पश्चिम बंगाल के राज्यपाल सीवी आनंद बोस ने राज्य की तृणमूल कांग्रेस सरकार पर परोक्ष रूप से निशाना साधते हुए गंभीर आरोप लगाए हैं. राज्यपाल ने कहा है कि राजभवन के बाहर ‘हिंसा’ (वायलेंस) होती है और अंदर ‘निगरानी’ (लेंस) होती है. बोस धूपगुड़ी से तृणमूल कांग्रेस के नवनिर्वाचित विधायक निर्मल चंद्र राय को राजभवन में शपथ दिलाने के लिए आयोजित समारोह को संबोधित कर रहे थे. राज्यपाल ने वहां मौजूद पत्रकारों से कहा कि राजभवन के बाहर बहुत हिंसा होती है और अंदर निगरानी की जाती है. राज्यपाल ने पूर्व में भी शिकायत की थी कि उनकी निगरानी की जाती है. सूत्रों के मुताबिक, बोस ने गुरुवार को राज्य सरकार और केंद्रीय गृह मंत्रालय को पत्र लिखकर आरोप लगाया था कि उनकी बातचीत की टैपिंग और निगरानी की जा रही है. उन्होंने राजभवन में जैमर और अत्याधुनिक सुरक्षा प्रणाली लगाने का अनुरोध किया था. बोस की टिप्पणी पर प्रतिक्रिया देते हुए भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के वरिष्ठ नेता राहुल सिन्हा ने कहा कि राज्यपाल ने राजभवन के अंदर और बाहर तृणमूल द्वारा फैलाये गए आतंक को सही ढंग से बयां किया है. उधर, विधानसभा में तृणमूल के उपमुख्य सचेतक तापस राय ने कहा कि बोस की टिप्पणियां उनकी समझ से परे हैं और ‘राज्यपाल ही इस बात को स्पष्ट कर सकते हैं कि उनका क्या मतलब है.’
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पश्चिम बंगाल में राजभवन की कौन कर रहा है निगरानी? राज्यपाल सीवी आनंद बोस ने लगाए गंभीर आरोप
राज्यपाल सीवी आनंद बोस ने राज्य की तृणमूल कांग्रेस सरकार पर परोक्ष रूप से निशाना साधते हुए गंभीर आरोप लगाए हैं. राज्यपाल ने कहा है कि राजभवन के बाहर ‘हिंसा’ (वायलेंस) होती है और अंदर ‘निगरानी’ (लेंस) होती है.
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