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लखनऊ विश्वविद्यालय के शताब्दी समारोह में पीएम मोदी ने जारी किया डाक टिकट, नेताजी सुभाष और कवि प्रदीप को किया याद

100 Year of Lucknow University : उत्तर प्रदेश के लखनऊ विश्वविद्यालय के 100 साल पूरे होने पर आज हो रहे समारोह में पीएम नरेंद्र मोदी ने हिस्सा लिया. वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये पीएम मोदी ने समारोह में हिस्सा लिया. पीएम मोदी ने विश्वविद्यालय के 100 साल के स्मारक सिक्के का अनावरण करने के साथ-साथ विशेष स्मारक डाक टिकट जारी किया. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से लखनऊ विश्वविद्यालय के शताब्दी वर्ष स्थापना दिवस समारोह में भाग लेते हुए विश्वविद्यालय परिवार को 100 वर्ष पूरे होने पर हार्दिक शुभकामनाएं दीं. इस मौके पर उन्होंने नेताजी सुभाष चंद्र बोस और कवि प्रदीप को भी याद किया.

100 Year of Lucknow University : उत्तर प्रदेश के लखनऊ विश्वविद्यालय के 100 साल पूरे होने पर आज हो रहे समारोह में पीएम नरेंद्र मोदी ने हिस्सा लिया. वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये पीएम मोदी ने समारोह में हिस्सा लिया. पीएम मोदी ने विश्वविद्यालय के 100 साल के स्मारक सिक्के का अनावरण करने के साथ-साथ विशेष स्मारक डाक टिकट जारी किया.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से लखनऊ विश्वविद्यालय के शताब्दी वर्ष स्थापना दिवस समारोह में भाग लेते हुए विश्वविद्यालय परिवार को 100 वर्ष पूरे होने पर हार्दिक शुभकामनाएं दीं. इस मौके पर उन्होंने नेताजी सुभाष चंद्र बोस और कवि प्रदीप को भी याद किया.

इस मौके पर उन्होंने कहा कि 100 वर्ष का समय सिर्फ एक आंकड़ा नहीं है, इसके साथ अपार उपलब्धियों का एक जीता जागता इतिहास जुड़ा है. उन्होंने कहा कि 100 साल की यात्रा में अनेक लोगों ने अनेक प्रकार से योगदान दिया, वो सभी अभिनंदन के अधिकारी हैं, मैं आज के दिन उन सभी का अभिनंदन करता हूं.

पीएम मोदी ने आगे कहा कि आज हम देख रहे हैं कि देश के नागरिक कितने संयम के साथ कोरोना की इस मुश्किल चुनौती का सामना कर रहे हैं. देश को प्रेरित और प्रोत्साहित करने वाले नागरिकों का निर्माण शिक्षा के ऐसे संस्थानो में ही होता है. लखनऊ यूनिवर्सिटी दशकों से अपने इस काम को बखूबी निभा रही है.

उन्होंने कहा कि कल जब हम अपना संविधान दिवस मनाएंगें, तो नेताजी सुभाष चंद्र बोस की हुंकार नई उर्जा लेकर आएगी. मुझे जब भी यहां से पढ़कर निकले लोगों से बातचीत करने का मौका मिला, मैने उनकी आंखों में एक नई चमक देखी है. 100 साल बाद भी लखनऊ विश्वविद्यालय का मिजाज लखनवी ही है.

उन्होंने कहा कि लखनऊ विश्वविद्यालय के कवि प्रदीप ने कहा है, ”कभी-कभी खुद से बात करो, कभी खुद से बोलो. अपनी नजर में तुम क्या हो, ये मन के तराजू में तोलो.” ये पंक्तियां अपने आप में विद्यार्थी, शिक्षक या जनप्रतिनिधि के रूप में हमारे लिए गाइडलाइन हैं.

समारोह में पीएम मोदी के साथ रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, उत्तर प्रदेश के राज्यपाल आनंदीबेन पटेल और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्‍यनाथ भी उपस्थित हैं. इस मौके पर रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि लखनऊ विश्वविद्यालय की स्थापना के 100 साल पूरा होना जहां हम सभी के लिए प्रसन्नता का विषय है, वहीं यह भारतीय शिक्षा जगत की एक ऐतिहासिक घटना भी है. इन 100 वर्षों में लखनऊ विश्वविद्यालय से एक से एक महान शख़्सियत पढ़कर आगे बढ़े हैं.

गौरतलब है कि लखनऊ विश्‍वविद्यालय की स्थापना 1920 में की गई थी. इसका उद्देश्य गुणवत्तापूर्ण शिक्षा और भारतीय मूल्‍यों को बढ़ावा देने तथा समाज और मानवता की सेवा करना था. लखनऊ विश्वविद्यालय ने अपने इस सफ़र के 100 साल पूरे कर लिये हैं.

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Posted By : Vishwat Sen

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