स्थाई सेतु का निर्माण करवा रही है. काफी लंबा समय बीत गया है. बावजूद इसके अभी तक उक्त सेतु का निर्माण कार्य पूरी तरह से कंप्लीट नहीं हो पाया है. स्थानीय दोनों ही जिलों के लोग इस आशा में बैठे हुए हैं कि जल्द से जल्द इस स्थाई सेतु का निर्माण कंप्लीट हो, ताकि इस समस्या से लोगों को निजात मिल पाए.
ग्रामीणों ने कही ये बात
ग्रामीणों का यह भी कहना है कि जब तक नदी में और जलस्तर नहीं बढ़ेगा, तब तक फेरी घाट के माध्यम से नाव परिसेवा शुरू नहीं हो पाएगा. ऐसे में दोनों ही तरफ से स्थानीय दोनों जिलों के ग्रामीणों की मुश्किल का हल दिखते नहीं बन रहा है. फिलहाल बीरभूम के जयदेव केंदुली पुलिस चौकी ने अस्थाई सेतु के कच्चे रास्ते को सील कर दिया है. प्रशासन ने जानकारी दी है कि पानी और बढ़ सकता है.
रिपोर्ट- मुकेश तिवारी