पाकिस्तान ने कहा, जम्मू कश्मीर में मानवाधिकार उल्लंघन की निष्पक्ष जांच हो
इस्लामाबाद : पाकिस्तान के शीर्ष नेतृत्व ने जम्मू-कश्मीर के लोगों के प्रति देश का नैतिक, कूटनीतिक और राजनीतिक समर्थन दोहराते हुए घाटी में मानवाधिकार के कथित उल्लंघन की संयुक्त राष्ट्र के अधीन स्वतंत्र जांच कराने की आज मांग की. राष्ट्रपति ममनून हुसैन ने भारत से संयुक्त राष्ट्र के प्रस्तावों को लागू करने की अपील करते […]
इस्लामाबाद : पाकिस्तान के शीर्ष नेतृत्व ने जम्मू-कश्मीर के लोगों के प्रति देश का नैतिक, कूटनीतिक और राजनीतिक समर्थन दोहराते हुए घाटी में मानवाधिकार के कथित उल्लंघन की संयुक्त राष्ट्र के अधीन स्वतंत्र जांच कराने की आज मांग की.
राष्ट्रपति ममनून हुसैन ने भारत से संयुक्त राष्ट्र के प्रस्तावों को लागू करने की अपील करते हुए कहा कि पूरे क्षेत्र की शांति और समृद्धि लंबे समय से जारी जम्मू-कश्मीर विवाद के समाधान से जुडी है. प्रधानमंत्री शाहिद खाकान अब्बासी ने कहा कि भारत को अपने संस्थापकों की प्रतिबद्धताओं का सम्मान करना चाहिए और जम्मू-कश्मीर पर संयुक्त राष्ट्र के प्रस्तावों के क्रियान्वयन को सुनिश्चित करना चाहिए.रेडिया पाकिस्तान की रिपोर्ट के अनुसार उन्होंने (राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री) 27 अक्तबूर काला दिवस को चिह्नित करने करने के अलग-अलग बयान जारी किए और जम्मू-कश्मीर के लोगों के प्रति पाकिस्तान के दृढ नैतिक, कूटनीतिक और राजनीतिक समर्थन को दोहराया.
अब्बासी ने जम्मू-कश्मीर में मानवाधिकार के कथित उल्लंघन की संयुक्त राष्ट्र के अधीन स्वतंत्र, पारदर्शी और निष्पक्ष जांच की मांग की है.27 अक्तूबर 1947 को जम्मू-कश्मीर के तत्कालीन महाराज हरि सिंह ने भारत के साथ उसके विलय के समझौते पर हस्ताक्षर किया था.