Varanasi News: बनारस शहर का एक अलग मिजाज और तेवर है. बनारस एक ऐसा नाम है, जिसके नाम में ही रस है. बनारस शहर में आपको भागदौड़ वाली जिंदगी के बीच एक अजीब सुकून भी मिलेगा. कहते हैं ‘रांड, सांड, सीढ़ी, संन्यासी, इनसे बचे तो सेवे काशी’. बनारस में कब क्या हो जाए, किसी को नहीं पता.
दरअसल, बुधवार को अस्सी घाट पर एक संन्यासी के हंगामे से पुलिस और नगर निगम के हाथ-पैर फूल गए. छठ महापर्व को देखते हुए नगर निगम ने सड़क पर आवारा घूम रहे पशुओं को पकड़ने का अभियान चलाया.
इसी बीच ब्रिटेन का एक संन्यासी आवारा सांड और गाय उठाने वाले पशु सचल दस्ता वाहन पर चढ़कर उसे बीच रास्ते में रोक दिया. संन्यासी के हंगामे की वजह से मौके पर भीड़ जमा हो गई. संन्यासी का आरोप था कि उनके पाले गए बछड़े को पकड़ लिया गया है. इस दौरान संन्यासी और पुलिस के बीच देर तक कहासुनी हुई. अस्सी घाट पर संन्यासी को मनाने में नगर निगम और पुलिस के पसीने छूट गए.
वाराणसी में नगर निगम ने छठ महापर्व पर एक बछड़े को पकड़ा तो एक संन्यासी उसे अपना बताकर हंगामा करने लगे. @vipin_tika की वीडियो. लीजिए बनारस का मजा गुरु. pic.twitter.com/EdaymlyqZh
— अभिषेक मिश्रा 🇮🇳 (@iamviyogi) November 10, 2021
छठ महापर्व को देखते हुए नगर निगम ने सड़कों पर घूमने वाले आवारा पशुओं को पकड़ने का अभियान चलाया. इस दौरान बुधवार की सुबह भेलूपुर, अस्सी, गोदौलिया समेत कई इलाकों में अभियान चलाकर आवारा पशुओं को नगर निगम कर्मचारी पकड़ रहे थे. निगम की टीम अस्सी घाट चौराहे के पास पहुंची, जहां सड़क पर घूम रहे बछड़े को पकड़ा गया और वाहन में चढ़ाया गया. इसी दौरान एक संन्यासी आ गए और बछड़े को अपना बताकर छोड़ने की मांग करने लगे. लोगों ने बताया संन्यासी ब्रिटेन के हैं और बनारस में रह रहे हैं. भगवा धोती और कुर्ता पहने बाबा अंग्रेजी में ही लोगों से बातें कर रहे थे.
संन्यासी पुलिस वालों से बार-बार बछड़े को छोड़ने की बात कह रहे थे. इस दौरान वो गाड़ी के ऊपर चढ़ गए और जोर-जोर से चिल्लाने लगे. सूचना मिलने पर पुलिस पहुंची और संन्यासी को समझाने की कोशिश की. एक घंटे चले हंगामे के बाद संन्यासी को गाड़ी पर बैठाकर निगम कर्मचारी लहुराबीर के कांदी हाउस गौशाला चले गए. सैनेट्री सुपरवाइजर सरिता यादव ने बताया कि छठ महापर्व पर विशेष अभियान चलाया जा रहा था. इसी दौरान एक संन्यासी आकर गाड़ी पर चढ़ गए और हंगामा करने लगे.
(रिपोर्ट: विपिन सिंह, वाराणसी)