लखनऊ : यौद्धाओं की धरती बलिया एक बार फिर चर्चा में है. बलिया के रहने वाले विंग कमांडर मनीष सिंह देश के उन नामचीन पायलटों में शुमार हो गये हैं, जिन्होंने फ्रांस से लड़ाकू विमान राफेल की पहली खेप को भारत के लिए उड़ान भरी है. मनीष ने फ्रांस से भारत के लिए सोमवार को उड़ान भरी. मनीष ने बलिया के इतिहास में एक और सुनहरा पन्ना जोड़ दिया है.
बलिया जनपद के बांसडीह तहसील के छोटे से गांव बकवां के लाल मनीष सिंह का परिवार शुरू से ही फौजी रहा है. इनके पिता मदन सिंह स्वयं थल सेना से अवकाश प्राप्त जवान हैं. लड़ाकू विमान राफेल लेकर मनीष के स्वदेश लौटने की सूचना मिलने के बाद गांव के उत्साही युवकों ने एक-दूसरे का मुंह मीठा कराकर खुशी का इजहार किया. विंग कमांडर मनीष के गांव बकवां में खुशी का माहौल है. गांव के युवा मनीष को अपना प्रेरणास्त्रोत बताते हैं.
फौजी मदन सिंह के पुत्र मनीष सिंह अपने भाई बहनों में सबसे बड़े हैं. गांव की गलियों से निकल कर विंग कमांडर तक पहुंचे मनीष की आरम्भिक शिक्षा गांव के एक निजी स्कूल नूतन शिक्षा निकेतन में हुई है. मनीष वर्ष-2002 में इंडियन एयरफोर्स में पायलट हुए.
छठवीं कक्षा तक गांव में पढ़ाई करने के बाद उनकी आगे की शिक्षा करनाल के कुंजपुरा स्थित सैनिक स्कूल से हुई, जहां इनके पिता सेना में सेवारत थे. मनीष वर्ष-2002 में इंडियन एयरफोर्स में पायलट हुए. अंबाला व जामनगर के बाद दो वर्ष पूर्व साल 2017- 2018 में इनकी तैनाती गोरखपुर में थी. उस समय मनीष अपने गांव बकवां आए थे. फ्रांस से लड़ाकू विमान राफेल की डील के बाद मनीष को प्रशिक्षण के लिए सरकार ने फ्रांस भेजा था. इनके साथ अन्य विंग कमांडर भी रहे.
चर्चित लड़ाकू विमान को फ्रांस से भारत लाने वाली टीम में शामिल होकर विंग कमांडर मनीष सिंह ने बलिया का नाम पूरे देश मे रौशन किया है. विंग कमांडर अभिषेक त्रिपाठी हरदोई के रहने वाले हैं.
बता दें कि फ्रांस से राफेल उड़ाकर लाने में उत्तर प्रदेश के एक और लाला का नाम पहले ही आ चुका है. इस विंग कमांडर का नाम अभिषेक त्रिपाठी है. अभिषेक हरदोई जनपद के संडीला कस्बे के मोहल्ला बरौनी के निवासी हैं. संडीला निवासी अनिल त्रिपाठी जयपुर में रहते हैं. अनिल त्रिपाठी के बेटे अभिषेक एयर फोर्स में विंग कमांडर हैं. ऐसे में अब फ्रांस से राफेल लाने वाले यूपी के दो लाल हो गये हैं.
posted by ashish jha