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रांची के मोरहाबादी मैदान में 27 जनवरी, 2022 को गोली चली. इस गोलीबारी में गैंगस्टर कल्लू लामा की मौत हो गयी. अब मोरहाबादी मैदान में एक और मौत हुई है. इस बार ना कोई गैंगवार ना मोरहाबादी में भीड़भाड़ की वजह से पुलिस को कार्रवाई करने में कोई परेशानी हुई. एक मौत हुई और इसकी वजह है मोरहाबादी मैदान की खामोशी .
27 जनवरी, 2022 को हुई गोलीबारी के बाद प्रशासन ने 28 जनवरी से इस क्षेत्र में निषेधाज्ञा लागू कर दिया. दुकानें बंद हो गयी.करीब 300 दुकानदारों के समक्ष रोजी-रोटी की समस्या उत्पन्न हो गयी है. मोरहाबादी का इलाका जो शाम होते ही गुलजार रहता था सुनसान रहने लगा.
रांची के मोरहाबादी के इसी इलाके में पेड़ पर फांसी के फंदे से लटके एक व्यक्ति का शव मिला है. मृतक की पहचान एदलहातू निवासी श्यामदेव के रूप में हुई है. मृतक एलदहातू में किराये के मकान में रहता था. घटना की जानकारी मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची और शव को पेड़ से नीचे उतारकर पोस्टमार्टम के लिए रिम्स भेज दिया. वहीं, पुलिस मामले की जांच में जुट गयी है. इधर, मोरहाबादी दुकानदार संघ ने इसे हत्या बताते हुए जांच की मांग की है.
आज इस मामले में कोर्ट सुनवाई करेगा. लंबे समय से दुकानदार आंदोलन पर हैं और प्रशासन से दुकान खोलने की गुहार लगा रहे हैं. इस मौत को लेकर अलग- अलग तरह की चर्चाएं हैं. चर्चा है कि लंबे समय से दुकान बंद होने की वजह से घर में रोजी रोटी का संकट था इसलिए तंग आकर इस व्यक्ति ने आत्महत्या कर ली.
एक चर्चा है कि इसकी हत्या कर दी गयी. जांच पुलिस करेगी लेकिन दोनों ही मामलों में इसके गुनाहगारों की तलाश हम घर बैठे कर सकते हैं. बस हमें कुछ सवाल खुद से करने हैं . अगर ये हत्या है, तो क्या मोरहाबादी में दुकानें खुली होती तो इस तरह इसे अंजाम दिया जा सकता था ? अगर ये आत्महत्या है और लंबे समय से दुकान बंद होने और आर्थिक समस्या से लड़कर हारने वाले इस शख्स का हत्यारा कौन है ?