लंदन : बिना किसी समझौता के ब्रिटेन के 12 अप्रैल को ईयू से बाहर होने से बचने के लिए सांसदों ने ब्रेग्जिट में देरी के समर्थन में मतदान किया. इसके बाद ब्रिटेन की सरकार और मुख्य विपक्षी दल संकट टालने के लिए गुरुवार को वार्ता करेंगे.
ब्रेग्जिट का समय नजदीक आने के मद्देनजर ब्रिटेन की प्रधानमंत्री टेरेसा मे ने लेबर पार्टी के नेता जेरेमी कोर्बिन को बुधवार को वार्ता के लिए आमंत्रित किया, ताकि कोई ऐसा समझौता किया जा सके, जिससे यूरोपीय संघ से बिना किसी समझौते से बाहर निकलने की स्थिति से बचा जा सके. इस वार्ता के लिए दोनों पक्ष गुरुवार को पुन: बैठक करेंगे.
संसद मे के 27 अन्य ईयू देशों के साथ ब्रेग्जिट समझौते को तीन बार खारिज कर चुकी है और ब्रसेल्स में सब्र का बांध टूटता नजर आ रहा है, क्योंकि ब्रेग्जिट की समय सीमा निकट आ रही है और कोई समझौता होता दिखाई नहीं दे रहा.
प्रधानमंत्री ने मंगलवार को कहा कि वह 10 अप्रैल को ब्रसेल्स में ईयू नेताओं के शिखर सम्मेलन में ब्रेग्जिट के लिए थोड़ा और समय मांगेंगी. ब्रिटेन के बिना किसी समझौते के ईयू से बाहर होने से बचने के लिए संसद ने बुधवार को एक मसौदा प्रस्ताव के समर्थन में मतदान किया, जिसके तहत सरकार को ब्रेग्जिट के लिए 12 अप्रैल के बाद थोड़ा और समय दिये जाने की मांग करनी होगी.
इस प्रस्ताव को हाउस ऑफ कॉमन्स में 312 के मुकाबले 313 मतों से पारित किया गया. यह विधेयक अंतिम मंजूरी के लिए बृहस्पतिवार को अब हाउस ऑफ लॉर्ड्स में जायेगा. सरकार के एक प्रवक्ता ने कहा, ‘हम निराश हैं कि सांसदों ने इस विधेयक को समर्थन देना चुना. प्रधानमंत्री ने पहले की एक स्पष्ट प्रक्रिया बनायी है, जिसके जरिये समझौते के साथ यूरोपीय संघ से बाहर निकला जा सकता है और हम पहले भी और समय मांग चुके हैं.’
इस बीच, मे ने कोर्बिन के साथ बुधवार को हुई वार्ता को ‘रचनात्मक’ बताया. मे के डाउनिंग स्ट्रीट कार्यालय के प्रवक्ता ने कहा कि दोनों पक्षों ने ‘ब्रेग्जिट को लेकर मौजूदा अनिश्चितता को समाप्त करने के लिए लचीलापन और प्रतिबद्धता दिखायी.’