भारत और अर्जेंटीना को जोड़ रहा है योग : नरेंद्र मोदी

ब्यनूस आयर्स : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को कहा कि योग अर्जेंटीना और भारत के बीच विशाल दूरी को पाट रहा है और दोनों देशों के लोगों को जोड़ रहा है. एक योग कार्यक्रम में प्रतिभागियों को संबोधित करते हुए मोदी ने कहा कि योग स्वास्थ्य और शांति के लिए भारत की ओर से […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | November 30, 2018 10:43 AM


ब्यनूस आयर्स
: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को कहा कि योग अर्जेंटीना और भारत के बीच विशाल दूरी को पाट रहा है और दोनों देशों के लोगों को जोड़ रहा है. एक योग कार्यक्रम में प्रतिभागियों को संबोधित करते हुए मोदी ने कहा कि योग स्वास्थ्य और शांति के लिए भारत की ओर से दुनिया को तोहफा है. प्रधानमंत्री ने हिंदी में कहा, ‘मैं 24 घंटे से ज्यादा समय में 15000 किलोमीटर से अधिक दूरी तय करके महज कुछ घंटे पहले यहां पहुंचा हूं.

आपके प्रेम और उत्साह की वजह से मैं महसूस कर रहा हूं कि मैं भारत के बाहर नहीं हूं.’ ‘योग फॉर पीस’ कार्यक्रम के आयोजकों की तारीफ करते हुए उन्होंने कहा कि इससे बेहतर नाम के बारे में सोचना मुश्किल है. उन्होंने कहा, ‘‘योग आपके शरीर और दिमाग दोनों को स्वस्थ रखता है. यह आपके शरीर को मजबूत बनाता है और आपके मस्तिष्क को शांत रखता है.’ उन्होंने कहा कि अगर दिमाग शांत होगा तो परिवार, समाज, देश और दुनिया में भी शांति रहेगी.

उन्होंने कहा, ‘‘योग स्वास्थ्य, तंदरुस्ती और शांति के लिए भारत की ओर से दुनिया को तोहफा है. यह तंदरुस्ती और खुशी से हमें जोड़ता है.’ प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, ‘योग भारत और अर्जेंटीना के बीच विशाल दूरी को पाट रहा है. यह दोनों देशों और उनके लोगों को जोड़ रहा है.’ उन्होंने कहा कि जहां अर्जेंटीना की भारत की कला, संगीत और नृत्य में गहरी दिलचस्पी है, वहीं हमारे देश में अर्जेटीना के फुटबॉल खिलाड़ियों के लाखों प्रशंसक हैं. माराडोना का नाम हमारी दैनिक बातचीत का हिस्सा बन गया है. उन्होंने ओडिशा में चल रहे हॉकी विश्व कप के पहले मैच में जीत के लिए अर्जेंटीना की हॉकी टीम को भी बधाई दी.

उन्होंने कहा, ‘यह हमारे लिये गर्व और खुशी की बात है कि अर्जेंटीना जी-20 शिखर सम्मेलन की मेजबानी कर रहा है. वैश्विक अर्थव्यवस्था, सतत विकास, जलवायु परिवर्तन और भगोड़े आर्थिक अपराधियों जैसे मुद्दों पर शिखर सम्मेलन के दौरान चर्चा होगी. ये न सिर्फ भारत और अर्जेंटीना बल्कि समूची दुनिया के हित में हैं.’

प्रधानमंत्री कार्यालय के सूत्रों ने कहा, ‘‘पिछले कुछ वर्षों में सऊदी अरब गणराज्य एक मूल्यवान साझेदार रहा है. इन संबंधों का विस्तार भारतीय समुदाय से परे अर्थव्यवस्था, ऊर्जा और सुरक्षा से जुड़े मुद्दों तक हुआ है. द्विपक्षीय और क्षेत्रीय हित के सभी मुद्दों पर चर्चा की जाएगी.’ प्रधानमंत्री ने संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुतारेस से भी मुलाकात की. सूत्रों ने बताया कि यह मुलाकात जलवायु परिवर्तन के मुद्दे को दोनों नेताओं द्वारा दिये जा रहे महत्व को रेखांकित करती है. यह पोलैंड के कैटाविस में सीओपी 24 के सम्मेलन से महज एक हफ्ते पहले हुई है. सूत्रों ने कहा, ‘‘यह उस सम्मान को दर्शाता है जो वैश्विक महत्व के मुद्दों पर नेतृत्व करने के लिए प्रधानमंत्री और उनके प्रयासों को दुनियाभर में दिया जाता है.’ जी-20 के दो दिवसीय 13वें सम्मेलन से इतर मोदी, अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप और जापान के प्रधानमंत्री शिंजो आबे की मुलाकात होगी. यह बैठक ऐसे समय में होगी जब चीन रणनीतिक रूप से महत्वपूर्ण हिंद-प्रशांत महासागर क्षेत्र में अपना प्रभुत्व दिखा रहा है.

यह त्रिपक्षीय मुलाकात ट्रंप और आबे की द्विपक्षीय बैठक का ही विस्तार होगी. अमेरिकी राष्ट्रपति 30 नवंबर और एक दिसंबर को जी-20 शिखर-सम्मेलन से इतर सिलसिलेवार कई बैठक करेंगे. व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव सारा सैंडर्स ने बृहस्पतिवार को कहा कि ट्रंप-आबे की वार्ता के अंत में प्रधानमंत्री मोदी के साथ त्रिपक्षीय बैठक होगी. यहां पहुंचते ही प्रधानमंत्री मोदी ने ट्वीट किया, ‘‘टिकाऊ विकास को और बढ़ाने के उद्देश्य से जी-20 के शिखर-सम्मेलन में व्यापक चर्चाओं के प्रति आशान्वित हूं.’ मोदी इस सम्मेलन से इतर चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग और जर्मन चांसलर एंजेला मर्केल से भी मुलाकात करेंगे. यह जानकारी विदेश मंत्रालय ने मोदी की रवानगी की पूर्वसंध्या पर दी थी. वह एक दिसंबर तक ब्यूनस आयर्स में रहेंगे.

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