2 अक्टूबर को महात्मा गांधी की 150वीं जयंती है, इस अवसर पर पूरे साल देश भर में कार्यक्रम आयोजित किये जायेंगे और महात्मा गांधी के विचारों को ज्यादा से ज्यादा लोगों तक पहुंचाया जायेगा. महात्मा गांधी के विचारों और जीवनशैली को आम लोगों तक पहुंचाने का एक प्रयास 1982 में हॉलीवुड में भी किया गया था और उस प्रयास को सिनेमा जगत के तमाम प्रयासों में सर्वश्रेष्ठ माना जाता है.
इस फिल्म का निर्देशन रिचर्ड एटनबरो (Richard Attenborough) ने किया था. फिल्म में मोहनचंद करमचंद गांधी का किरदार हॉलीवुड कलाकार बेन किंग्सले ने निभाया था. ‘गांधी’ फिल्म को ऑस्कर अवॉर्ड भी मिला था.
कहानी की शुरुआत दक्षिण अफ्रीका से होती है. गांधी 23 साल की उम्र में साल 1893 में भारत से दक्षिण अफ्रीका पहुंचते हैं. वहां उन्हें शिक्षा प्राप्त करने के दौरान अमानवीय रंगभेद की नीति का सामना करना पड़ता है. उन्हें वहां काफी जिल्लत उठानी पड़ती है. रेलगाड़ी से महात्मा गांधी को बाहर फेंकने की घटना को फिल्म में इस कदर दर्शाया गया है कि लोग भावुक हो जाते हैं. भारतीयों के खिलाफ दक्षिण अफ्रीका में हो रहे पक्षपात को देखते हुए महात्मा गांधी ने उसका अहिंसक विरोध करने का फैसला किया था.
दक्षिण अफ्रीका में अपने अभियान के बाद वे भारत आते हैं. और देश में अंग्रेजों का जुल्म देखकर दुखी हो जाते हैं. इस फिल्म में गांधी का भारत भ्रमण जिसके जरिये वे देश को समझने की कोशिश करते हैं. उनका चंपारण जाना और महात्मा गांधी का हर आंदोलन और उनके जीवन से जुड़ी कई रोचक घटनाओं को भी दर्शाया गया है. महात्मा गांधी और कस्तूरबा के रिश्ते हर चीज फिल्म में बखूबी दिखाया गया है. कस्तूरबा का किरदार रोहिणी हट्टंगड़ी ने निभाया है.
देश विभाजन, दंगा और अंतत: उनकी हत्या. इस फिल्म को देखकर काफी कम समय में गांधी को समझा जा सकता है यह कहा जा सकता है. एटनबरो ने इस फिल्म को बनाने के लिए महात्मा गांधी के बारे में गहन अध्ययन किया. फिल्म में बेन किंग्सले के अलावा बाकी किरदारों ने भी अपने किरदारों को जीवंत कर दिया.