पवार का नाम बैंक भ्रष्टाचार में आने पर बोले हजारे उनका नाम पहले नहीं था, कैसे आया
पुणे : सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे ने राकांपा अध्यक्ष शरद पवार का नाम करोड़ों रुपये के महाराष्ट्र राज्य सहकारी बैंक घोटाले में आने पर आश्चर्य व्यक्त किया है. प्रवर्तन निदेशालय ने पवार और महाराष्ट्र के पूर्व उप मुख्यमंत्री अजीत पवार के खिलाफ धन शोधन का मामला दर्ज किया है. अजीत पवार राकांपा अध्यक्ष शरद पवार […]
पुणे : सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे ने राकांपा अध्यक्ष शरद पवार का नाम करोड़ों रुपये के महाराष्ट्र राज्य सहकारी बैंक घोटाले में आने पर आश्चर्य व्यक्त किया है. प्रवर्तन निदेशालय ने पवार और महाराष्ट्र के पूर्व उप मुख्यमंत्री अजीत पवार के खिलाफ धन शोधन का मामला दर्ज किया है.
अजीत पवार राकांपा अध्यक्ष शरद पवार के भतीजे हैं. पुलिस की प्राथमिकी के समकक्ष मानी जाने वाली प्रवर्तन मामला सूचना रिपोर्ट (इन्फोर्समेंट केस इन्फॅर्मेशन रिपोर्ट) को केंद्रीय जांच एजेंसी ने धन शोधन (रोकथाम) अधिनियम के तहत पंजीकृत किया है. यह मामला मुंबई पुलिस की ओर से दर्ज प्राथमिकी पर आधारित है.
इस प्राथमिकी में बैंक के पूर्व अध्यक्ष अजीत पवार और बैंक के 70 पदाधिकारियों के नाम हैं. हजारे से जब ईडी के इस मामले तथा घोटाले में पवार का नाम कथित तौर पर संबद्ध होने के संबंध में सवाल पूछा गया तो उन्होंने कहा, ‘‘ यह मामला जब मेरे सामने आया था तो शरद पवार का नाम इसमें नहीं था. उनका नाम कैसे आया, किसने डाला ये सभी चीजें वही जानते हैं.” भ्रष्टाचार के खिलाफ मुखर आवाज उठाने वाले और पवार के आलोचक रहे हजारे ने उम्मीद जताई की इस भ्रष्टाचार मामले की विस्तृत जांच के बाद सच्चाई का पता चलेगा.
उन्होंने कहा, ‘‘ प्रवर्तन निदेशालय को जानकारी होगी कि उनका (पवार का) नाम कैसे इस मामले में आया.” पवार ने इस भ्रष्टाचार मामले में किसी तरह की संलिप्तता से इनकार करते हुए कहा कि वह बैंक से किसी भी तरह से नहीं जुड़े हैं. उन्होंने प्राथमिकी के समय पर भी सवाल उठाया जो कि 21 अक्टूबर को होने वाले विधानसभा चुनाव से कुछ सप्ताह पहले दर्ज की गई है. पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा कि वह दिल्ली की ‘सत्ता’ के समक्ष नहीं झुकेंगे. उनका इशारा केंद्र की भाजपा नीत सरकार की ओर था. राकांपा ने इस मामले को राजनीति से प्रेरित बताया है.